प्रतापगढ़ में भी सीएम योगी आदित्यनाथ ने गाय को चारा खिलाया
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्राथमिक विद्यालय में बच्चों को स्वच्छता की शपथ दिलाने के साथ स्कूल चलो अभियान रैली को हरी झंडी भी दिखाई।
प्रतापगढ़ (जेएनएन)। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ प्रदेश में ग्राम स्वराज अभियान के तहत कल से आज सुबह तक प्रतापगढ़ में थे। प्रतापगढ़ के कंधई मधुपुर पंचायत भवन परिसर में उनकी दिनचर्या सुबह गायों को हरा चारा खिलाने के साथ शुरू हुई। इसके बाद उन्होंने प्राथमिक विद्यालय में बच्चों को स्वच्छता की शपथ दिलाने के साथ स्कूल चलो अभियान रैली को हरी झंडी भी दिखाई। इसके बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जब सुलतानपुर रवाना हो गए तब अधिकारियों के माथे से चिंता की लकीरें साफ होने लगीं।
प्रतापगढ़ के मंगरौरा ब्लाक के कंधई मधुपुर गांव के उच्च प्राथमिक स्कूल व पंचायत भवन में आज सुबह विशेष रौनक थी। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ इसी पंचायत भवन में सोमवार की रात रुके थे। उनकी दिनचर्या भोर में साढ़े तीन बजे से ही शुरू हो गई। स्नान-ध्यान, पूजा-पाठ, योग-प्राणायाम के बाद मुख्यमंत्री बाहर आए और पांच गायों को चारा, चना और गुड़ खिलाकर स्कूल चलो अभियान के मंच पर पहुंचे और रैली को हरी झंडी दिखाई।
मुख्यमंत्री योगी की दिनचर्या उसी तरह रही, जैसी गोरखनाथ पीठ और मुख्यमंत्री आवास में रहने के दौरान मानी जाती है। माना जाता है कि सुबह थोड़ी देर गाय की सेवा जरूर करते हैं और उन्हें अपने हाथों से चारा खिलाते हैं। इसको ध्यान में रखते हुए रात में ही पांच गाय गांव से मंगवाकर विद्यालय परिसर में बंधवा दी गई थीं। मुख्यमंत्री भोर पहर साढ़े तीन बजे उठे। सवा दो घंटे में स्नान-ध्यान, योग आदि के बाद अखबार मंगवाया।
मुख्य विकास अधिकारी राजकमल यादव ने अफसरों को दौड़ाया। थोड़ी ही देर में अखबार उनके पास पहुंचाया गया। छह बजते-बजते गायों के लिए हारा चारा लाया गया। मुख्यमंत्री से गौ सेवा की व्यवस्था के बारे में जानकारी ली। उसके बाद फौरन चना और गुड़ मंगवाया गया। इस बीच मंत्री, विधायक व पार्टी नेताओं को आना शुरू हो गया। इस बीच साढ़े छह बजे तो स्कूल चलो अभियान के लिए स्कूली बच्चों का आना शुरू हो गया। सात बजे मुख्यमंत्री के कक्ष में नाश्ता पहुंचाया गया। इस दौरान वे पार्टी नेताओं से बातचीत करते रहे। बीच-बीच में अधिकारियों का भी आना जाना बना रहा। 7.40 बजे प्रतापगढ़ पुलिस लाइंस से हेलीकॉप्टर गांव में बनाए गए अस्थाई हेलीपैड पर पहुंचा। 7.45 बजे मुख्यमंत्री बाहर आए और सीधे पहुंच गए गायों के पास। गो-सेवा करने के बाद स्कूल परिसर में ही बने मंच पर पहुंचे। यहां पांच छात्राओं को स्कूल बैग, ड्रेस व किताबें देकर स्कूल चलो अभियान की शुरुआत की।
इस अभियान में सभी का सहभागिता का आह्वान करते हुए हरी झंडी दिखाकर रैली को रवाना किया। उसके बाद सुबह करीब 8.20 बजे हेलीकाप्टर से रवाना हो गई। इस बीच गांव के लोग उनके पेयजल योजनाओं के निरीक्षण करने के लिए इंतजार करते रहे, क्योंकि उन्होंने सोमवार को चौपाल में कहा था कि वह गांव में ही रुके हैं।आज पेयजल योजना का हाल स्वयं देखेंगे, लेकिन ऐसा हो न सका। सीएम योगी आदित्यनाथ ने आज प्रतापगढ़ में स्कूल चलो अभियान का का शुभारंभ किया।
इस दौरान सीएम योगी से मिलने के लिए बच्चे काफी उत्साहित दिखे। वहीं शिक्षकों और आसपास के लोगों ने इस मौके का कैमरे में कैद करने से भी नहीं चुके। सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा कि 2 अप्रैल से स्कूल चलो अभियान शुरू हुआ है। आम लोगों की सहभागिता के साथ इस अभियान को चलाया जा रहा है। सरकार ने बच्चों को यूनिफार्म उपलब्ध कराया। ये एक बड़ा अभियान है, इसे सिर्फ सरकार के भरोसे नहीं बल्कि आम लोगों की सहभागिता से करना होगा। शिक्षा तरक्की की आधारशिला है। गीता में लिखा है सबसे बड़ा कार्य किसी को ज्ञानवान बनाना है।
