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अब ट्रेन में छेडख़ानी की तो बोगी बनेगी गवाह

मुरादाबाद(प्रदीप चौरसिया)। ट्रेनों में महिलाओं के साथ छेड़खानी की घटनाओं को रोकने के लिए रेलवे अब बोगी में सीसीटीवी कैमरे लगाने के साथ पैनिक बटन लगाने जा रहा है।

By Narendra KumarEdited By: Published: Thu, 25 Apr 2019 07:20 AM (IST)Updated: Thu, 25 Apr 2019 08:20 AM (IST)
अब ट्रेन में छेडख़ानी की तो बोगी बनेगी गवाह
अब ट्रेन में छेडख़ानी की तो बोगी बनेगी गवाह

मुरादाबाद(प्रदीप चौरसिया)। ट्रेनों में महिलाओं के साथ छेड़खानी की घटनाओं को रोकने के लिए रेलवे अब बोगी में सीसीटीवी कैमरे लगाने के साथ पैनिक बटन लगाने जा रहा है। इसका सिस्टम चालक और गार्ड के पास होने के साथ रेलवे के कंट्रोल रूम में लगा होगा। पैनिक बटन दबाते ही टीटीई और अन्य कर्मचारी तुरंत आपकी मदद को पहुंच जाएंगे।  

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रेलवे महिलाओं की सुरक्षा के लिए लगातार प्रयास कर रहा है। महिला यात्रियों के लिए बर्थ व सीट आरक्षित की गई है, लेकिन छेड़खानी की घटनाएं नहीं रुक रही हैं। कुछ मामले में छेड़खानी करने वाले पकड़े तो जाते हैं, लेकिन कोर्ट में महिला के गवाही देने नहीं जाने से आरोपित छूट जाते हैं। इसको देखते हुए रेलवे सभी कोच में साक्ष्य और निगरानी करने के लिए सीसीटीवी कैमरे लगाने जा रहा है। ये आनलाइन कंट्रोल रूम और गार्ड के पास लगे सिस्टम से जुड़ा होगा।

कंट्रोल रूम में कर्मचारी ही कोच के अंदर नजर रखने का काम करेगा। महिला को परेशान करते दिखाई देने पर तत्काल ट्रेन में तैनात कर्मचारी को सूचना देगा, जो यात्री की सहायता करेगा। ट्रेन में आरपीएफ और जीआरपी के जवान तैनात नहीं होने पर अगले स्टेशन पर रेलवे पुलिस पहुंच जाएगी। आरक्षित कोच की सभी बोगी में दो पैनिक बटन लगाए जाएंगे। चेयरकार में प्रत्येक दो सीट पर एक पैनिक बटन लगाया जाएगा। इसका सिस्टम चालक व गार्ड के पास होगा। पैनिक बटन दबाते ही गार्ड टीटीई व अन्य को सूचना देकर पीडि़त महिला की सहायता के लिए भेजा जाएगा। आपात स्थिति में चालक बिना ठहराव वाले स्टेशन पर ट्रेन को रोक देगा और स्थानीय पुलिस से मदद लेगा। पुलिस मुकदमा दर्ज करने के साथ साक्ष्य के लिए कोच में लगे सीसीटीवी के फुटेज को कोर्ट में उपलब्ध कराएगा।   

अपर मंडल रेल प्रबंधक अश्वनी कुमार ने बताया कि महिला यात्रियों की सुरक्षा के लिए रेलवे लगातार प्रयास कर रहा है। कोच में सीसीटीवी और पैनिक बटन लगाने का काम किया जा रहा है। 

सिक्योरिटी एप की तैयारी

रेलवे एक सिक्योरिटी एप भी तैयार कर रहा है। इसके जरिये महिलाएं और बच्चे रेल यात्रा के दौरान मदद ले सकेंगे। इस एप में सुरक्षा के अलावा ट्रेन से संबंधित फीचर भी होंगे। नई व्यवस्था के चालू होने के बाद महिला यात्रियों की सुरक्षा बेहद मजबूत और सुरक्षित हो जाएगी। 

पैसेंजर ट्रेन के गार्ड को भी मिलेगा जोखिम भत्ता

पैसेंजर गार्ड को भी रिस्क एलाउंस मिलना शुरू हो जाएगा। गार्ड के वेतन में एक हजार रुपये की वृद्धि हो जाएगी। यह भत्ता पहली अप्रैल 2017 से दिया जाएगा। रेलवे में मालगाड़ी, यात्री ट्रेन चलाने के लिए चार ग्रेड के गार्ड के पद हैं। मालगाड़ी के लिए मालगाड़ी गार्ड, पैसेंजर ट्रेन चलाने के लिए पैसेंजर गार्ड, मेल, एक्सप्रेस चलाने के लिए मेल एक्सप्रेस गार्ड और शताब्दी राजधानी चलाने के लिए राजधानी गार्ड का पद है। गार्ड को पद के आधार पर वेतन, भत्ता व सुविधा मिलती है। पैसेंजर गार्ड को छोड़कर अन्य गार्ड को जोखिम भत्ता मिल रहा है। मंडल में 105 पैसेंजर गार्ड हैं, जो लम्बे समय से रिस्क एलाउंस देने की मांग करते आ रहे हैं। पैसेंजर गार्ड अपनी मांगों को लेकर नार्दर्न रेलवे मैंस यूनियन के पदाधिकारियों के पास पहुंचे। नरमू के प्रतिनिधियों ने रेलवे बोर्ड का हवाला देकर मंडल रेल प्रशासन से पैसेंजर गार्ड को भी रिस्क एलाउंस देने की मांग शुरू किया।  साथ ही आंदोलन करने की चेतावनी दी। नरमू के बढ़ते दवाब के बाद कार्मिक विभाग ने पैसेंजर गार्ड को पहली अप्रैल 2017 से रिस्क एलाउंस देने का पत्र जारी किया है। इससे पैसेंजर गार्ड के वेतन में एक हजार रुपये से अधिक की वृद्धि हो जाएगी।

नरमू के सहायक मंडल मंत्री एके शुक्ला ने बताया कि नरमू के मांग के आधार पर मंडल रेल प्रशासन ने पैसेंजर गार्ड को भी रिस्क एलाउंस देने का आदेश जारी कर दिया है। अप्रैल माह के वेतन में रिस्क एलाउंस मिलेगा। एक अप्रैल 2017 से मार्च 2018 तक का एरियर का भुगतान बाद में किया जाएगा।


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