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मीरजापुर में हत्या के मामले में दोनों पक्ष के चार लोगों को आजीवन कारावास, सोलह साल बाद मिला न्याय

प्रथम अपर सत्र न्यायालय की न्यायाधीश रचना अरोड़ा ने सोमवार को हत्या के मामले में दोनों पक्षों का दोषसिद्ध होने पर दो-दो लोगों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई। इसके साथ ही 25- 25 हजार रुपये के जुर्माने से दंडित किया।

By Prashant Kumar YadavEdited By: Anurag SinghPublished: Mon, 31 Oct 2022 11:17 PM (IST)Updated: Mon, 31 Oct 2022 11:17 PM (IST)
मीरजापुर में हत्या के मामले में दोनों पक्ष के चार लोगों को आजीवन कारावास, सोलह साल बाद मिला न्याय
हत्या के मामले में दोनों पक्षों का दोषसिद्ध होने पर कोर्ट ने दो-दो लोगों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई।

मीरजापुर, जागरण संवाददाता। प्रथम अपर सत्र न्यायालय की न्यायाधीश रचना अरोड़ा ने सोमवार को हत्या के मामले में दोनों पक्षों का दोषसिद्ध होने पर दो-दो लोगों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई। इसके साथ ही 25- 25 हजार रुपये के जुर्माने से दंडित किया।

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अभियोजन के अनुसार वादी मुकदमा राजपति देवी पत्नी स्व. सहंगू बिंद निवासी बसंतपुर कांधी डवक जमालपुर के अनुसार छह जुलाई 2006 की रात उसकी भैंस छुड़ाकर पड़ोस के टेगरी बिंद के धान के बेहन में चली गई थी। वह भैंस को ले आ रही थी। इसी पर पप्पू पुत्र टेंगरी उसे गाली देने लगे। इसका विरोध किया तो टेंगरी पुत्र बुद्धू ने ललकारते हुए कहा कि वादी मुकदमा को जान से मार दो। इतने पर टेंगरी गड़ासा, बनवारी पुत्र टेंगरी कट्टा और चेतन पुत्र टेंगरी बल्लम तथा पप्पू अपने हाथ में लाठी लेकर वादी मुकदमा के दरवाजे पर चढ़कर मारने लगे। बीच-बचाव में आए उसके पति सहंगू बिंद और पुत्र सुनीत उर्फ बबलू तथा संतोष बिंद को भी आरोपित मारने-पीटने लगे। इसी बीच बनवारी ने कट्टे से फायर कर दिया जिससे उसके पति सहंगू बिंद की गोली लगने से मृत्यु हो गई। वादी मुकदमा की तहरीर पर जमालपुर पुलिस ने सभी आरोपितों के विरुद्ध मुकदमा दर्ज कर आरोप पत्र न्यायालय में पेश किया।

 मामले को साबित करने के लिए सहायक जिला शासकीय अधिवक्ता पंकज कुमार सिंह ने कुल आठ गवाह प्रस्तुत कराया। मुकदमा विचारण के दौरान दूसरे पक्ष के टेंगरी बिंद की मौत हो गई। उधर दूसरे पक्ष के वादी मुकदमा टेंगरी बिंदु पुत्र बुद्धू निवासी बसंतपुर ने भी तहरीर दिया कि छह जुलाई 2006 की रात नौ बजे के करीब उसके धान की बेहन के खेत में पड़ोस के सहंगू बिंद की भैंस जाकर बेहन चरने लगी। जब वादी मुकदमा और वादी मुकदमा का पुत्र पप्पू भैंस को हटाया गया तो आरोपित सहंगू पुत्र विश्वनाथ बरछा, संतोष पुत्र सहंगू लाठी व सुनीत उर्फ बबलू अपने हाथ में कट्टा लेकर वादी मुकदमा को मारने लगे। आरोपित सुनीत उर्फ बबलू ने कट्टे से गोली चला दी जिससे मौके पर वादी मुकदमा के पुत्र पप्पू की मौत हो गई। दूसरे पक्ष से भी तहरीर मिलने पर पुलिस ने मुकदमा दर्ज कर आरोप पत्र न्यायालय में पेश किया।

मामले को सिद्ध करने के लिए सहायक जिला शासकीय अधिवक्ता उदय कुमार सिंह द्वारा आठ गवाहों को न्यायालय में प्रस्तुत कराया। मामले की गंभीरता और पत्रावली पर उपलब्ध साक्ष्य के आधार पर दोनों पक्ष के सुनील बिंद उर्फ बबलू बिंद व संतोष बिंद पुत्रगण सहंगू बिंद, बनवारी बिंद व चेतन बिंद पुत्रगण टेंगरी बिंद समस्त निवासीगण बसंतपुर थाना जमालपुर को हत्या में दोषी ठहराते हुए आजीवन कारावास एवं 25-25 हजार रुपये के जुर्माने से दंडित किया।


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