यूनिवर्सिटी को बनाएं दिव्यांगता अध्ययन का उत्कृष्ट केंद्र : पद्मश्री उमा तुली
दीक्षांत समारोह: डॉ. शकुंतला मिश्रा यूनिवर्सिटी के दीक्षांत समारोह में बेटियों ने दिखाया दम, 103 मेडल में से झटके 67 मेडल, विपिन यादव को चांसलर गोल्ड व साधना द्विवेदी को चांसलर सिल्वर मेडल, 829 विद्यार्थियों को मिली डिग्री
लखनऊ (जागरण संवाददाता)। डॉ. शकुंतला मिश्रा राष्ट्रीय पुनर्वास विश्वविद्यालय समावेशी शिक्षा का अनुकरणीय उदाहरण है। दूसरे राज्यों को भी यूपी से सबक लेकर इस तरह का श्रेष्ठ विश्वविद्यालय स्थापित करना चाहिए, जहां दिव्यांग विद्यार्थियों के साथ सामान्य विद्यार्थी भी पढ़ सकें। क्योंकि समावेशी शिक्षा ही समावेशी विकास की आधारशिला है। यह विचार समाजसेवी एवं पद्मश्री उमा तुली ने व्यक्त किए। वह शनिवार को विश्वविद्यालय के चतुर्थ दीक्षांत समारोह में उपस्थित विद्यार्थियों व शिक्षकों को संबोधित कर रहीं थी। उन्होंने कहा कि अब जरूरत है कि इस यूनिवर्सिटी को दिव्यांगता अध्ययन का उत्कृष्ट केंद्र (सेंटर फॉर एक्सीलेंस) बनाया जाए।
मुख्य अतिथि उमा तुली ने कहा कि यहां पर अच्छी रिसर्च की सुविधा उपलब्ध करवाई जाए ताकि समान्य विद्यार्थी व दिव्यांग विद्यार्थी बेहतर शोध कर सकें। माडल स्कूल खोलकर नर्सरी से ही दिव्यांग व सामान्य विद्यार्थी एक साथ पढ़ाएं और स्वावलंबी बनाने के लिए इंडस्ट्री के एक्सपर्ट को आमंत्रित करें। दीक्षांत समारोह में बेटियों ने अपना परचम लहराया। 103 मेडल में से 67 मेडल बेटियों को मिले, जबकि 36 मेडल छात्रों को मिले। दीक्षांत समारोह में कुल 829 विद्यार्थियों को डिग्री दी गई, जिसमें 408 लड़कियां और 421 लड़के शामिल है। कार्यक्रम में राज्यपाल राम नाईक, सीएम योगी आदित्यनाथ, दिव्यांगजन सशक्तीकरण विभाग के मंत्री ओम प्रकाश राजभर ने भी विद्यार्थियों को आशीर्वाद दिया। कार्यक्रम में राज्यपाल ने राज्य सरकार को सलाह दी कि मुख्य अतिथि द्वारा दिए गए सुझावों को लागू करें।
समारोह में एमएससी एप्लाइड स्टेटिक्स के छात्र विपिन यादव को चांसलर गोल्ड व एमए इतिहास की साधना द्विवेदी को चांसलर सिल्वर मेडल मिला। वहीं बीएड (मानसिक मंदितार्थ) की छात्रा पूजा सक्सेना को सर्वाधिक तीन गोल्ड मेडल मिले। कार्यवाहक कुलपति प्रवीर कुमार ने बताया कि कक्षा एक से लेकर इंटर तक की पढ़ाई के लिए माडल स्कूल बन रहा है और दिव्यांगों को इंडस्ट्री से ट्रेनिंग दिलाने के लिए एमओयू भी बीते हफ्ते हुआ है।
सीएम बोले, मनुष्य ईश्वर की सर्वश्रेष्ठ कृति, उससे भेदभाव अन्याय
