पेयजल आपूर्ति में विद्युत निगम बना बाधा, पालिका ने लिखा पत्र
खतौली में पेयजल आपूर्ति में विद्युत निगम बाधा बन गया है। इसके चलते नगर की करीब पांच हजार की आबादी को पर्याप्त रूप से पेयजल मुहैया नहीं हो रहा है। मुख्य मार्ग पर क्षतिग्रस्त भूमिगत पाइप लाइन की मरम्मत के लिए पालिका दुविधा में फंस गई है।
जेएनएन, मुजफ्फरनगर। खतौली में पेयजल आपूर्ति में विद्युत निगम बाधा बन गया है। इसके चलते नगर की करीब पांच हजार की आबादी को पर्याप्त रूप से पेयजल मुहैया नहीं हो रहा है। मुख्य मार्ग पर क्षतिग्रस्त भूमिगत पाइप लाइन की मरम्मत के लिए पालिका दुविधा में फंस गई है। खंभा हटने के बाद ही यहां खोदाई होगी। वहीं खंभा हटाने की एवज में विद्युत निगम ने पालिका को खर्च बताया है।
मुख्य मार्ग के किनारे पालिका की भूमिगत पेयजल पाइप लाइन बिछी हुई है। इस लाइन से थाना के पीछे, मोहल्ला मिट्ठुलाल, जीटी रोड के साथ कई मोहल्लों की पेयजल लाइन जुड़ी हुई है। थाने के निकट भूमिगत पाइप लाइन क्षतिग्रस्त होने से पानी का प्रेशर कम हो गया है। साथ ही इससे कई क्षेत्रों में गंदा पानी पहुंच रहा है। यह स्थिति पिछले एक माह से बनी हुई है। नगर पालिका चेयरपर्सन ने विद्युत निगम के अधिशासी अभियंता को पत्र भेजकर खंभा हटाने का आग्रह किया था। बुधवार को विद्युत निगम ने खंभा हटाने के लिए 61 हजार रुपये का खर्च बताते हुए पैसा जमा कराने के लिए कहा है। उसके बाद ही खंभा स्थानांतरित किया जा सकेगा। पत्र पहुंचने पर पालिका और विद्युत निगम में तनाव बन गया है। पालिका ने बताया आर्थिक संकट
पालिका ने विद्युत निगम को जवाब दिया है कि वर्तमान में पालिका की स्थिति दयनीय है। आर्थिक स्थिति बेपटरी होने के कारण यह खर्च वहन नहीं किया जा सकता है। ऐसे में जनहित को देखते हुए विद्युत निगम खंभे को हटाने की कार्रवाई करे। धंस सकती है सड़क
विभागों की रस्साकसी बनी रही तो मुख्य मार्ग की सड़क धंस सकती है। पाइप लाइन लीकेज होने से पानी जमीन में रिस रहा है। वहीं इस मार्ग पर यातायात का दबाव अधिक रहता है। पालिका और विद्युत निगम की तनातनी के कारण लोगों को शुद्ध पेयजल मुहैया नहीं हो रहा है। इन्होंने कहा
खंभा हटाने के लिए विभाग तैयार है, लेकिन इस कार्रवाई में 60 हजार से अधिक का खर्च बन रहा है। इसे पालिका को चुकाना है। उसके बाद की कार्रवाई आगे बढ़ सकती है।
-सोमन सिंह, अधिशासी अभियंता, खतौली। वर्तमान में पालिका का खाता सीज है, जबकि आर्थिक स्थिति भी ठीक नहीं है। ऐसे में जनहित को देखते हुए खंभा हटाने जाने का बिजली विभाग से आग्रह किया गया है।
-बिलकिस, चेयरपर्सन, नगर पालिका।