अब चुनौती मूल्यांकन में शुल्क नहीं होगा वापस
चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय में अब चुनौती मूल्यांकन का नियम बदल दिया गया है। चुनौती मूल्यांकन में अगर पूर्णाक का 20 प्रतिशत या उससे अधिक अंक बढ़ते हैं तो शुल्क वापस किया जाएगा। उससे कम अंक होने पर कोई भी शुल्क वापस नहीं होगा।
मेरठ, जेएनएन। चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय में अब चुनौती मूल्यांकन का नियम बदल दिया गया है। चुनौती मूल्यांकन में अगर पूर्णाक का 20 प्रतिशत या उससे अधिक अंक बढ़ते हैं तो शुल्क वापस किया जाएगा। उससे कम अंक होने पर कोई भी शुल्क वापस नहीं होगा।
मंगलवार को कुलपति प्रो. संगीता शुक्ला की अध्यक्षता में परीक्षा समिति की बैठक में इस पर निर्णय लिया गया। अभी तक चुनौती मूल्यांकन के लिए अभ्यर्थी 2500 रुपये जमा कराते हैं। इसमें अंक बढ़ने या घटने पर भी परीक्षार्थियों के 1500 रुपये वापस कर दिए जाते थे। अब 20 प्रतिशत से अधिक अंक के अंतर होने पर ही शुल्क की वापसी होगी। इसके अलावा परीक्षा समिति ने निर्णय लिया है कि चुनौती मूल्यांकन में दो परीक्षकों के अंकों में अंतर आता है तो तीसरे परीक्षक से भी मूल्यांकन कराया जाएगा। इसमें दो परीक्षकों के अंक का औसत लिया जाएगा।
सीसीएसयू के छात्र पांच सेक्टर में आगे बढ़ेंगे
मेरठ : चौधरी चरण सिंह विवि में स्टार्टअप सेल एंड इनक्यूबेशन सेंटर (एससीआइसी) की वर्चुअल बैठक हुई। इसमें गाजियाबाद जिले के दस कालेजों को चिन्हित किया गया है। जिन कालेजों में एक इंस्टीट्यूट इनक्यूबेशन सेंटर स्थापित करके नोडल अधिकारी नामित किया जाएगा। जो इनोवेशन वाले छात्रों की पहचान करेंगे। ये कालेज पांच उद्योगों के साथ पांच स्टार्टअप, परियोजना और पांच क्षेत्रों की पहचान करेंगे। प्राथमिक चरण में इसके लिए पांच सेक्टरों को चिन्हित किया गया है। जिससे छात्र पांच सेक्टर को इनोवेटिव आइडिया देंगे। इन सेक्टरों में डेयरी उद्योग, खेल, कबाड़ से रिसाइक्लिग व हैवी मेटल, बायो प्रोडक्ट और फार्मा आदि को शामिल किया गया है। बैठक में कुलपति प्रो. संगीता शुक्ला, प्रति कुलपति प्रो. वाई विमला, प्रो. हरे कृष्ण, प्रो. अनुज कुमार, शैलेंद्र जायसवाल, प्रो. मुकेश शर्मा, डा. योगेंद्र रहे।