UP DGP हितेश चंद्र अवस्थी की विदाई पर टूटेगी वर्षों पुरानी परंपरा, इस बार नहीं होगी रैतिक परेड
उत्तर प्रदेश में डीजीपी हितेश चंद्र अवस्थी की विदाई के अवसर पर रैतिक परेड के आयोजन की परंपरा रही है। कोविड संक्रमण काल के चलते इस बार 30 जून को डीजीपी हितेश चंद्र अवस्थी के सेवानिवृत्ति होने के अवसर पर ऐसा कोई परंपरागत आयोजन नहीं होगा।
लखनऊ, जेएनएन। उत्तर प्रदेश में पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) हितेश चंद्र अवस्थी की विदाई के अवसर पर रैतिक परेड के आयोजन की परंपरा रही है। कोविड संक्रमण काल के चलते इस बार 30 जून को डीजीपी हितेश चंद्र अवस्थी के सेवानिवृत्ति होने के अवसर पर ऐसा कोई परंपरागत आयोजन नहीं होगा। डीजीपी मुख्यालय में सादे समारोह में डीजीपी हितेश चंद्र अवस्थी को विदाई दी जाएगी।
इससे पहले 31 जनवरी, 2020 को पूर्व डीजीपी ओपी सिंह का सेवाकाल पूरा होने पर उन्हें लखनऊ पुलिस लाइन में आयोजित रैतिक परेड में भावपूर्ण विदाई दी गई थी, लेकिन अबकी रैतिक परेड को लेकर कोई तैयारी नहीं है। डीजीपी मुख्यालय पर भी कोई बड़ा आयोजन नहीं होगा।
बता दें कि उत्तर प्रदेश के नए पुलिस मुखिया का नाम तय किए जाने को लेकर 29 जून को संघ लोक सेवा आयोग की बैठक प्रस्तावित है। आयोग डीजी स्तर के तीन अधिकारियों का पैनल तय करेगा और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ नए पुलिस मुखिया के नाम पर अंतिम मुहर लगाएंगे।
इस बीच प्रदेश पुलिस के नए मुखिया के नाम को लेकर चर्चाएं तेज हो गई है। संघ लोक सेवा आयोग इसे लेकर अगले सप्ताह की शुरुआत में बैठक कर निर्णय ले सकता है। इसके साथ ही नए डीजीपी के नाम को लेकर अटकलें लगनी भी शुरू हो गई हैं। आगामी विधान सभा चुनाव के दृष्टिगत भी नए डीजीपी की तैनाती को बेहद अहम माना जा रहा है। हालांकि योगी सरकार ने डीजीपी की तैनाती में अब तक वरिष्ठता सूची को ही वरीयता दी है।
डीजीपी हितेश चंद्र अवस्थी 30 जून को अपना कार्यकाल पूरा कर रहे हैं और वह पहले ही अपने सेवाविस्तार की अटकलों को विराम दे चुके हैं। इस पद के नए दावेदारों की वरिष्ठता सूची पर नजर दौड़ाई जाए तो केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर तैनात 1986 बैच के आइपीएस अधिकारी नासिर कमाल सबसे आगे हैं। उनका कार्यकाल जुलाई 2022 तक है।
इसके अलावा जिन अधिकारियों के पास इस पद की दावेदारी के लिए पर्याप्त कार्यकाल है, उनमें केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर तैनात 1987 बैच के आइपीएस अधिकारी मुकुल गोयल व इसी बैच के आइपीएस तथा वर्तमान में डीजी ईओडब्ल्यू डॉ.आरपी सिंह के नाम आगे हैं। दोनों को ही मजबूत दावेदार के रूप में देखा जा रहा है। इनके बाद 1987 बैच के ही आइपीएस विश्वजीत महापात्रा व जीएल मीणा के नाम हैं।
1988 बैच के आइपीएस अधिकारी व डीजी पुलिस भर्ती व प्रोन्नति बोर्ड डॉ.आरके विश्वकर्मा, इसी बैच के आइपीएस डीएस चौहान व आनन्द कुमार भी डीजीपी की रेस में दावेदार के रूप में देखे जा रहे हैं। केंद्रीय प्रतिनियुक्ति में तैनात 1988 बैच आइपीएस अनिल कुमार अग्रवाल का नाम भी वरिष्ठता सूची में शामिल है। डीएस चौहान वर्तमान में डीजी इंटेलीजेंस व आनन्द कुमार डीजी जेल के पद पर तैनात हैं। वर्तमान सरकार के कार्यकाल में सुलखान सिंह व ओपी सिंह के बाद हितेश चंद्र अवस्थी तीसरे डीजीपी बने थे।
डीजीपी समेत नौ आइपीएस अफसर 30 जून को होंगे रिटायर : पुलिस महानिदेशक हितेश चंद्र अवस्थी समेत नौ आइपीएस अधिकारी 30 जून को सेवा से रिटायर हो जाएंगे। 1985 बैच के आइपीएस अधिकारी डीजीपी अवस्थी के अलावा केंद्रीय केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर रेलवे सुरक्षा बल के डीजी पद पर तैनात इसी बैच के अरुण कुमार भी इसी महीने के अंत में सेवानिवृत्त होंगे। इनके अलावा प्रांतीय पुलिस सेवा से प्रोन्नत हुए सात आइपीएस अधिकारी भी 30 जून को रिटायर होंगे। इनमें आइजी इंटेलीजेंस जेके शुक्ला, आइजी पुलिस मुख्यालय राजेश पांडेय, निलंबित चल रहे डीआइजी दिनेश चंद्र दुबे, डीआइजी पीटीसी सीतापुर दिलीप कुमार, डीआइजी यूपी पावर कार्पोरेशन साधना गोस्वामी, एसपी विजिलेंस वीरेंद्र कुमार मिश्र और एसपी यूपी-112 माधव प्रसाद वर्मा शामिल हैं। पीपीएस संवर्ग के 12 अफसर भी 30 जून को ही रिटायर हो रहे हैं।