ओसवाल ग्रुप को मिली जमीन की लीज निरस्त
तीन दशक पहले शासन ने बरेली रोड पर ओसवाल समूह को 200 एकड़ जमीन उद्योग स्थापित करने के लिए ली थी।
पीलीभीत : तीन दशक पहले शासन ने बरेली रोड पर ओसवाल समूह को 200 एकड़ जमीन उद्योग स्थापित करने के लिए लीज पर जमीन आवंटित की थी। अब तक तक उस जमीन पर कोई उद्योग स्थापित नहीं हुआ। शहर विधायक की पैरवी पर जिला प्रशासन ने इस जमीन की लीज निरस्त किए जाने का प्रयास शासन को भेजा, जिसे मंजूर करते हुए लीज निरस्त कर दी गई। अब विधायक की ओर से इस खाली पड़ी जमी पर श्री श्री रवि शंकर के ट्रस्ट से संपर्क स्थापित कर विश्वविद्यालय की स्थापना के प्रयास तेज कर दिए गए हैं।
जिलाधिकारी डॉ. अखिलेश कुमार मिश्र के अनुसार ओसवाल ग्रुप ने लीज की शर्तों का उल्लंघन किया। लीज की शर्तों में यह शामिल था कि जमीन उद्योग लगाने की लिए आवंटित की गई तो उद्योग ही स्थापित होना चाहिए। लेकिन ऐसा नहीं किया गया। लंबे समय से वह जमीन खाली पड़ी हुई है। इसीलिए इस जमीन की लीज निरस्त किए जाने की संस्तुति के साथ प्रस्ताव शासन को भेजा गया था। प्रस्ताव को मंजूर करते हुए शासन ने जमीन की लीज निरस्त कर दी है। उधर, शहर विधायक संजय ¨सह गंगवार ने बताया कि ओसवाल ग्रुप की आवंटित जमीन पर कोई उद्योग नहीं लगाया गया। इसी वजह से उन्होंने इस जमीन की लीज रद किए जाने की पैरवी की। इसके लिए शासन से नियुक्त जिले के नोडल अधिकारी से लेकर उद्योग मंत्री सतीश महाना तक से उन्होंने संपर्क साधकर पैरवी की। इस तरह शाही में दो सौ एकड़ जमीन फिर सरकार के पास आ गई है। श्री श्री रविशंकर ट्रस्ट से उन्होंने संपर्क साध रखा है। ट्रस्ट यहां पर विश्वविद्यालय खोलने का मन बना रहा है। साथ ही शेष जमीन पर उद्योगों की स्थापना भी कराई जाएगी। जिससे जिले के रोजगार के अवसर बढ़ें और जिले के नौजवानों को उसका फायदा मिल सके। इससे लंबे समय से खाली पड़ी जमीन का सदुपयोग होगा। साथ ही विकास की गति भी बढ़ेगी।