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यही लोग हैं मेरे भाई के हत्यारे

जागरण संवाददाता, मथुरा: शहर के चर्चित सराफा कारोबारी विकास हत्याकांड के आरोपितों

By JagranEdited By: Published: Wed, 25 Apr 2018 11:55 PM (IST)Updated: Wed, 25 Apr 2018 11:55 PM (IST)
यही लोग हैं मेरे भाई के हत्यारे
यही लोग हैं मेरे भाई के हत्यारे

जागरण संवाददाता, मथुरा: शहर के चर्चित सराफा कारोबारी विकास हत्याकांड के आरोपितों को चश्मदीद ने भरी अदालत में पहचान लिया। स्पेशल जज के यहां चल रही सुनवाई में बुधवार को विकास के भाई मयंक ने गवाही दी। उसने कहा कि लूट में दस लोग शामिल थे। पांच दुकान में घुसे और पांच बाहर खड़े थे। इस मामले में अगली सुनवाई तीन मई को होगी।

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होलीगेट के अंदर कोयला गली में 15 मई 2017 को हुए सराफा कारोबारी हत्याकांड की गूंज पूरे प्रदेश ने सुनी थी। मयंक चैन्स की दुकान में घुस कर लुटेरों ने चार को गोली मार दी थी। इसमें मेघश्याम और विकास की मौत हो गई, जबकि विकास का भाई मयंक और मेरठ का एक कारोबारी मोहम्मद अली घायल हो गए थे। इस वारदात के एक सप्ताह के अंदर ही पुलिस ने मुठभेड़ में पांच लोगों को गिरफ्तार कर लिया। पुलिस ने इस घटना में शामिल और साजिशकर्ता छह लोगों को बाद में अलग-अलग स्थानों से गिरफ्तार किया। घटना में राकेश उर्फ रंगा, नीरज, कामेश उर्फ चीनी, विष्णु, महेश, सौरभ, हर्षवर्धन, लखन, आयुष, आदित्य और रूपेश को आरोपित किया गया। इसमें रूपेश ने गिरफ्तारी से पहले ही खुदकुशी कर ली। बुधवार को स्पेशल जज रामइच्छुक यादव की अदालत में सभी दस आरोपितों की पेशी हुई। इस दौरान दुकान मालिक विकास के भाई मयंक को गवाही के लिए बुलाया गया। एडीजीसी अबू अहमद रिजवी ने बताया कि गवाह राकेश, कामेश, नीरज को पहले ही पहचानता था। बुधवार को न्यायालय में उसने सभी आरोपितों को पहचाना। गवाह ने कहा कि पांच लोग दुकान में अंदर आए थे और पांच लोग बाहर खड़े थे। उन्होंने तमंचों से गोली चलाईं। दुकान में बैठे विकास और अन्य लोगों के साथ उसने लुटेरों को रोकने की कोशिश की। इस पर उन्होंने जान से मारने की नीयत से फायर किए। विकास और मेघ की गोली लगने से मौत हो गई। एडीजीसी ने बताया कि इस प्रकरण में अगली तारीख तीन मई लगी है। -इंसेट

तोले बाबा हत्याकांड में एक की गवाही-

सराफा कारोबारी हत्याकांड के अलावा तुलसीदास चतुर्वेदी उर्फ तोले बाबा हत्याकांड में भी बुधवार को गवाही हुई। अपर जिला जज एवं सत्र न्यायाधीश की अदालत में इस मामले में एक गवाही कराई गई। 28 फरवरी 2015 को हुए इस हत्याकांड में राकेश उर्फ रंगा, मुकेश उर्फ बिल्ला, नीरज, कामेश उर्फ चीनी, प्रदीप आरोपित हैं। बुधवार को अपर जिला जज एवं सत्र न्यायाधीश तीन अमरपाल ¨सह की अदालत में पेशी हुई और दिनेश चतुर्वेदी की गवाही हुई। एडीजीसी नंदकुमार तिवारी ने बताया कि गवाह दिनेश चतुर्वेदी ने अदालत को घटना होने की बात बताई है। इस प्रकरण में बहस भी हुई। अब अगली तारीख दो मई लगी है। इन प्रकरण में आरोपित रंगा, बिल्ला, नीरज को भोलेश्वर हत्याकांड में आजीवन कारावास की सजा सुनाई जा चुकी है।


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