आपकी कार, बाइक या अन्य वाहन के ये फीचर बड़े काम के हैं, इन्हें आजमाइए और कोहरे में भी सुरक्षित रहिए
कोहरे में दुर्घटना से बचने के लिए अपने वाहन में जरूरी उपाय व फीचर लगवा लें। यदि पहले से ही सुरक्षा सिस्टम है तो उसका उपयोग करें।
मेरठ, [प्रदीप द्विवेदी]। कोहरे की वजह से होने वाली दुर्घटना के खतरे को हम अपनी कार और बाइक या अन्य वाहन के कुछ महत्वपूर्ण फीचर पर ध्यान देकर भी कम कर सकते हैं। या तो हम कार के फीचर्स का उपयोग नहीं करते या फिर कार में सुरक्षा वाले फीचर होते नहीं हैं। हमारी थोड़ी सतर्कता हमारी जान बचा सकती है। वैसे तो तमाम फीचर अब नए व्हीकल एक्ट के तहत अनिवार्य कर दिए गए हैं। फिर भी अब कोहरे का समय आ गया है। अपने वाहन को देखें और जरूरी इंतजाम कर लें। आइए जानते हैं कोहरे की दुर्घटना कम करने के लिए हम क्या-क्या कर सकते हैं।
ये रखें सावधानी
लगवा लें फॉग लाइट, साफ देख पाएंगे
कोहरे में हेडलाइट के साथ फॉग लाइट भी जलाना चाहिए। यह धुंध काटने में मददगार साबित होता है। इससे विजिबिलिटी बढ़ जाती है। कुछ लोग धुंध में सिर्फ फॉग लाइट का सहारा लेते हैं। ये भी गलत है। दूर से आने वाले लोगों को फॉग लाइट दिखाई नहीं देती इसलिए हेडलाइट भी ऑन रखेेंें।
लो बीम पर रखने से होगी देखने में आसानी
गाड़ी की हेडलाइट को हाई बीम पर रखने की बजाय लो बीम पर रखना चाहिए। ऐसा करने से देखने में आसानी होती है और सामने वाले को भी गाड़ी की सही स्थिति का पता चलता है। दिन में भी कोहरा होने पर हेडलाइट ऑन रखें।
बड़े काम की है पीली लाइट और किनारे की लाइन
कोहरा घना हो तो सड़क के बाएं किनारे को देखकर गाड़ी चलाएं। इसका लाभ यह होगा कि बिना किसी भटकाव के आपकी गाड़ी सीधी लाइन में चलती रहेगी। वहीं ड्राइव करने वाले की आसानी के लिए सड़कों पर पीली लाइट लगाई जाती है। इससे कोहरे में भी आसानी से ड्राइविंग कर सकते हैं।
दूरी रखेंगे तो टकराने से बचे रहेंगे
कोहरे में दुर्घटना से बचने के लिए यह जरूरी है कि सामने वाली गाड़ी से उचित दूरी बनाकर रखें। कोहरे में सड़कें गीली होती हैं, ऐसे में यदि ब्रेक लगाने पर गाड़ी फिसलने से टकराएगी नहीं।
पहले से ही देना शुरू करें इंडिकेटर
भले ही गाड़ी काफी आगे मोड़नी हो लेकिन इंडिकेटर पहले से ही देना शुरू कर देना चाहिए। मोड़ के आने पर इंडिकेटर देने से दुर्घटना की आशंका बढ़ जाती है।
कोहरे से गीली सड़क पर दुर्घटना रोकेंगे ये फीचर
एंटी लॉक ब्रेकिंग सिस्टम
ये एक ऐसा फीचर है जिसका प्रयोग कार और बाइक दोनों में किया जाता है। 125 सीसी से कम इंजन क्षमता की बाइक में कॉम्बी ब्रेकिंग सिस्टम और 150 सीसी या उससे ऊपर की बाइक में एंटी लॉक ब्रेकिंग सिस्टम का प्रयोग जरूर करें। जब अचानक बाइक में ब्रेक लगाते हैं तो यह बाइक के टायर को लॉक होने से रोकता है, जिससे बाइक के फिसलने का डर नहीं होता है। वहीं ऑफ रोड बाइक्स पर बाइक की हैंडलिंग को भी कंट्रोल करता है। कार या अन्य वाहन के लिए भी यह बेहद जरूरी है। टक्कर आदि की स्थिति में गाड़ी केफिसलने का जोखिम कम हो जाता है। नए सड़क सुरक्षा अधिनियम के तहत अब एंटी लॉक ब्रेकिंग सिस्टम अनिवार्य कर दिया गया है।
