Dengue in Moradabad : डेंगू से महिला की मौत, डिलारी में सीएमओ ने डाला डेरा, टीम ने घर-घर किया सर्वे
Dengue in Moradabad सीएमओ ने डिलारी सीएचसी में भर्ती डेंगू के मरीजों का हालचाल जाना। चिकित्सा अधीक्षक डाॅ. विशाल दिवाकर को भी दिशा-निर्देश दिए। गांवों की स्थिति के बारे में जानकारी जुटाई। टीमों ने घर-घर सर्वे शुरू कर दिया है।
मुरादाबाद, जागरण संवाददाता। Dengue in Moradabad : डेंगू का प्रकोप बढ़ रहा है। बुधवार को पाकबड़ा के माता वाली मिलक की महिला की डेंगू से मौत होने से स्वास्थ्य विभाग में खलबली मच गई। वहीं डिलारी के गक्खरपुर में सीएमओ, एसीएमओ और मलेरिया विभाग के नोडल अधिकारी ने डेरा डाल दिया है। एनएस-1 जांच में 26 लाेग डेंगू आशंकित निकले हैं। इन सभी की एलाइजा किट से गुरुवार को जांच होगी।
डेंगू को लेकर हालात बद से बदतर होते जा रहे हैं। पाकबड़ा की माता वाली मिलक की रहने वाली 73 वर्षीय नूरजहां का 27 सितंबर को जिला अस्पताल में परीक्षण हुआ था। डेंगू पाजिटिव होने के बाद उसे हायर सेंटर के लिए रेफर कर दिया। महिला को उसके स्वजन ने कांठ रोड के निजी अस्पताल में भर्ती कराया। जहां बुधवार को उसकी मौत हो गई। जिले में डेंगू से मौत का यह पहला मामला है। वहीं डिलारी के गक्खरपुर में सीएमओ डाॅ. एमसी गर्ग, एसीएमओ डाॅ. दीपक वर्मा, मलेरिया विभाग के नोडल डाॅ. संजीव बेलवाल ने डेरा डाल दिया है। स्वास्थ्य अधिकारियों की टीमें बनाने के बाद घर-घर का सर्वे किया गया। अब तक 550 मकानों को चेक करने के साथ लार्वा का छिड़काव किया गया। यहां 26 लोग डेंगू आशंकित मिले हैं। वहीं कांठ के ढकिया में 22 लोगों की जांच कराई गई। सभी की रिपोर्ट निगेटिव रही। सीएमओ ने डिलारी सीएचसी में भर्ती डेंगू के मरीजों का हालचाल जाना। चिकित्सा अधीक्षक डाॅ. विशाल दिवाकर को भी दिशा-निर्देश दिए। गांवों की स्थिति के बारे में जानकारी जुटाई।
डेंगू के मरीजों की लगातार देखभाल की जा रही है। बुखार के मरीजों को भी तलाश किया जा रहा है। एक महिला की डेंगू से मौत की खबर की जानकारी मिली है। स्वास्थ्य विभाग की टीम गुरुवार को जाएगी। वहां भी परीक्षण किया जाएगा।
डाॅ. एमसी गर्ग, मुख्य चिकित्सा अधिकारी
मलेरिया विभाग के दावे हवा, दिखावे का छिड़काव : मलेरिया विभाग के अधिकारियों ने दावा किया था कि टीम लगातार एंटी लार्वा का छिड़काव करने के साथ ही प्रचार-प्रसार कर रही है। लेकिन, हालात इससे बिलकुल विपरीत हैं। डिलारी के गक्खरपुर, कांठ के ढकिया गांव, और पाकबड़ा की माता वाली मिलक में डेंगू के मरीजों की भरमार है। एंटी लार्वा तो छोड़िये मलेरिया विभाग के कर्मचारी वहां झांकने तक नहीं गए। मलेरिया के इंसेक्ट कलेक्टर ने भी चंद मच्छर पकड़कर उच्चाधिकारियों को संतुष्ट कर दिया था। जब डेंगू का मच्छर था ही नहीं तो डेंगू के मरीजों की पुष्टि कैसे हो रही है। कार्रवाई के नाम पर ऐसे कर्मचारियों को बख्शा जा रहा है जो दूसरों की जान जोखिम में डाल रहे हैं। डेंगू को लेकर हालात लगातार खराब हो रहे हैं। स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी अभी भी सचेत नहीं हुए तो हालात और भी खराब होने के आसार हैं।