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रामलीला के लिए अभिनय को धार दे रहे बाल कलाकार

10 अक्टूबर से शुरू होगी रामलीला। परीक्षा के बावजूद सीख रहे अभिनय की बारीकियां।

By Anurag GuptaEdited By: Published: Tue, 25 Sep 2018 12:57 PM (IST)Updated: Tue, 25 Sep 2018 12:57 PM (IST)
रामलीला के लिए अभिनय को धार दे रहे बाल कलाकार
रामलीला के लिए अभिनय को धार दे रहे बाल कलाकार

लखनऊ[जितेंद्र उपाध्याय]। कहते हैं अभिनय मानव जीवन में समाहित रहता है। बचपन से ही उसकी शुरुआत होने लगती है। अभिनय को तराशने वाले सशक्त कलाकार की श्रेणी में आ जाते हैं और इसे जीवन में आत्मसात करके आगे बढ़ जाते हैं। कुछ ऐसे ही रामलीला के कलाकार मंच पर जीवंत प्रस्तुति के लिए पसीना बहा रहे हैं। मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम के चरित्र को जीवन में उतारने और आने वाली पीढ़ी को इसका तोहफा देने की सोच रामलीला को एक सशक्त मंच प्रदान करती है। राजधानी में 10 अक्टूबर से शुरू होने वाली रामलीला से पहले कमेटियों की ओर से रामलीला की रिहर्सल की जा रही है। 

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पढ़ाई के साथ रिहर्सल की बात

महानगर की गायकी प्रधान रामलीला का रिहर्सल चल रहा है। कई बाल कलाकारों की अर्द्धवार्षिक परीक्षा भी होने वाली है, इसके बावजूद सभी रिहर्सल के लिए आते हैं। निर्देशक के तौर पर पीयूष पांडेय और सह निर्देशन के तौर पर महेंद्र पंत कलाकारों के अभिनय को तराश रहे हैं। राम-धैर्य पांडेय, लक्ष्मण-कार्तिक पंत, सीता-अपूर्वा सिंह, भरत-यशी पांडेय, शत्रुघ्न-कार्तिक , अहिल्या-फाल्गुनी, गौरी-यशी व कैकई-आशा रावत सहित कई कलाकार गायन शैली के साथ अभिनय की रिहर्सल कर रहे हैं।

एक परिवार के कई कलाकार

कुर्मांचलनगर में होने वाली रामलीला में एक ही परिवार के कई सदस्य रामलीला में किरदार निभाते हैं। सभी रिहर्सल में जुटे हुए हैं। रामलीला समिति में सीता-गौरी का किरदार दो सगी बहनें और दशरथ-जनक का किरदार पिता पुत्र निभाते हैंश्रीराम-पीयूष जोशी, मुकुंद चौधरी श्री गणेश, निधि पंत-सीता, अमन भट्ट लक्ष्मण, भरत-कृष्णा शर्मा, शत्रुघ्न-देव भंडारी,  हनुमान-नवीन चौधरी, रावण- हीरा सिंह अपने किरदारों को जीवंत करने के लिए पसीना बहा रहे हैं।

रावण का जीवंत चित्रण करने की मशक्कत

आलमबाग में रावण के किरदार का मंच पर जीवंत चित्रण करने की मशक्कत में लगे जितेंद्र तिवारी दिनभर काम और फिर रात में रिहर्सल करते हैं। एलपीएस में अंग्रेजी माध्यम से कक्षा पांच में पढऩे वाले देव कोहली भी पिता के साथ मंच पर आने लगे हैं। पिता अश्वनी कुमार कोहली रेलवे में नौकरी करते हैं और मंथरा का किरदार निभाते हैं। नौकरी के दौरान रिहर्सल करने और फिर किरदार के साथ पदाधिकारी के तौर पर जिम्मेदारी की चुनौती उनके सामने होती है। रामलीला लगातार चलती रहे इसके लिए अपने बेटे को भी मंच पर उतारने का फैसला किया है।


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