प्रतापगढ़ में कल विकास कार्यों की समीक्षा करने के बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शाम को पंचायत लगाई। इसके बाद उन्होंने कंधई मधुपुर पंचायत भवन परिसर में रात्रि प्रवास किया। आज सुबह वहां पर उन्होंने पांच गायों को हरा चारा खिलाकर अपनी दिनचर्या शुरू की। इसके बाद स्कूल चलो अभियान को हरी झंडी दिखाने से पहले उन्होंने बच्चों को स्वच्छता की शपथ दिलाई। इसके बाद सीएम योगी आदित्यनाथ सुलतानपुर रवाना हो गए। उनकी रवानगी के साथ ही वहां पर मौजूद अधिकारियों के चेहरे पर मुस्कान आ गई। सभी ने चैन की संस ली।
इससे पहले कल रात ग्राम स्वराज अभियान के तहत कल कंधई मधुपुर में आयोजित 'रात्रि चैपाल' कार्यक्रम में सीएम ने बच्चों के अन्नप्राशन संस्कार तथा गर्भवती माताओं की गोद भरायी कार्यक्रम में भी अपनी मौजूदगी दर्ज कराई। चौपाल में उन्होंने कहा कि सरकार 'सबका साथ, सबका विकास' के सिद्धान्त पर कार्य कर रही है। सरकार ने उज्ज्वला योजना के तहत बीपीएल परिवारों को नि:शुल्क गैस कनेक्शन उपलब्ध कराये हैं। किसानों के विकास के लिए राज्य सरकार प्रतिबद्ध है। विकास की योजनाओं का लाभ हर गरीब तक पहुंचेगा।
चौपाल कार्यक्रम में उन्होंने अफसरों को सुधरने तक की चेतावनी दे डाली। इस आयोजन (चौपाल को) सभा का स्वरूप देने पर भी सीएम बेहद खफा दिखे। राशन कार्ड बनाए जाने में गड़बड़ी और राशन न मिलने की शिकायत पर उनका चेहरा तमतमा गया। ग्रामीणों ने जब शौचालय के नाम पर केवल गड्ढे खोदे जाने की बात बताई तो मुख्यमंत्री अफसरों पर बिफर पड़े। डीएम, सीडीओ और जिला पंचायत राज अधिकारी से कठोर शब्दों में कहा तत्काल कैंप लगाकर सभी सुविधाएं ग्रामीणों को उपलब्ध कराएं अन्यथा परिणाम भुगतने को तैयार रहें। इससे पहले समीक्षा बैठक में उन्होंने अधिकारियों को कार्यशैली सुधारने की हिदायत दी। कहा कि भ्रष्टाचार को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। आंकड़ों की बाजीगीरी भी नहीं चलेगी।
बहुचर्चित जलनिगम घोटाले में संलिप्त सभी अफसरों को निलंबित करने का आदेश दिया। साथ ही कहा कि रिटायर अधिशासी अभियंता समेत ठेकेदारों पर मुकदमा दर्ज कर उनकी चल अचल संपत्ति का विवरण शासन को भेजा जाए। जिला मुख्यालय में करीब दो घंटे से अधिक समय तक विभिन्न योजनाओं की समीक्षा के बाद उन्होंने पीडब्ल्यूडी गेस्ट हाउस में कार्यकर्ताओं से मुलाकात की। यहां से वह जिला अस्पताल पहुंचे और मरीजों से मिले। जिम्मेदारों को सचेत किया कि गरीबों के इलाज में कोई कोताही न हो। मंडी परिषद में गेहूं क्रय केंद्र का भी निरीक्षण किया। जिला मुख्यालय से कंधई मधुपुर जाते समय सीएम ने सड़क की खोदाई करवाकर उसकी जांच भी करवाई। करीब सवा घंटे की देरी से मधुपुर गांव पहुंचे सीएम का जोरदार स्वागत हुआ। यहां उन्होंने 90 करोड़ रुपये की लागत वाली 76 परियोजनाओं का लोकार्पण और शिलान्यास किया। चार महिलाओं की गोदभराई के साथ चार बच्चों का अन्नप्राशन करवाया। मुख्यमंत्री के साथ कैबिनेट मंत्री मोती सिंह, प्रभारी मंत्री स्वाती सिंह , विधायक संगमलाल गुप्ता, धीरज ओझा, आरके वर्मा और जिला व मंडल स्तरीय अधिकारी भी मौजूद थे।
इससे पहले प्रतापगढ़ में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ कतार में बैठकर भोजन करते नजर आए। उन्होंने दलित दलित दयाराम सरोज के घर जमीन पर बैठकर खाना खाया। मुख्यमंत्री के साथ सांसद और विधायक के अलावा प्रभारी मंत्री स्वाति सिंह मौजूद रहीं। जिन्होंने रोटियां सेकने में खाना बना रही महिलाओं की मदद की। मुख्यमंत्री के लिए खास तौर पर भिंडी, करेला और लौकी की सब्जी के साथ दाल, चावल, रोटी और खीर का इंतजाम किया गया था।