वर्षो बाद भी किसानों को नहीं मिला भूमि मुआवजा
सिरसी बांध प्रखंड से निर्मित उपरौध राजवाहा नहर में अधिग्रहित किसानों की भूमि का मुआवजा न मिलने से किसानों में आक्रोश बढ़ता जा रहा है। जबकि किसानों ने अपने अधिग्रहित भूमि के मुआवजा हेतु तहसील दिवस सहित जनप्रतिनिधियों के यहां वर्षो से कई बार पत्रक दे चुके है लेकिन किसानों की आवाज नक्कार खाने की तुती बनकर रह गई थी
जागरण संवाददाता, लालगंज (मीरजापुर) : सिरसी बांध प्रखंड से निर्मित उपरौध राजवाहा नहर में अधिग्रहित किसानों की भूमि का मुआवजा न मिलने से किसानों में आक्रोश बढ़ता जा रहा है। जबकि किसानों ने अपने अधिग्रहित भूमि के मुआवजा हेतु तहसील दिवस सहित जनप्रतिनिधियों के यहां वर्षो से कई बार पत्रक दे चुके है लेकिन किसानों की आवाज नक्कार खाने की तुती बनकर रह गई थी। लोस चुनाव के ऐन मौके पर किसानों ने अपनी आवाज फिर बुलंद कर रहे है। चुनाव के पूर्व मुआवजा नहीं मिला तो मतदान के दिन नोटा बटन दबाने की चेतावनी दी।
सिरसी बांध प्रखंड से निर्मित उपरौध रजवाहा नहर का निर्माण विगत 1970-80 के दशक में हुआ था। इस नहर में बनवारी, बरडीहा, पुराठाकुर राम, मेढरा, दुल्लहपुर, सौरेह आदि गांवों के किसानों की भूमि अधिग्रहित की गई थी। किन्तु आज तक किसानों के अधिग्रहित भूमि का मुआवजा नहीं दिया गया। जबकि किसानों ने अपने अधिग्रहित भूमि के मुआवजे को लेकर कई बार संपूर्ण समाधान दिवस पर उच्चाधिकारियों को पत्रक देकर मुआवजा की मांग की गई लेकिन आज तक कोई सुनवाई नहीं हुई। इतना ही नहीं प्रत्येक लोकसभा, विधान सभा चुनाव में इसे मुद्दा बनाने की बात होती है लेकिन चुनाव के बाद सभी दलों के नेता भूल जाते है। किसानों ने अपने अधिग्रहित भूमि के मुआवजे की मांग करते हुए दुखडा व्यक्त करने पर नेताओं द्वारा यह कहा जाता रहा कि चुनाव बीतने के बाद हम मुआवजा दिलवा देंगे लेकिन चुनाव जीतने के बाद नेताओं ने अपने वादों को भूल जाते है। हालांकि इस बार किसानों ने मन बना लिया है कि लोकसभा चुनाव में मुआवजा के वादों का याद कराते हुए नेताओं से अपनी फरियाद मजबूती के साथ रखा जाएगा, और जबाब दिया जाएगा। चुनाव पूर्व दिया जाए मुआवजा
बरडीहा निवासी उमाकांत मिश्रा, अमरेश चंद मिश्रा, गौरीशंकर, लालमणि पांडेय, मुनीन्द्र कुमार तथा सौरेह निवासी कन्हैयालाल पाल आदि लोगों ने अपने अधिग्रहित भूमि के मुआवजे को लेकर लोकसभा चुनाव में नेताओं का इंत•ार कर रहे है कि चुनाव से पहले भूमि का मुआवजा दिया जाए।