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नियम-कानून हैं तमाम.. हर्ष फायरिंग फिर भी बेलगाम, आइजी ने खुद संभाली कमान Meerut News

यह विडंबना ही है कि गृह मंत्रालय ने हर्ष फायरिंग में सजा की अवधि बढ़ाकर दो साल करने का सुझाव रखा है। हाईकोर्ट द्वारा भी हर्ष फायरिंग पर रोक है। फिर भी हर्ष फायरिंग रुक नहीं रही।

By Prem BhattEdited By: Published: Sat, 15 Feb 2020 01:28 PM (IST)Updated: Sat, 15 Feb 2020 01:28 PM (IST)
नियम-कानून हैं तमाम.. हर्ष फायरिंग फिर भी बेलगाम, आइजी ने खुद संभाली कमान Meerut News
नियम-कानून हैं तमाम.. हर्ष फायरिंग फिर भी बेलगाम, आइजी ने खुद संभाली कमान Meerut News

मेरठ, जेएनएन। खुशी के मौके पर हो रही हर्ष फायरिंग तमाम नियम कानून के बावजूद भी नहीं रुक पा रही है। पिछले दो दिनों में हर्ष फायरिंग की चार घटनाएं हो चुकी हैं, जिनमें एक बालक व दूल्हा समेत 12 लोग घायल हो गए। तब भी सिर्फ मुकदमे दर्ज हुए हैं, अभी तक किसी की गिरफ्तारी तक नहीं की गई, जबकि गृह मंत्रालय ने हर्ष फायरिंग में सजा की अवधि बढ़ाकर दो साल करने का सुझाव रखा है। हाईकोर्ट द्वारा भी हर्ष फायरिंग पर रोक है।

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केस. 1 : मुकदमा दर्ज, गिरफ्तारी नहीं

मंगलवार की रात कोतवाली के सरायजीना निवासी हाजी सनीफ की दो बेटियों दरकशा और मजहबी का निकाह परतापुर थाने के जुर्रानपुर स्थित भड़ाना फार्म हाउस में हुआ। दरकशा की बारात मोदीनगर और मजहबी की बारात घोसीपुर खरखौदा से आई थी। बारात में सनीफ का रिश्तेदार नरहाड़ा खरखौदा निवासी आरिफ के आठ वर्षीय बेटे आहत उर्फ भूरा की पीठ में गोली लगी। पुलिस की तरफ से फार्म हाउस के प्रबंधक, दुल्हन के पिता सनीफ और दूल्हे के पिता कासिम और नईम को नामजद किया है। अभी तक किसी की भी पुलिस गिरफ्तारी नहीं कर पाई।

केस. 2 : दूल्हा-दुल्हन के पिता पर कार्रवाई नहीं

जानी के सिसौल खुर्द गांव निवासी बृजमोहन की पुत्री की बुधवार को बागपत से बारात आई थी। चढ़त के दौरान डांस करते समय हर्ष फायरिंग की गई, जिसमें गोली ललित की छह वर्षीय बेटी आंचल के दाएं पैर में लग गई। थाना प्रभारी योगेंद्र पाल का कहना है कि फायरिंग करने वाले शुभम के खिलाफ जानलेवा हमले का मुकदमा दर्ज कर जेल भेज दिया। दुल्हन और दूल्हे के पिता तथा मंडप स्वामी पर कोई कार्रवाई नहीं की गई।

केस. 3 : आरोपित गिरफ्तार नहीं

बुधवार को कंकरखेड़ा के खिर्वा रोड स्थित एनके फार्म हाउस में मुरादनगर के हरी उर्फ मुकरी के बेटे की बारात आई थी। रात 12 बजे चढ़त में योगेश वर्मा और शहनवाज निवासीगण मुरादनगर ने फायरिंग शुरू कर दी। गोली चलने के बाद फार्म हाउस के संचालक अक्षय चौधरी ने पुलिस को जानकारी दी। पुलिस ने मौके से योगेश वर्मा को पकड़कर जेल भेज दिया। शहनवाज मौके से पिस्टल लेकर भाग गया था। फार्म हाउस संचालक की तरफ से मुकदमा दर्ज हुआ। दूल्हे और दुल्हन के पिता को नामजद नहीं किया। इंस्पेक्टर बिजेंद्र राणा ने बताया कि दूसरे आरोपित की गिरफ्तारी को दबिश डाली जा रही है।

केस. 4 : लाइसेंस निरस्तीकरण कार्रवाई नहीं

शुक्रवार को दौराला के खेड़ी गांव में बारात में चढ़त के दौरान लाइसेंसी बंदूक से यशपाल और नरेश ने फायरिंग कर दी। र्छे दूल्हे समेत दस लोगों को लग गई। पुलिस की तरफ से मुकदमा दर्ज कर किया। यशपाल और नरेश को अभी तक पुलिस नहीं पकड़ पाई। इतना ही नहीं दूल्हे और दुल्हन के पिता को नामजद तक नहीं किया गया। ना ही फार्म स्वामी पर कार्रवाई की गई है। साथ ही लाइसेंस निरस्तीकरण की कार्रवाई तक नहीं हुई। थाना प्रभारी जनक सिंह पुंडीर का कहना है कि फायरिंग करने वाले नामजद हुए है, जिन्हें पकड़कर जेल भेज दिया जाएगा।

हर्ष फायरिंग से नहीं ले रहे सीख

शादी, जन्मदिन और अन्य समारोह में आए दिन हर्ष फायरिंग हो रही है, मगर कोई भी इस तरह की घटनाओं से सीख नहीं ले रहा हैं। साथ ही हर्ष फायरिंग रोकने में पुलिस भी कोई ठोस कदम नहीं उठा पा रही है, जिसके कारण हर्ष फायरिंग की घटनाओं में इजाफा हो रहा है।

