गंगाजल पाइप लाइन से जुड़ेंगे भूमिगत जलाशय
मेरठ पेयजल योजना के तहत पांच साल पहले बनाए गए चार भूमिगत जलाशय गंगाजल की मुख्य लाइन से जोड़ा जाएगा।
मेरठ, जेएनएन। मेरठ पेयजल योजना के तहत पांच साल पहले बनाए गए चार भूमिगत जलाशय गंगाजल की मुख्य लाइन से जोड़े जाएंगे। जिससे शहर की बड़ी आबादी को गंगाजल मिलने लगेगा। प्रस्ताव 14 वें वित्त आयोग की बैठक में पास कर दिया।
सोमवार को 14 वें वित्त आयोग की बैठक बचत भवन में महापौर सुनीता वर्मा की अध्यक्षता में आयोजित की गई। बैठक में जिलाधिकारी के बाला जी, नगर आयुक्त मनीष बंसल, एमडीए सचिव प्रवीणा अग्रवाल समेत जलकल महाप्रबंधक और जलनिगम के अधिकारी मौजूद रहे। बैठक में मुख्य वित्त एवं लेखाधिकारी संतोष शर्मा ने 26 करोड़ 72 लाख के प्रस्ताव रखें। पूर्व में स्वीकृत कार्यो को निरस्त किया गया और कुछ संशोधनों के साथ सारे प्रस्ताव पास कर दिए गए। नगर निगम गंगाजल आपूर्ति के लिए नौचंदी, बच्चा पार्क, शास्त्रीनगर सेक्टर 12 और गोला कुंआ में बनाए गए भूमिगत जलाशय जो कि पांच साल से सूखे हैं, इनको गंगाजल आपूर्ति की मुख्य लाइन से जोड़ा जाएगा। इससे भोला की झाल स्थित 100 एमएलडी वाटर ट्रीटमेंट प्लांट से गंगाजल आएगा। ऐसा होने से क्षेत्र की बड़ी आबादी को भी गंगाजल आपूर्ति होने लगेगी। निगम अधिकारियों के अनुसार इस काम पर लगभग पांच करोड़ रुपये खर्च होंगे। उधर, निर्माण संबंधी लगभग ढाई करोड़ के पुराने कार्यों को निरस्त करते हुए उनके बदले नए निर्माण कार्यों पर स्वीकृति दी गई। अमृत योजना के प्रस्ताव पर को भी स्वीकृति दे दी गई है। खरीदे जाएंगे जनरेटर और मशीन
14 वें वित्त के बजट से चार बड़े जनरेटर खरीदे जाएंगे। टाउनहाल और शर्मा स्मारक भूमिगत जलाशय पर बिजली आपूर्ति बाधित होने पर इन जनरेटरों से पानी के माध्यम से पानी की आपूर्ति की जा सकेगी। सफाई व्यवस्था में सुधार के लिए एक बड़ी पोकलेन, दो जेसीबी और एक रोड स्वीपिंग मशीन खरीदी जाएगी।
यह काम हुए निरस्त
पूर्व में स्वीकृत कई कामों को निरस्त कर दिया गया। जिनमें आबूनाला एक स्थित रंगोली मंडप के समीप सेग्रीगेशन प्लांट का काम, नगलाताशी-कासमपुर तक सड़क-नाली निर्माण का काम, मंगतपुरम में डंप कचरे पर बायोकैपिग के प्रस्ताव को भी निरस्त कर दिया गया है।