गरीब डिफाल्टरों से एलडीए नहीं लेगा चक्रवृद्घि ब्याज, मिलेगी राहत
एलडीए नए वित्तीय वर्ष से ऐसी व्ययवस्था लागू करने की तैयारी कर रहा है, जिससे कम आय वर्ग के करीब पांच हजार डिफाल्टरों को लाभ होगा। प्रस्ताव तैयार किया जा रहा है।
लखनऊ, जेएनएन। एलडीए ईडब्ल्यूएस और आश्रयहीन जैसी योजनाओं में बकायेदारों से चक्रवृद्धि ब्याज की जगह केवल 16 फीसद सामान्य ब्याज लेगा। उनको ब्याज पर ब्याज नहीं देना पड़ेगा। एलडीए इस व्यवस्था को नए वित्तीय वर्ष से लागू करने की तैयारी कर रहा है। प्रस्ताव तैयार किया जा रहा है। इससे कम आय वर्ग के करीब पांच हजार डिफाल्टरों को लाभ होगा।
एलडीए का चक्रवृद्धि ब्याज कम आय वर्ग और आश्रयहीन के आवंटियों पर भारी है। उनका 25 हजार का बकाया कुछ साल में ही कपाउंडिंग ब्याज के चलते लाखों रुपये तक पहुंच जाता है। उदाहरण के तौर पर अगर 1990 में किसी आवंटी पर दो हजार रुपये का डिफाल्ट था तो वह 2019 में बढ़कर पांच लाख से भी अधिक हो सकता है। इससे अनेक आवंटी रजिस्ट्री नहीं करा पा रहे हैं। कई बार तो प्राधिकरण की गलती भी आवंटियों पर भारी पड़ती है।
लाखों के ब्याज से मिलेगी राहत
प्राधिकरण आवंटी की रजिस्ट्री नहीं करता है और आवंटी धन नहीं जमा करते हैं। ऐसे में चक्रवृद्धि ब्याज लगता है। इस वजह से अनेक दिक्कतें सामने आ रही हैं। एलडीए के एक अधिकारी ने बताया कि इन परेशानियों का समाधान किया जाएगा। एक महीने के भीतर ये प्रस्ताव पास होगा। इसमें कम आय वर्ग और आश्रयहीन आवासों के आवंटियों से 16 फीसद सालाना ब्याज लिया जाएगा। इस ब्याज पर लगा लाखों रुपये का चक्रवृद्धि ब्याज नहीं लिया जाएगा। इस प्रस्ताव को एलडीए बोर्ड से पास कराना होगा।