अपात्रों को मिले शौचालय, ग्रामीणों ने दिया धरना
शौचालय और आवासों की सूची में नाम शामिल होने के बावजूद लाभ से वंचित कर दिए जाने से नाराज ग्रामीणों ने प्रधान और सचिव के खिलाफ मोर्चा खोल दिया। सुविधा शुल्क लेकर फर्जी तरीके से धन निकालने का आरोप लगा रहे ग्रामीणों ने जिलाधिकारी से जांच की गुहार लगाई है।
जासं, मैनपुरी : शौचालय और आवासों की सूची में नाम शामिल होने के बावजूद लाभ से वंचित ग्रामीणों में आक्रोश पनप रहा है। शुक्रवार को नाराज ग्रामीणों ने प्रधान और सचिव के खिलाफ मोर्चा खोल दिया। सुविधा शुल्क लेने का आरोप लगाते हुए जिलाधिकारी से मामले की जांच कराए जाने की गुहार लगाई है।
विकास खंड किशनी के गांव शमशेरगंज के आधा सैकड़ा ग्रामीण शुक्रवार की दोपहर कलक्ट्रेट के तिकोनिया पार्क पहुंचे। ग्रामीणों का आरोप है कि ग्राम प्रधान सुशील शाक्य और सचिव स्वतंत्र कुमार द्वारा शौचालय का लाभ दिलाने के नाम पर सुविधा शुल्क लिया जा रहा है। इसके लिए दोनों ने पंचायत मित्र प्रदीप सैनी का सहारा लिया है। राजेश वाल्मीकि का आरोप है कि पंचायत मित्र ने शौचालय का लाभ दिलाने की बात कहकर अपने घर पर बुलाया। घर के बाहर बने अपने शौचालय का फोटो खींचकर अपलोड कर दी। आधार कार्ड लेकर 100 रुपये दिए और वापस भेज दिया। ग्रामीणों ने आरोप लगाया है कि प्रदीप सैनी ने फर्जी तरीके से अपने भाई दिलीप सैनी को शौचालय और आवास योजना का लाभ दिलवाया है। गांव के दो लोगों के पास पहले से ही पक्के मकान हैं। इसके बावजूद, उनको गरीब दिखाकर आवास दिलवाए गए हैं। जबकि वृद्धा किशन देवी कई दिनों से शौचालय के लिए भटक रही है। मांग करने वालों में पंकज दुबे, मीरा देवी, शारदा देवी, रजनी, सर्वेश कुमार, प्रिया देवी, सरिता देवी, बिमला देवी, गीता, गुड्डी, मुन्नी आदि शामिल थे।