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सर्दी का सितम सह न सके दिल, थम गई धड़कन

सर्दी का सितम तेज होते ही मरीजों की मुश्किलें बढ़ने लगी हैं। दिल का दौरा पड़ने से जिले में तीन अलग-अलग बुजुर्गों ने दम तोड़ दिया जबकि दर्जन भर को भर्ती कराया गया है।

By JagranEdited By: Published: Thu, 02 Jan 2020 11:25 PM (IST)Updated: Fri, 03 Jan 2020 06:04 AM (IST)
सर्दी का सितम सह न सके दिल, थम गई धड़कन
सर्दी का सितम सह न सके दिल, थम गई धड़कन

जासं, मैनपुरी : सर्दी का सितम तेज होते ही मरीजों की मुश्किलें बढ़ने लगी हैं। दिल का दौरा पड़ने से जिले में तीन अलग-अलग बुजुर्गों ने दम तोड़ दिया, जबकि दर्जनभर को भर्ती कराया गया है।

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भले ही दो दिनों से सूर्य देव की मेहरबानी से शीतलहर का प्रकोप थोड़ा कम हुआ ह,ै लेकिन ठंड का असर बरकरार है। सेहत पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ रहा है। सबसे ज्यादा समस्या बुजुर्गों और बच्चों को हो रही है। गुरुवार को आधे दिन के लिए अस्पताल खुला तो मरीजों की भीड़ भी पहुंची। ज्यादातर बच्चे निमोनिया और बुखार से बीमार मिले। बुजुर्गों को भी सांस और सीने में दर्द की शिकायत होती रही।

बिछवां थाना क्षेत्र के गांव मरहरी निवासी हरिश्चंद्र (70) को मधुमेह की वजह से अक्सर सीने में दर्द रहता था। गुरुवार को अचानक तबियत बिगड़ी तो स्वजन इमरजेंसी लेकर पहुंचे। वहां डॉक्टरों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया। दिल का दौरा पड़ने से 60 वर्ष के एक अज्ञात ने भी दम तोड़ दिया। कोतवाली क्षेत्र के गांव परसादपुर निवासी रामलली (87) पत्नी दुर्गपाल सिंह की भी हाइपोटेंशन से गंभीर हालत में मौत हो गई।

वरिष्ठ फिजीशियन डॉ. जेजे राम का कहना है कि बुजुर्गों और बच्चों का खास ख्याल रखना चाहिए। सांस रोगी और ब्लड प्रेशर व मधुमेह रोगियों को सर्दी में अक्सर समस्या बढ़ जाती है। बेहतर है कि ऐसे मरीजों की समय-समय पर जांच कराएं।


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