मेरठ के इन आठ कालोनियों में जगी विकास की उम्मीद, डेढ साल से हो रही थी सुविधाओं की मांग
नगर निगम को इन कालोनियों में अवशेष व क्षतिग्रस्त कार्य कराने के लिए एमडीए से 79.32 करोड़ रुपये प्राप्त होने हैं। जिसके सापेक्ष एमडीए ने अभी तक 15 करोड़ रुपये ही दिए हैं। इस धनराशि से आठ कालोनियों में विकास कार्य किए जाएंगे।
जागरण संवाददाता, मेरठ। नगर निगम कार्यकारिणी में प्रस्ताव पास होने के बाद एमडीए से नगर निगम को हस्तांतरित आठ कालोनियों में विकास की उम्मीद जगी है। फरवरी 2020 से इन कालोनियों में विकास कार्य ठप हैं। लगभग डेढ़ साल से लोग मूलभूत सुविधाओं की मांग कर रहे हैं। हालांकि विकास कार्य शासन से स्वीकृति मिलने पर ही शुरू होंगे। लेकिन विकास का रास्ता खुल जरूर गया है। नगर निगम को इन कालोनियों में अवशेष व क्षतिग्रस्त कार्य कराने के लिए एमडीए से 79.32 करोड़ रुपये प्राप्त होने हैं। जिसके सापेक्ष एमडीए ने अभी तक 15 करोड़ रुपये ही दिए हैं। इस धनराशि से आठ कालोनियों में विकास कार्य किए जाएंगे। चूंकि 30 लाख से अधिक के विकास कार्य होने हैं। इसलिए कार्यकारिणी में प्रस्ताव रखा गया। जिसे पास कर दिया गया। विकास कार्य नगर निगम निधि से नहीं होना है। जिसे देखते हुए अब नगर निगम प्रशासन विकास कार्य कराने के लिए एक प्रस्ताव शासन को स्वीकृति के लिए जल्द भेजेगा।उम्मीद जताई जा रही है कि सितंबर तक शासन से स्वीकृति मिल जाएगी। इसके बाद काम शुरू होंगे।
इन बिंदुओं पर भी एक नजर
15 करोड़ रुपये हैं नगर निगम के पास
64 करोड़ रुपये एमडीए से नगर निगम को मिलने शेष
2020 में नगर निगम को हैंडओवर हुई थी कालोनियां
1.5 साल से मूलभूत सुविधाओं की मांग कर रहे हैं लोग
हालांकि एमडीए से नगर निगम को अभी 64.32 करोड़ रुपये मिलने बाकी हैं। दरअसल, एमडीए व नगर निगम के बीच हस्तांतरण शर्त के अनुसार एमडीए को हर तीसरे महीने निगम को पांच करोड़ रुपये देने हैं। लेकिन एमडीए ने पिछली कई किश्तें नहीं दी हैं। इसे लेकर नगर आयुक्त मनीष बंसल एमडीए उपाध्यक्ष को पत्र भी लिख चुके हैं।
सभी आठ कालोनियों में सड़क निर्माण, पार्क, नाली निर्माण, पेयजल कनेक्शन व नलकूपों का मेंटीनेंस होना है। नगर निगम के निर्माण अनुभाग लगभग 13.50 करोड़ के एस्टीमेट तैयार कर लिए हैं। शासन से स्वीकृति मिलने पर टेंडर होंगे।
ये हैं आठ कालोनियां
एमडीए द्वारा विकसित आठ कालोनियों गंगानगर, रक्षापुरम, वेदव्यासपुरी, मेजर ध्यानचंद नगर, श्रद्धापुरी, सैनिक विहार, पांडव नगर और डिफेंस एंक्लेव का नगर निगम में हस्तांतरण 29 जनवरी 2020 को हुआ था।