रियर लिफ्ट ऑफ प्रोटेक्शन
इस फीचर का प्रयोग 150 सीसी बाइक में सबसे ज्यादा किया जाता है। तेज रफ्तार के दौरान जब अचानक से ब्रेक लगाते हैं तो बाइक का पिछला पहिया हवा में उठ जाता है। ये सेफ्टी फीचर बाइक में लगाए गए अचानक ब्रेक के प्रभाव को कम करता है और पिछले टायर को हवा में उठने से रोकता है।
ट्रैक्शन कंट्रोल सिस्टम
जब किसी गीली जमीन या फिर कीचड़ भरे रास्तों पर ड्राइव करते हैं तो बाइक के फिसलने का डर रहता है। इस दौरान ये फीचर ट्रैक्शन को कम करता और ड्राइविंग को सहज करता है। ट्रैक्शन कंट्रोल फीचर आम तौर पर महंगी बाइक में देखने को मिलता है।
- यह भी रखें ध्यान
- अगर रोज एक ही रास्ते से निकलते हैं तो उन रास्तों में जहां पर सबसे कम विजिबिलिटी रहती है उसकी पहचान कर लें।
- नदी और तालाब के आसपास गाड़ी की गति धीमे कर लें और अपनी ही लेन में चलें।
- बीच सड़क या किनारे गाड़ी न खड़ी करें। इससे टक्कर हो सकती है। आसपास किसी दुकान के पास गाड़ी पार्क कर दें और सभी लाइटें जला दें।
- धीमी गति से वाहन चलाएं।
- खिड़की के शीशे को थोड़ा खुला रखें। हल्का हीटर चला कर हवा विंडस्क्रीन की ओर कर दे। इससे विंड स्क्रीन पर भाप नहीं जमेगी।
- स्टीरियो या एफएम बंद रखें।
- कोहरे में निकलने से पहले गाड़ी का हार्न जरूर चेक कर लें। हॉर्न बजाने से आगे-पीछे चलने वाले वाहनों के चालकों को आपकी गाड़ी की मौजूदगी का पता चल जाता है।
गाड़ी खराब हो जाए तो यह करें
गाड़ी खराब हो जाती है तो गाड़ी की लाइटें बंद कर दें और ब्रेक के पैडल से अपने पैर हटा लें क्योंकि कोहरे में अधिकांश लोग आगे जा रही गाड़ी की टेल लाइट ही देखकर चलते हैं। दुर्घटना से बचने के लिए गाड़ी से बाहर आकर निकलकर खड़े हो जाएं।
ऐसे लें मदद
दुर्घटना होने पर यातायात पुलिस को सूचना दें या फिर 112 नंबर पर फोन करें। नजदीकी पुलिस थाने से जरूरत पर मदद ली जा सकती है। आसपास के लोगांे से भी मदद ली जा सकती है।
रिवर्स पाकिर्ंग सिस्टम
कार बैक यानि पीछे करेंगे और वहां कोई आदमी, जानवर या वस्तु होगी तो कार सतर्क करेगी। कार से लगातार बीप की आवाज आएगी। यह होगा रिवर्स पाकिर्ंग सिस्टम से। इससे दुर्घटना की संभावना कम हो जाएगी। यह फीचर भी अब अनिवार्य कर दिया गया है।
गाड़ी के पीछे लगा लें रेडियम टेप
कोहरे में दुर्घटना से बचने के लिए गाड़ी के पीछे रेडियम टेप या रिफ्लेक्टर लगवा लेना चाहिए। इससे पीछे वाली गाड़ी को आपकी स्थिति का पता चलता रहेगा।
व्हीकल स्टेबिलिटी कंट्रोल सिस्टम
ड्राइविंग के लिए यह बेहद ही जरूरी फीचर है। ये फीचर इलेक्ट्रॉनिक उपकरण की मदद से बाइक को संतुलित करता है। ये डिवाइस बाइक के झुकने के दौरान चालक के राइडिंग स्टाइल, एक्जेलरेशन और पावर का आकलन करके ऑटोमेटिक तरीके से ब्रेक लगाने और ट्रैक्शन को कंट्रोल करने का कार्य करता है। इससे बाइक संतुलित होकर चलती है।