डॉ. शकुंतला मिश्रा राष्ट्रीय पुनर्वास विवि की सामान्य परिषद के अध्यक्ष व मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि केंद्र व राज्य सरकार दिव्यांगों को बेहतर सुविधा देकर स्वावलंबी बनाने के लिए कृत संकल्प है। उन्होंने कहा कि मनुष्य ईश्वर की सर्वश्रेष्ठ कृति है उससे भेदभाव करना अन्याय है। आप किसी को दिव्यांग होने पर भेदभाव करेंगे तो भगवान का अपमान होगा। उन्होंने विद्यार्थियों को उदाहरण देते हुए समझाया कि अगर इरादे पक्के हैं तो दिव्यांग होने के बावजूद आप नजीर पेश कर सकते हैं। उन्होंने कहा कि एवरेस्ट फतह करने वाली अरुणिमा सिन्हा दिव्यांग हैं। इलाहाबाद के डीएम सुहास एल.वाई ने एक पैर खराब होने के बावजूद एशियन पैरा बैडमिंटन चैम्पियनशिप जीतकर इतिहास रचा। जीवन में कुछ अच्छा करने के लिए नजर नहीं बेहतर नजरिए की जरूरत होती है।
यूनिवर्सिटीज में महिला सशक्तीकरण का नया दौर: राज्यपाल
राज्यपाल राम नाईक ने कहा कि डॉ. शकुंतला मिश्रा राष्ट्रीय पुनर्वास विवि में बेटियों ने जिस तरह अपनी मेधा का डंका बजाया है वह अनुकरणीय है। संख्या में छात्रों से कम होने के बावजूद उन्होंने सर्वाधिक मेडल प्राप्त किए। यूपी की अन्य यूनिवर्सिटीज में भी महिला सशक्तीकरण की धूम है। जिन 24 राज्य विश्वविद्यालयों के दीक्षांत समारोह हुए हैं उनमें 1506375 डिग्री बांटी गई उनमें से 797646 डिग्री लड़कियों को मिली। यानी अब यूनिवर्सिटीज में लड़कियों की संख्या 51 प्रतिशत है। वह लड़कों से अधिक हैं।
स्टीफन हाकिंस को समर्पित लैब बनेगी प्रेरणास्रोत: कार्यवाहक वीसी
यूनिवर्सिटी के कार्यवाहक कुलपति प्रवीर कुमार ने कहा कि ब्लैक होल का कॉन्सेप्ट दुनिया को देने वाले महान भौतिक वैज्ञानिक स्टीफन हाकिंस के नाम पर यूनिवर्सिटी में स्टीफन हाकिंस मैटेरियल साइंस रिसर्च लैब स्थापित की गई है। यह रिसर्च लैब विद्यार्थियों के लिए प्रेरणास्रोत बनेगी। न्यूरॉन मोर्टार डिजीज जिसमें शरीर के अंग धीरे-धीरे काम करना बंद कर देता है। इस गंभीर बीमारी से लड़कर इस महान वैज्ञानिक ने दुनिया के लिए बड़ा योगदान दिया। ऐसे में यहां पर मैटेरियल साइंस पर श्रेष्ठ रिसर्च होगी। उन्होंने कहा कि दो महीने में यूनिवर्सिटी में ब्रेल प्रेस भी शुरू हो जाएगी। विद्यार्थियों को ब्रेल लिपि में विवि स्तर पर ही पाठ्य सामग्री मिलेगी।
उम्मीदों पर खरा उतरने की करें पूरी कोशिश: ओम प्रकाश राजभर
दिव्यांगजन सशक्तीकरण विभाग के मंत्री ओम प्रकाश राजभर ने विद्यार्थियों को उम्मीदों पर खरा उतरने के लिए कड़ी मेहनत करने की नसीहत दी। उन्होंने कहा कि डिग्री पाने वाले विद्यार्थी कोशिश करें कि वह अपने कार्य से समाज के सामने उदाहरण बनकर आएं।