धुआंधार आतिशबाजी से मुरादाबाद की हवा हुई जहरीली, सांस लेने में दुश्वारी
दीपावली रात हुई धुआंधार आतिशबाजी से मुरादाबाद का प्रदूषण खतरनाक स्तर तक पहुंच गया। सुबह शहर की फिजा में धुंध रही। लोगों को सांस लेने में दिक्कत हुई।
मुरादाबाद(जेएनएन)। दीपावली पर जमकर हुई आतिशबाजी के चलते हवा पूरी तरह प्रदूषित हो चुकी है। आलम यह है हवा में प्रदूषण का स्तर बढऩे के चलते सुबह धुंध छाई रही। देश में आतिशबाजी के चलते प्रदूषित हुई हवा में मुरादाबाद पांचवें स्थान पर है। शहर का हवा गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआइ) 390 दर्ज किया गया। देश के सबसे प्रदूषित शहरों में पटना पहले नंबर पर है। पटना का एक्यूआइ 434 दर्ज किया गया। वहीं प्रदेश की राजधानी लखनऊ का प्रदूषण के मामले में देश में दूसरे स्थान पर है, लखनऊ का एक्यूआइ 421 दर्ज किया गया। जबकि तीसरे नंबर पर फरीदाबाद और चौथे नंबर पर नोएडा का प्रदूषण स्तर दर्ज किया गया।
बीते वर्ष पूरे भी दीपावली पर प्रदूषित हुई थी आबोहवा
बीते वर्ष नवंबर में शहर का पूरे महीने हवा का गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआइ) चार सौ के पार दर्ज किया गया था। केन्द्रीय प्रदूषण नियत्रंण बोर्ड (सीपीसीबी) के ही आंकड़ों के मुताबिक बीते वर्ष चार नवंबर को मुरादाबाद का नाम देश के सबसे प्रदूषित शहरों में दर्ज किया गया। शहर का एक्यूआइ 513 दर्ज किया गया। ऐसे में शहर की हवा अभी और प्रदूषित होने का डर बना हुआ है।
अभी और बढ़ेगी धुंध, घुटेगा दम
दीपावली पर हुई आतिशबाजी के चलते शहर में अभी धुंध और बढ़ेगी। धुंध के चलते सांस लेना भी मुश्किल होगा। धुंध कई दिन छाए रहने के आसार है। जब तक हवा में मिले प्रदूषित कण हवा से दूर नहीं हो जाते तब तक शहरवासियों पर खतरा बना रहेगा। हवा में प्रदूषण का स्तर बढऩे के चलते सांस के मरीजों की संख्या बढ़ गई है। जिला अस्पताल में सांस के मरीज और आंख के मरीज पहुंच रहे है। विशेषज्ञों का कहना है कि बढ़े प्रदूषण में लोग सुबह टहलने न निकले। सहायक वैज्ञानिक विमल राजपूत का कहना है कि आतिशबाजी के चलते हवा में प्रदूषण का स्तर बढ़ा है। अभी तक लोग आतिशबाजी कर रहे है। ऐसे में अभी प्रदूषण का स्तर और बढऩे के आसार है।