Move to Jagran APP

परिसंपत्तियों का संरक्षण ग्राम पंचायतों का होगा मुख्य उद्देश्य

त्रि-स्तरीय पंचायत चुनाव की आहट के पूर्व प्रदेश सरकार ने ग्राम पंचायतों की नकेल कस दी है। पहले जहां नाली खडंजा पेयजल के नाम पर प्रतिवर्ष केंद्र सरकार के 14वें वित्त व प्रदेश सरकार के राज्यवित्त के करोड़ों रुपये डकार लिए जाते थे। इसका संज्ञान लेते हुए प्रदेश सरकार ने इन निधियों से सरकारी संपत्तियों के संरक्षण कराने का निर्देश लागू किया है।

By JagranEdited By: Published: Sat, 28 Dec 2019 07:34 PM (IST)Updated: Sun, 29 Dec 2019 06:08 AM (IST)
परिसंपत्तियों का संरक्षण ग्राम पंचायतों का होगा मुख्य उद्देश्य
परिसंपत्तियों का संरक्षण ग्राम पंचायतों का होगा मुख्य उद्देश्य

जागरण संवाददाता, मऊ : त्रि-स्तरीय पंचायत चुनाव की आहट के पूर्व प्रदेश सरकार ने ग्राम पंचायतों की नकेल कस दी है। पहले जहां नाली, खड़ंजा, पेयजल के नाम पर प्रतिवर्ष केंद्र सरकार के 14वें वित्त व प्रदेश सरकार के राज्यवित्त के करोड़ों रुपये डकार लिए जाते थे। इसका संज्ञान लेते हुए प्रदेश सरकार ने इन निधियों से सरकारी संपत्तियों के संरक्षण कराने का निर्देश लागू किया है। अब सबसे पहले प्राथमिक व उच्च प्राथमिक स्कूलों, आंगनबाड़ी, पंचायत भवन व एएनएम सेंटर के भवन का संरक्षण, शौचालय निर्माण व रख-रखाव, पीने के पानी की व्यवस्था, चहारदीवारी निर्माण, इंटरलाकिग आदि के कार्य कराए जाएंगे। इसको लेकर शनिवार को नगरपालिका कम्युनिटी हाल में दो शिफ्टों में ग्राम प्रधानों व सचिवों की कार्यशाला आयोजित हुई। इसमें उन्हें प्रशिक्षित किया गया।

loksabha election banner

जिलाधिकारी ज्ञानप्रकाश त्रिपाठी ने कहा कि 14वें वित्त व राज्यवित्त की धनराशि सबसे पहले विद्यालयों के कायाकल्प पर खर्च होगी। इसमें सभी मूलभुत सुविधाएं मुहैया कराई जाएंगी। मुख्य विकास अधिकारी आलोक कुमार ने कहा कि सरकारी विद्यालयों में सभी सुविधाएं मुहैया कराना कायाकल्प का लक्ष्य है। सभी ग्राम पंचायतें यह ख्याल रखें कि पेयजल के उचित इंतजाम विद्यालय में हों। शौचालयों का रखरखाव भी ठीक ढंग से रहे। दोनों वित्त निधियों की धनराशि पहले इन्हीं पर खर्च होगी। इसके बाद ही कोई कार्य कराया जा सकेगा। अगर ग्राम पंचायतें कंवर्जेंस के तहत मनरेगा योजना से मजदूरी का भुगतान करना चाहें तो कर सकती हैं। जिला पंचायत राज अधिकारी ने बताया कि मिशन कायाकल्प प्रदेश सरकार की प्राथमिकता में है। ऐसे में कोई भी ग्राम पंचायत इसे हल्के में लेने की कोशिश नहीं करे। निर्देश दिया कि ग्राम पंचायत विकास योजना के तहत वित्तीय वर्ष 2020-21 की फीडिग पोर्टल कर होनी है, यथाशीघ्र भरकर उपलब्ध कराएं। इस अवसर पर ग्राम प्रधान व ग्राम सचिव आदि बेसिक शिक्षा विभाग व बाल विकास पुष्टाहार के अधिकारी उपस्थित थे।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.