नकली दवाओं पर कसेगी नकेल...मोबाइल एप बताएगा मेडिकल स्टोर असली या फिर नकली
साफ्टवेयर की मदद से खाद्य पदार्थों व दवाओं के नमूने लेने से लेकर उसकी जांच रिपोर्ट और मिलावटखोरों के खिलाफ कोर्ट में की गई कार्रवाई तक ऑनलाइन अपलोड की जाएगी।
लखनऊ, जेएनएन। आपके शहर में कौन सा मेडिकल स्टोर बिना लाइसेंस के चल रहा है, यह अब आप आसानी से जान सकेंगे। खाद्य एवं औषधि प्रशासन विभाग इसके लिए मोबाइल एप तैयार कर रहा है। लाइसेंस लेकर चलाए जा रहे मेडिकल स्टोरों की जियो टैगिंग भी होगी। ऐसे में बिना लाइसेंस के चल रहे मेडिकल स्टोरों की जानकारी पलक झपकते मिल जाएगी। वहीं दवा कंपनियों व मेडिकल स्टोरों को जारी किए जा रहे प्रमाणपत्रों पर क्यूआर कोड भी होगा। इसके माध्यम से ऑनलाइन लिस्ट देखकर कोई भी उसका सत्यापन कर सकेगा।
खाद्य एवं औषधि प्रशासन विभाग की अपर मुख्य सचिव अनीता भटनागर जैन ने बताया कि ऐसे मेडिकल स्टोर जो बिना लाइसेंस के चल रहे हैं वह कमाई के चक्कर में नकली दवाएं भी बेचते होंगे, इससे इंकार नहीं किया जा सकता। ऐसे में इन पर प्रभावी शिकंजा कसने के लिए यह पहल की जा रही है। वहीं विभाग की ओर से खाद्य सुरक्षा अधिकारी, मुख्य खाद्य सुरक्षा अधिकारी, औषधि निरीक्षक व सहायक आयुक्त सहित विभिन्न अधिकारियों को टैबलेट दिया जाएगा।
साफ्टवेयर की मदद से खाद्य पदार्थों व दवाओं के नमूने लेने से लेकर उसकी जांच रिपोर्ट और मिलावटखोरों के खिलाफ कोर्ट में की गई कार्रवाई सबकुछ ऑनलाइन अपलोड की जाएगी। ऐसे में अगर नमूना लेने से लेकर मिलावटखोरों पर कार्रवाई करने तक अगर अधिकारियों ने कहीं गड़बड़ी करने की कोशिश की तो वह पकड़े जाएंगे। शनिवार को अपर मुख्य सचिव ने अधिकारियों के साथ बैठक कर निर्देश दिए कि वह मिलावटखोरों पर शिकंजा कसने के लिए छापामार अभियान लगातार चलाएं।