छह माह के दौरान हुई हर्ष फायरिंग की घटनाएं

एक दिसंबर को मवाना में शादी के रिसेप्शन में हर्ष फायरिंग की गई। अभी तक तीन आरोपित फरार चल रहे हैं।

28 सितंबर को लिसाड़ी गेट में चढ़त के दौरान फायरिंग में एक महिला समेत दो को गोली लगी। फायरिंग करने वाले जेल जा चुके है।

14 नवंबर को ब्रह्रमपुरी के तारापुरी में हर्ष फायरिंग के दौरान युवक को गोली लगी। हमलावरों को पुलिस जेल भेज चुकी है।

07 नवंबर को मवाना में शादी के दौरान हर्ष फायरिंग में दूल्हे के तहेरे भाई की मौत। दोनों पक्षों में समझौता हो गया। पुलिस ने कोई मुकदमा दर्ज नहीं किया।

01 नवंबर को सरधना के पोहल्ली गांव में गोवर्धन पूजा में हर्ष फायरिंग में सेना के सूबेदार की मौत। परिवार ने कोई तहरीर नहीं दी, पुलिस ने मुकदमा दर्ज नहीं किया।

आइजी ने खुद संभाली कमान

हर्ष फायरिंग की घटनाओं को रोकने के लिए आइजी ने कमान संभाली है। पिछले दो दिन में हर्ष फायरिंग की चार घटनाओं पर थाना प्रभारी आनंद मिश्र परतापुर, योगेंद्र पाल जानी, बिजेंद्र राणा कंकरखेड़ा आनंद मिश्र, जानी योगेंद्र पाल और दौराला जनक सिंह पुंडीर की प्रारंभिक जांच के आदेश दिए हैं। साथ ही कप्तान से पिछले दो साल में हुई फायरिंग की घटनाओं में कार्रवाई का ब्योरा मांगा है। पुलिस महानिरीक्षक प्रवीण कुमार ने बताया कि हर्ष फायरिंग पर दूल्हा, दुल्हन और मंडप स्वामी पर मुकदमा होगा। यदि लाइसेंसी हथियार से फायरिंग की गई तो उसके निरस्तीकरण की कार्रवाई होगी।

थाना प्रभारी और चौकी इंचार्ज जिम्‍मेदार

अवैध हथियार से फायर हुआ तो पुलिस के लिए शर्मनाक स्थिति है। ऐसे में थाना प्रभारी और चौकी इंचार्ज की भी जिम्मेदारी तय की गई है। जिस थाना क्षेत्र में हर्ष फायरिंग की जाएगी, उसके थाना प्रभारी की प्रारंभिक जांच बैठा दी जाएगी। दोषी पाने पर बेड एंट्री की कार्रवाई भी होगी। आइजी ने बताया कि पिछले दो वर्षो में हुई हर्ष फायरिंग की घटनाओं में कार्रवाई का ब्योरा मांगा गया है, जिनमें कार्रवाई नहीं हुई है। उन सभी मुकदमों की दोबारा से जांच कराई जाएगी। साथ ही सभी थाना प्रभारियों को आदेश दिया है कि मंडप स्वामियों से मीटिंग करें। सभी मंडपों में सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएं, ताकि फायरिंग करने वाले कैद हो जाएं।

लाइसेंस निरस्तीकरण की कार्रवाई होगी 

लाइसेंसी असलाह से हर्ष फायरिंग हुई तो पुलिस निरस्तीकरण की कार्रवाई करेगी। साथ ही लाइसेंसधारी से कारतूस का हिसाब भी मांगा जाएगा। यानि हर्ष फायरिंग किसी भी स्तर पर बर्दाश्त नहीं होगी। पुलिस हर्ष फायरिंग रोकने के लिए सभी मंडप स्वामियों को नोटिस भेजेगी। मुकदमा दर्ज ही नहीं, तत्काल आरोपित की गिरफ्तारी भी की जाएगी। चार थाना क्षेत्रों में दर्ज हुए मुकदमों में बनाए गए आरोपितों की गिरफ्तारी को थाना स्तर पर टीम बनाकर दबिश डाली जाएगी।

यह था हाईकोर्ट का आदेश

2014 में हाइकोर्ट के आदेश पर प्रमुख सचिव गृह ने हर्ष फायरिंग पर प्रतिबंध लगाने के निर्देश दिए थे। बावजूद इसके लगातार फायरिंग की घटनाएं हो रही है। पुलिस की कड़ी कार्रवाई करने के बाद हर्ष फायरिंग को रोक नहीं पा रही है। तत्कालीन डीजीपी जाविद अहमद ने तो संबंधित थाना प्रभारी को निलंबन के आदेश भी दिए थे।

हर्ष फायरिंग में लगे धारा 302

वरिष्ठ अधिवक्ता अनिल बख्शी ने बताया कि हर्ष फायरिंग में मौत हो जाए तो 304 के बजाए 302 का अपराध बनता है, जब लाइसेंसधारी को पता है कि हवाई फायरिंग करने से गोली किसी को लग सकती है। उसकी नीयत और मकसद सही नहीं है। यदि हर्ष फायरिंग से कोई घायल होता है, तो 307 का अपराध बनता है। सुप्रीम कोर्ट का आदेश तो यहां तक है कि शादी एवं पार्टी में हथियार लेकर चलने पर भी लाइसेंस निरस्त किया जाए। 


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