उत्तर प्रदेश में आंधी-तूफान से गिरे बिजली के 16,500 खंभे
उत्तर प्रदेश में आंधी-तूफान से प्रभावित क्षेत्रों में युद्ध स्तर पर काम करते हुए बिजली आपूर्ति को जल्द सामान्य करने के निर्देश हैैं।
लखनऊ (जेएनएन)। उत्तर प्रदेश में आंधी-तूफान से प्रभावित क्षेत्रों में युद्ध स्तर पर काम करते हुए बिजली आपूर्ति को जल्द सामान्य करने के निर्देश हैैं। आंधी से प्रदेश में बिजली के 16,500 खंभे और इनसे जुड़ी लाइनें क्षतिग्रस्त हुई हैैं। प्रमुख सचिव ऊर्जा आलोक कुमार ने वितरण तंत्र से लेकर आपूर्ति व्यवस्था को तेजी से सामान्य करने की हिदायत दी है। बीती दो मई की रात आए आंधी-तूफान से आगरा, सीतापुर, बिजनौर, बरेली, सहारनपुर, मुजफ्फरनगर, रायबरेली और उन्नाव सहित कई जिलों में बिजली आपूर्ति तंत्र को नुकसान पहुंचा था।
सभी जगहों पर पुनर्निर्माण
प्रमुख सचिव ने इस सभी जगहों पर पुनर्निर्माण के लिए प्रबंध निदेशकों को उपलब्ध संसाधन लगाने के निर्देश दिए हैैं। बैठक में बताया गया कि दक्षिणांचल निगम के 21 जिलों में आगरा, औरैया, मैनपुरी, ललितपुर, कन्नौज, उरई, हाथरस, बांदा, चित्रकूट, हमीरपुर, महोबा, झांसी, मथुरा, फिरोजाबाद व एटा सहित 15 जिले दैवीय आपदा से प्रभावित हुए हैैं, जिसमें मुख्य रूप से आगरा के ग्रामीण क्षेत्रों में सबसे ज्यादा नुकसान हुआ। यहां 13,878 पीसीसी और 588 स्टील ट्यूबलर पोल के साथ इन खंभों की बिजली लाइनें भी क्षतिग्रस्त हुई हैैं।
इसी तरह मध्यांचल निगम के उन्नाव में 275 और सीतापुर में 215 पीसीसी पोल व संबंधित लाइनें क्षतिग्रस्त हुईं। बरेली, शाहजहांपुर व पीलीभीत में भी आंधी-तूफान का खासा प्रभाव रहा, जबकि पश्चिमांचल निगम के मुजफ्फरनगर में 500 पीसीसी पोल व संबंधित लाइनें क्षतिग्रस्त हुईं और बिजनौर में भी आंधी-तूफान से काफी नुकसान हुआ। प्रमुख सचिव ने बताया कि एजेंसियों की कमी होने के कारण ग्रामीण विद्युतीकरण में कार्यरत एजेंसियों के साथ कन्नौज, इटावा, हाथरस, अलीगढ़ व मैनपुरी की सभी कार्यदायी संस्थाओं को भी व्यवस्था सामान्य करने में लगाया गया है। इन संस्थाओं की एजेंसियां भी इस काम में जुट गई हैं। प्रमुख सचिव ने बताया कि पीसीसी खंभों की कमी पूरी करने के लिए ग्वालियर, मेरठ, भरतपुर, मथुरा, झांसी व जयपुर की फैक्ट्रियों से पीसीसी पोल मंगाए जा रहे हैैं। बीते दो दिनों में करीब 1500 पीसीसी पोल कार्यस्थल पर पहुंचाए गए हैं।
इन नंबरों पर दें सूचना
आंधी-तूफान से हुए नुकसान के लिए पावर कारपोरेशन ने दक्षिणांचल निगम में नियंत्रण कक्ष स्थापित किया है। यहां फोन नंबर 0562-2605699 व 0562-2600718 के साथ वॉट्स एप नंबर 8859558888 पर भी बिजली के टूटे खंभों व लाइनों या क्षतिग्रस्त ट्रांसफार्मरों की जानकारी दी जा सकती है। विभाग का दावा है कि इस नियंत्रण कक्ष में 24 घंटे शिकायतें प्राप्त की जाएंगी और तेजी से उनका निस्तारण कराया जाएगा।
ग्राम स्वराज योजना में 1.80 लाख घरों को मिली बिजली
ग्राम स्वराज योजना के तहत प्रदेश में 1.80 लाख घरों को बिजली कनेक्शन जारी किया गया है। सौभाग्य पोर्टल के मुताबिक देश भर में जारी कनेक्शनों में 47 फीसद प्रदेश में दिए गए हैैं। अभियान के तहत देश में कुल 3.85 लाख कनेक्शन दिए गए हैैं। प्रदेश में योजना के लिए चिह्नित गांवों में से प्रत्येक में औसतन 51 कनेक्शन दिए गए, जबकि राष्ट्रीय औसत 21 कनेक्शनों का है। प्रमुख सचिव ऊर्जा आलोक कुमार ने बताया कि शनिवार तक प्रदेश के 1562 गांवों में प्रत्येक घर को ग्राम स्वराज योजना के तहत बिजली कनेक्शन दिए जा चुके हैैं। उन्होंने बताया कि 20 मई तक प्रदेश के सभी 3387 गांवों के सभी घरों को कनेक्शन दे दिए जाएंगे।