आतंक की कहानीः मजदूरी करते थे सईद और अनीस, इरशाद वेल्डिंग
एनआइए के साथ दिल्ली और यूपी पुलिस की संयुक्त छापेमारी में अमरोहा से पकड़े गए तीनों संदिग्ध बेहद गरीब परिवार के हैं। यह है उनका मजदूरी से आतंकवादी बनने का सफर।
मुरादाबाद, जेएनएन। अमरोहा के थाना नौगावां सादात के गांव सैदपुर इम्मा में हबीब अहमद के दो बेटों की गिरफ्तारी के बाद लोग सकते में हैं। गांव में इस परिवार की छवि बेहद सीधे साधे लोगों में है। दोनों भाई मजदूरी करते थे। फिलहाल वह अमरोहा में वेल्डिंग की दुकान पर काम कर रहे थे। बुजुर्ग हबीब अहमद के परिवार में पांच बेटे व पांच बेटियां हैं। दो बेटों सईद और अनीस को एनआइए ने पकड़ा है। दोपहर साढ़े 12 बजे तक सभी से पूछताछ की गई। उसके बाद दोनों भाइयों को लेकर टीम एक बजे गांव से निकल गई। इस कार्रवाई से गांव के लोग हैरत में हैं। गिरफ्तार किए गए अनीस व सईद अमरोहा के मुहल्ला इस्लामनगर में वेल्डिंग की दुकान पर काम करते थे। ग्रामीणों के अनुसार संदिग्ध दोनों भाई व उनका परिवार मेहनत मजदूरी करने वाला है। ग्रामीणों को यकीन ही नहीं है कि इन लोगों के तार किसी आतंकवादी संगठन से जुड़े हो सकते हैं।
इरशाद की कहानी फिल्मी खलनायक जैसी
आइएसआइएस के यूपी चीफ के साथ पकड़े गए इरशाद की कहानी किसी फिल्मी खलनायक से कम नहीं है। वह शहर में लोगों के सामने खुद को मजदूर के रूप में रखता था। ऑटो चलाकर था। सुहैल से उसके संबंध होने के बारे में पता चलने पर लोग हैरत में हैं। छह महीने पहले वह गोकशी में जेल भी जा चुका है।
नगर के मुहल्ला पचदरा में सगे भाई इरशाद व औरंगजेब के परिवार रहते हैं। इनके माता-पिता की मौत हो चुकी है। बड़ा भाई औरंगजेब ई-रिक्शा चलाता है तथा छोटा इरशाद ऑटो चलाता था। दोनों के परिवार भी अलग-अलग रहते हैं। इरशाद के परिवार में पत्नी व एक साल की बेटी है। मंगलवार रात को एनआइए की कार्रवाई के बाद इरशाद का रूप देखकर लोग हैरत में पड़ गए। टीम ने उसे भी हिरासत में ले लिया था। उसके घर से कुछ सामान बरामद कर टीम अपने साथ ले गई। क्या सामान था, इसकी जानकारी नहीं हो सकी है। इरशाद छह महीना पहले गोकशी के आरोप में जेल जा चुका है। आतंकी संगठन से नाम जुडऩे के बाद इरशाद को लेकर लोगों का नजरिया बदल गया है। वहीं उसके परिवार के लोग कुछ भी बोलने को तैयार नहीं हैं।
पकड़े गए लोगों का प्रोफाइल
१. हाफिज सुहैलः निवासी मुहल्ला मुल्लाना अमरोहा, बिहार के फुलवारी से मुफ्ती की डिग्री प्राप्त तथा पांच भाई-बहन में सबसे छोटा। २. इरशाद अहमद, ऑटो चालक, निवासी मुहल्ला पचदरा अमरोहा। आठवीं कक्षा तक पढ़ा और चार भाई-बहन में सबसे छोटा। ३. सईद ४. अनीस (दोनों भाई) निवासी सैदपुर इम्मा। पांचवी कक्षा तक पढ़े तथा वेल्डिंग की दुकान पर मजदूरी। दस भाई-बहन में पांचवें और छठे नंबर पर। ५. आजम अहमद (दिल्ली में गिरफ्तार) मूल निवासी मुहल्ला बटवाल अमरोहा व हाल निवासी जाफराबाद दिल्ली। शिक्षा स्नातक और चार भाई-बहनों में तीसरे नंबर का।