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अयोध्या फैसले के मद्देनजर सोशल साइट्स पर अभद्र टिप्पणी के सभी केस फिर खुले Meerut News

एसएसपी ने सोशल साइट्स पर अभद्र टिप्पणी से संबंधित सभी केसों की दोबारा से विवेचना करने के निर्देश दिए हैं ताकि ऐसे लोग अयोध्या निर्णय आने पर कोई भी भद्दा कमेंट न कर सकें।

By Prem BhattEdited By: Published: Tue, 05 Nov 2019 02:08 PM (IST)Updated: Tue, 05 Nov 2019 02:08 PM (IST)
अयोध्या फैसले के मद्देनजर सोशल साइट्स पर अभद्र टिप्पणी के सभी केस फिर खुले Meerut News
अयोध्या फैसले के मद्देनजर सोशल साइट्स पर अभद्र टिप्पणी के सभी केस फिर खुले Meerut News

मेरठ, जेएनएन। Ayodhya dispute अयोध्या विवाद पर निर्णय के बाद सांप्रदायिक सौहार्द न बिगड़े, इसके लिए पुलिस कड़ी कार्रवाई करने जा रही है। गत एक साल में सोशल साइट्स पर अभद्र टिप्पणी के सभी मुकदमों को रि-ओपन कर दिया गया है। कप्तान ने सभी की दोबारा से विवेचना करने के निर्देश दिए हैं, ताकि ऐसे लोग अयोध्या निर्णय आने पर सोशल साइट्स पर कोई भी भद्दा कमेंट न कर सकें।

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163 मोहल्‍ले किए गए चिन्हित

कप्तान अजय साहनी ने बताया कि 163 मोहल्ले (शहर में) और गांव (देहात में) चिन्हित किए गए हैं, जहां पर सांप्रदायिक सौहार्द बिगड़ सकता है। उक्त क्षेत्रों को अतिसंवेदनशील श्रेणी में रखा गया है। वहां पर दोनों समुदाय के लोगों की संयुक्त बैठक कराई जा रही है। साथ ही वहां पर अतिरिक्त फोर्स भी लगाया जाएगा। अभी तक पुलिस ने 183 असामाजिक तत्वों को चिन्हित किया है, जो माहौल बिगाडऩे में भूमिका निभा सकते हैं। ऐसे लोगों पर 151 सीआरपीसी में कार्रवाई कर गिरफ्तारी की जाएगी। अयोध्या विवाद पर निर्णय आने के बाद प्रदेश में शांति व्यवस्था को देखने के बाद ही उन्हें जेल से रिहा कर दिया जाएगा। कुछ मस्जिद और मंदिरों को भी अतिसंवेदनशील की श्रेणी में रखा गया। उनपर पहले से ही अतिरिक्त पुलिस बल लगाया गया है।

घर की छत पर ईट-पत्थर मिलने पर होगा मुकदमा

अयोध्या विवाद पर निर्णय को लेकर पुलिस बवालियों को कोई भी मौका देना नहीं चाह रही है। शहर के सभी मोहल्लों में ड्रोन उठाकर मकानों की छतों को देखा जा रहा है। जिस मकान की छत पर पत्थर या ईट भारी संख्या में मिलेगी, उसके स्वामी के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया जाएगा। एसपी सिटी को शहरभर में ड्रोन उड़ाकर मकानों की छतों की तलाशी लेने के आदेश दिए हैं। मंगलवार से प्रत्येक मोहल्ले में ड्रोन उड़ाकर जांच कराई जाएगी।

आरआरएफ ने किया शहर में फ्लैग मार्च

सोमवार को कोतवाली सर्किल में आरआरएफ ने फ्लैग मार्च किया। घंटाघर से शुरू हुआ फ्लैग मार्च, खैरनगर से होते हुए जली कोठी पहुंचा। फ्लैग मार्च वहां से दिल्ली रोड पर मछेरान, रेलवे रोड होते हुए वापस घंटाघर पर पहुंचा। बाद में नौचंदी एरिया में भी फ्लैग मार्च किया गया। एसपी सिटी अखिलेश नारायण सिंह ने बताया कि आरआरएफ के साथ हर रोज प्रत्येक सीओ सर्किल में फ्लैग मार्च किया जाएगा।

शहरी मोहल्ले और गांवों में 280 बैठक

सांप्रदायिक सौहार्द कायम रखने के लिए शहर के मोहल्ले और गांवों में 280 बैठक कराई जा चुकी हैं। अभी भी काफी गांव और मोहल्ले ऐसे है, जहां पर बैठक कराई जानी है। चिन्हित सभी स्थानों पर बैठक कराने के निर्देश जारी किए गए हैं।

20 तक निगरानी करेंगे मजिस्ट्रेट और पुलिस अफसर

अयोध्या के विवादित ढांचे वाले स्थान के मालिकाना हक को लेकर सुप्रीम कोर्ट में विचाराधीन मामले में जल्द ही फैसला आने वाला है। इसे लेकर प्रदेशभर में शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए पुलिस प्रशासन और सरकार विभिन्न प्रयास कर रहे हैं। मेरठ में शांति समिति और विभिन्न धर्म, समुदाय और वर्गों के लोगों के साथ जिला प्रशासन लगातार बैठकें कर रहा है। पूरे जिले में फ्लैग मार्च निकाले जा रहे हैं। जनपद को 15 जोन में विभाजित करके जोनल मजिस्ट्रेट और पुलिस अधिकारी, सेक्टर मजिस्ट्रेट और पुलिस अधिकारियों की ड्यूटी लगाई गई है। शुरू में यह ड्यूटी एक से 8 नवंबर तक लगाई गई थी, लेकिन अब इसे 9 से 20 नवंबर तक बढ़ा दिया गया है। 15 जोन में रात-दिन की डबल ड्यूटी के लिए 30 सेक्टर मजिस्ट्रेट और पुलिस अधिकारियों को तैनात किया गया है। जिलाधिकारी अनिल ढींगरा ने बताया कि अयोध्या विवाद मामले में फैसले की तिथि अभी नियत नहीं है, लेकिन यह जल्द आने वाला है। इसके चलते शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए जरूरी व्यवस्थाएं की जा रही हैं।

कमिश्नर और आइजी भी फील्ड में

कानून-व्यवस्था और अपराध नियंत्रण के लिए कमिश्नर अनीता सी मेश्राम और आइजी आलोक कुमार भी फील्ड में उतर गए हैं। मंगलवार शाम चार बजे दोनों अधिकारी मेरठ में समीक्षा करेंगे। बुधवार 6 नवंबर को बुलंदशहर और हापुड़ में तथा 7 नवंबर को गाजियाबाद और गौतमबुद्धनगर में समीक्षा करेंगे। बागपत में दोनों अधिकारी 2 नवंबर को ही समीक्षा कर चुके हैं।  


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