आवास योजना की राशि के बंदरबांट में वीडीओ निलंबित
किशनी ब्लॉक के गांव समान में चयन सूची को दरकिनार कर बनवाए आवास दस लाभार्थियों को किया उपकृत शिकायत पर जांच के बाद हुई कार्रवाई।
मैनपुरी, जागरण संवाददाता। किशनी ब्लॉक की ग्राम पंचायत समान में प्रधानमंत्री आवास योजना की धनराशि गलत लाभार्थियों के खाते में भेजने के मामले में ग्राम विकास अधिकारी जितेंद्र सिंह को निलंबित कर दिया गया। कारण बताओ नोटिस के जवाब में भी गलती स्वीकारने वाले वीडीओ पर दस अपात्र लाभार्थियों के खाते में राशि डालने का आरोप है। जांच कुरावली बीडीओ को सौंपी गई है।
किशनी ब्लॉक की ग्राम पंचायत समान में पीएम आवास ग्रामीण योजना में धनराशि का जमकर बंदरबांट हुआ था। विधायक बृजेश कठेरिया की शिकायत पर डीएम ने सीडीओ से जांच कराई तो बीडीओ गणेश प्रसाद के अलावा तत्कालीन बीडीओ, ग्राम विकास अधिकारी और रोजगार सेवक आरोपित साबित हुए। रोजगार सेवक दीपक कुमार की तो पीडी एससी मिश्र ने 28 अगस्त को सेवा समाप्त कर दी। वहीं, बीडीओ पर कार्रवाई के लिए शासन को लिखा है, जबकि मंगलवार को ग्राम विकास अधिकारी जितेंद्र सिंह को जिला विकास अधिकारी प्रवीण कुमार राय ने निलंबित कर दिया। यह हैं आरोप: निलंबित वीडीओ जितेंद्र सिंह पर पीएम आवास ग्रामीण योजना में चयन सूची के लाभार्थियों के दस आवासों की धनराशि परिचितों व अपात्रों के जरिए हजम करने का आरोप है।
एक परिवार के चार सदस्यों को मिले आवास: जासं, मैनपुरी: गांव समान में गरीबों के लिए आए आवासों को ब्लॉकर्मियों ने अपनी जेब भरकर अपात्रों में ही बांट दिए। एक घर में पिता-पुत्री और मां- बेटे को आवास सुविधा के लिए 4.80 लाख की धनराशि दी गई। यहां एक करोड़ से ज्यादा राशि को अपात्र और परिचितों के खाते में भेजकर अधिकारियों और कर्मियों ने अपनी जेबें भरीं।
केंद्र सरकार का सपना 2022 तक हर बेघर को घर देने का है। इसी उद्देश्य की पूर्ति के लिए पीएम आवास योजना ग्रामीण संचालित हो रही है। किशनी ब्लॉक के गांव समान में बेघर 118 परिवारों को आवास की धनराशि देने का चयन हुआ। इस दौरान गांव के एक जनप्रतिनिधि की शह पर ब्लॉककर्मियों ने पूरे घर-खानदान को ही उपकृत करने में खास भूमिका निभाई। गांव में सगे पिता-पुत्र के साथ मां और बेटी को आवास सुविधा दी गई। इन चारों के बैंक ऑफ इंडिया के खाते में 4.80 हजार रुपये डाले गए।
समान गांव के पीएम आवासों से उपकृत ऐसे ग्रामीणों में रघुवीर पुत्र राजाराम के अलावा उसका बेटा कौशलेंद्र और मां पुष्पादेवी के अलावा बेटी राजकुमारी भी शामिल हैं। जबकि जिले के करीब 29 हजार परिवार एक अदद आवास को भटक रहे हैं।