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Effect of coronavirus : मुरादाबाद में निजी स्कूलों ने शुरू की ऑनलाइन पढ़ाई, सरकारी स्‍कूलों का अभी तय नहीं

कोरोना की दूसरी लहर तेज होने से सीबीएसई 10वीं की परीक्षाएं रद व 12वीं की टाली जा चुकी हैं। स्कूल-कालेज बंद हैं ऐसे में ऑनलाइन पढ़ाई ही नालेज बढ़ाने का जरिया है। हालांकि सीबीएसई व आइसीएसई स्कूलों ने ऑनलाइन पढ़ाई शुरू कर दी है।

By Narendra KumarEdited By: Published: Fri, 16 Apr 2021 02:50 PM (IST)Updated: Fri, 16 Apr 2021 02:50 PM (IST)
Effect of coronavirus : मुरादाबाद में निजी स्कूलों ने शुरू की ऑनलाइन पढ़ाई, सरकारी स्‍कूलों का अभी तय नहीं
ग्रामीण क्षेत्र में इंटरनेट व स्मार्ट फोन की समस्या से इस बार भी जूझेंगे छात्र।

मुरादाबाद, जेएनएन। कोरोना की दूसरी लहर तेज होने से सीबीएसई 10वीं की परीक्षाएं रद व 12वीं की टाली जा चुकी हैं। स्कूल-कालेज बंद हैं, ऐसे में ऑनलाइन पढ़ाई ही नालेज बढ़ाने का जरिया है। हालांकि सीबीएसई व आइसीएसई स्कूलों ने ऑनलाइन पढ़ाई शुरू कर दी है लेकिन, ग्रामीण बच्चों की पढ़ाई इस बार भी राम भरोसे है। बेसिक व माध्यमिक स्कूलों के बच्चों की पढ़ाई पर संकट दूरस्थ क्षेत्रों में इंटरनेट की सुविधा का लचर होना, एंड्राइड फोन की सुविधा न होने से इस बार भी बना हुआ है।

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सरकार आदेश कर चुकी है कि ऑनलाइन पढ़ाई कराएं लेकिन, सीबीएसई के अलावा माध्यमिक व उप्र बोर्ड के परीक्षार्थियों को बिना स्मार्ट फोन से पढ़ाई हो पाना मुश्किल है। जिले में एक लाख 75 हजार बच्चे बेसिक स्कूलों में पढ़ते हैं जबकि करीब पांच लाख छात्र-छात्राएं माध्यमिक स्कूलों में हैं। इनमें ग्रामीण क्षेत्रों की बात करें तो 50 फीसद के पास भी स्मार्ट फोन नहीं हैं। ऐसे में ऑनलाइन पढ़ाई कैसे होगी।

विषम परिस्थितियों के बीच पढ़ना जरूरी

एक तो पूरे साल शिक्षकों का सही तरीके से मार्गदर्शन नहीं मिला और दूसरा ग्रामीण क्षेत्रों में स्मार्ट फोन व इंटरनेट की समस्या है लेकिन, जो भी परिस्थितियां हैं, उसमें खुद को ढालते हुए पढ़ना बेहद जरूरी है। अभिभावक, छात्रों को यह समझना ही पड़ेगा कि वक्त बदल गया है। उसी अनुरूप विषम परिस्थितियों में पढ़ाई करनी है। ऐसे में विकल्प तो तलाशने ही होंगे, वरना हमारी लापरवाही हम पर ही भारी पड़ सकती है। परीक्षाएं जब हों लेकिन, नालेज बढ़ाना इस महामारी के बीच जरूरी है। जिनके पास स्मार्ट फोन है, इंटरनेट भी है तो वह अलग-अलग विषयों के देश भर के विशेषज्ञों के वीडियो को देखकर अपनी नालेज बढ़ाते रहें। दसवीं के बोर्ड परीक्षार्थियों को अपनी 11वीं की तैयारी में जुट जाना चाहिए। कारण, सेल्फ स्टडी के बाद जब भी स्कूल खुलेंगे तो कक्षा में पढ़ाया गया चेप्टर आपको पहले से क्लियर होने से सवालों पर पकड़ बनेगी।

ऑनलाइन पढ़ाई सम्भव है तो उसे अनिवार्य रूप से कराएं। इसके अलावा पिछले सत्र की तरह स्टडी मेटेरियल भेजने व बच्चों कम संख्या में स्कूल बुलाकर होमवर्क देने के जो नियम थे, उसी अनुसार पढ़ाई को शिक्षक जारी रखेंगे। किताबें व यूनिफार्म जैसे ही आएंगी उनका भी वितरण योजनाबद्ध तरीके से कराया जाएगा।

योगेंद्र कुमार, बीएसए

ऑनलाइन पढ़ाई ही अब माध्यम है। पिछले सत्र की तरह इस बार भी ऑनलाइन पढ़ाई शुरू हो चुकी है। अलग-अलग विषयों की पढ़ाई कराने को शिक्षकों को शेडयूल दिया जा चुका है।

मैथ्यू पी एलनचेरिल, प्रधानाचार्य, पीएमएस


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