मेरठ में रैपिड रेल का पहला गर्डर लांच
मेरठ में रैपिड रेल के पहले गर्डर की लांचिंग हो गई।
मेरठ, जेएनएन। मेरठ में रैपिड रेल के पहले गर्डर की लांचिंग हो गई। अब रैपिड रेल कारीडोर के निर्माण में और तेजी आएगी। मोहिउद्दीनपुर से शुरू होकर मोदीनगर तहसील तक गर्डर रखे जाएंगे।
एनसीआरटीसी के अधिकारियों ने बुधवार देर रात मोहिद्दीनपुर के पास रैपिड रेल कारीडोर के पिलर पर गर्डर (तारिणी 3 ़2 ़1) की लांचिंग की। इसका वजन 110 टन है। लंबाई करीब 70 मीटर है। अधिकारियों ने बताया कि इसे उठाने के लिए दो क्रेन लगीं। मेरठ में पहली गर्डर लांचिंग है। अब मोहिउद्दीनपुर से मोदीनगर तहसील तक इसी तरह गर्डर रखे जाएंगे। मोदीनगर तहसील के आगे गर्डर रखे जा चुके हैं। एनसीआरटीसी के अधिकारियों ने कहा कि एक सप्ताह के भीतर इसे असेबंल कर दिया जाएगा। इसमें अभी कई और पार्ट्स जोड़े जाएंगे। इसके बाद इसका वजन जांचा जाएगा। लांचिंग गर्डर तैयार होने के बाद इन पार्ट्स को बड़े ट्रकों से साइट पर लाया जाएगा। इनका इस्तेमाल वायडक्ट बनाने के लिए किया जाएगा। इसकी डिजाइन स्पीड 180 किमी. प्रति घटे की होगी। एनसीआरटीसी के अधिकारियों का कहना है कि रैपिड रेल कारीडोर को निर्माण तेज गति से हो रहा है। कुछ दिन पूर्व ही भूड़बराल में मेरठ साउथ स्टेशन के लिए पिलर निर्माण भी शुरू हो चुका है।
नाले में घटिया सामग्री लगाने की शिकायत: पल्लवपुरम फेज-वन में सी, आइ, एच और जी पाकेट में हो रहे नाला निर्माण में घटिया सामग्री लगाने का क्षेत्रवासियों ने विरोध किया। इसकी शिकायत डीएम और नगरायुक्त से की है।
पल्लवपुरम फेज-वन निवासी सुदेश अहलावत, कौशल, कुशलवीर, राजेश कांत जैन, सागर पाठक, अरुणा, संदोष आदि का कहना है कि क्षेत्र के चार पाकेट में नगर निगम नाला निर्माण करा रहा है। आरोप है कि नाला आरसीसी का तैयार होना था, मगर ठेकेदार ने निगम अधिकारियों संग मिलकर पुरानी ईटों का तैयार कर दिया। सीमेंट में अधिक रेत मिलाकर चिनाई की जा रही है, जिस वजह से नाले की ईटें और प्लास्टर छूटने लगा है। प्रथम दृष्टया नाला निर्माण में सरकारी धन का दुरुपयोग किया गया है।