लखनऊ में नौकरी लगवाने के नाम पर 12 बेरोजगारों से दो करोड़ से अधिक की ठगी, ऐसे खुला मामला
लखनऊ में जालसाजों ने सचिवालय में आपरेटर के पद पर नियुक्ति का दिया था झांसा। जालसाजों ने जारी किया फर्जी नियुक्तिपत्र ज्वानिंग करने पहुंचे तो युवकों को जालसाजी का चला पता। हजरतगंज कोतवाली में मुकदमा दर्ज किया गया है।
लखनऊ, जागरण संवाददाता। सचिवालय में आपरेटर के पद पर नियुक्ति का झांसा देकर जालसाजों ने 12 बेरोजगारों से दो करोड़ 70 हजार रुपये ठग लिए। कोर्ट के आदेश पर हजरतगंज कोतवाली में मुकदमा दर्ज किया गया है।
इंस्पेक्टर अखिलेश मिश्र ने बताया कि महाराजगंज के कोल्हुई में रहने वाले शंभू गुप्ता ने बताया कि अयोध्या के अब्दुल जलील उर्फ जामी जिम संचालक हैं। उनसे उनका परिचय है। उनके जिम में कमल पंडित से मुलाकात हुई थी। कमल से वर्ष 2019 में मुलाकात हुई थी। उन्होंने अपनी ऊंची पहुंच का हवाला दिया और कहा कि सचिवालय में कंप्यूटर आपरेटर की सीधी भर्ती निकली है। वह नौकरी लगवा सकता है। इस पर शंभू ने अपनी नौकरी के लिए बात की। शंभू और जमील को कमल पंडित ने मिलने के लिए दारुलशफा बुलाया।
वहां पर मुलाकात के दौरान शंभू और जमील ने अपनी नौकरी के लिए बात की। इसके अलावा परिचितों की भी नौकरी की बात हुई। शंभू ने बताया कि 16 लाख की मांग की। इसमें एक लाख नकद दिया 15 लाख रुपये बाद दिए गए। रिश्तेदारों और परिजितों समेत करीब 12 लोगों की नौकरी के लिए दो करोड़ 70 हजार रुपये दिए गए। कमल पंडित ने असगर खां, सुबेदार राव, अरविंद मिश्रा, विशाल समेत कुछ अन्य लोगों से भी मुलाकात कराई थी। रुपयों का भुगतान होने के बाद कमल पंडित व अन्य ने नियुक्तिपत्र भी जारी कर दिए।
नियुक्तिपत्र मिलते ही ज्वाइनिंग करने पहुंचे तो पता चला कि पत्र फर्जी है। कमल पंडित व अन्य को फोन किया तो उन्होंने फोन नहीं रिसीव किया। कुछ दिन बाद मुलाकात हुई तो रुपयों की मांग की। इस पर धमकी देने लगे। थाने में प्रार्थनापत्र दिया तो सुनवाई नहीं हुई। इसके बाद कोर्ट में अपील की। कोर्ट के आदेश पर कमल पंडित, असगर खां समेत अन्य के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया।