अब मुकदमेबाजी से मुक्त होगा बाड़ा गांव
अब मुकदमेबाजी से मुक्त होगा बाड़ा गांव
अब मुकदमेबाजी से मुक्त होगा बाड़ा गांव
जागरण संवाददाता, अदरी (मऊ) : जिला न्यायाधीश रामेश्वर व राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण के निर्देशन में सदर तहसील के बाड़ा गांव को मुकदमों से मुक्त करने के लिए जिला विधिक सेवा प्राधिकरण की ओर से बुधवार को गोद ले लिया गया। श्रीजगरूप यादव स्मारक विधि महाविद्यालय में स्थापित लीडल एड क्लीनिक के माध्यम से गांव को गोद लेते हुए प्राधिकरण के सचिव कुंवर मित्रेश सिंह कुशवाहा ने कहा कि आपसी सुलह समझौते के आधार पर गांव के सभी पुराने मुकदमों को धीरे-धीरे निबटा कर पूरे गांव को मुकदमा मुक्त किया जाएगा। न्यायाधीश एवं सचिव कुंवर मित्रेश ने कहा कि न्याय प्राप्त करने के दो तरीके हैं। एक न्यायालय में आवेदन करके और वकीलों के माध्यम से पैरवी करके मिलता है तो दूसरा मध्यस्थता व आपसी सुलह-समझौते के आधार पर प्राप्त किया जाता है। दूसरा माध्यम एडीआर या वैकल्पिक अनुतोष कहलाता है। चूंकि न्यायालयों में मुकदमों का काफी दबाव है, ऐसे में छोटे-छोटे समनीय अपराध व सिविल वाद का निपटारा आपसी सुलह समझौते से किया जा सकता है। इससे न्यायालय पर दबाव कम होगा। गांव के पुराने लंबित वादों को लीगल एड क्लीनिक के विधि छात्रों, पैनल लायर, प्रधान व पीएलवी के माध्यम से हल किया जाएगा। इससे लोगों को शीघ्र न्याय भी मिल जाएगा और समय व पैसे दोनों की बचत होगी। वाद मुक्त गांव कार्यक्रम का शुभारंभ करते हुए एसडीएम सदर हेमंत चौधरी ने कहा कि अब छोटे-छोटे वादों के लिए बाड़ा के लोगों को न्यायालयों का चक्कर नहीं काटना पड़ेगा। सचिव ने बीडीओ कोपागंज हरिमोहन सिंह को कल्याणकारी योजनाओं से पात्रों को लाभान्वित किए जाने का निर्देश दिया। कोपागंज थानाध्यक्ष अमित मिश्रा ने समाधान दिवस में हल किए जाने वाले मामलों की विस्तृत जानकारी दी। इस दौरान आयोजित मूट कोर्ट प्रतियोगिता में शामिल अब्दुल रहमान, आफताब आलम व प्रभात कुमार को सम्मानित किया गया।