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व्यापारियों ने फर्जीवाड़ा कर सरकार को लगाया करोड़ों का चूना

सहायक वाणिज्यकर कमिश्नर ने हजरतगंज कोतवाली में दर्ज कराया मुकदमा। फर्जी नाम पते के जरिए जीएसटी पोर्टल पर व्यवसाय से की करोड़ों की टैक्स चोरी।

By Anurag GuptaEdited By: Published: Fri, 16 Nov 2018 12:00 PM (IST)Updated: Fri, 16 Nov 2018 12:00 PM (IST)
व्यापारियों ने फर्जीवाड़ा कर सरकार को लगाया करोड़ों का चूना
व्यापारियों ने फर्जीवाड़ा कर सरकार को लगाया करोड़ों का चूना

लखनऊ, जेएनएन। व्यापारियों ने फर्जी नाम पते के जरिए जीएसटी पोर्टल पर व्यवसाय का रजिस्ट्रेशन कराया। इसके बाद सरकार को करोड़ों का टैक्स चूना लगाकर एक प्रदेश से दूसरे प्रदेश में माल तक भेज दिया। मामले का खुलासा होने पर सहायक वाणिज्यकर कमिश्नर ने हजरतगंज कोतवाली में मुकदमा दर्ज कराया है।

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इंस्पेक्टर राधा रमण सिंह के मुताबिक गाजियाबाद निवासी व्यापारी राजीव ने कानपुर रोड एलडीए कॉलोनी सेक्टर जी स्थित मकान में राजीव ट्रेडिंग कंपनी के नाम से प्लास्टिक का कारोबार दिखाकर व्यवसाय का रजिस्ट्रेशन कराया। उन्होंने बिजली के बिल की फर्जी रसीद बनवाकर दस्तावेजों में लगाई थी। कुछ दिन बाद विशेष अनुसंधान शाखा की टीम उक्त पते पर सत्यापन के लिए पहुंची तो फर्जीवाड़े का खुलासा हुआ। पता चला कि मकान बसंत पांडेय का है। पूछताछ में पता चला कि बसंत ने तीन हजार रुपये में नमकीन कारखाने के नाम पर कमरा किराए पर लिया था। कई महीनों से कमरा भी बंद है। इसका उसे किराया भी नहीं मिला है।

सहायक वाणिज्यकर कमिश्नर वरुण कुमार त्रिपाठी ने बताया कि पड़ताल में सामने आया कि राजीव गुप्ता ने करीब साढ़े तीन करोड़ रुपये का ई-वेबिल बनवाकर माल मोन्टेज इंटरप्राइजेज के हरिद्वार व भिंड स्थित पते पर भेजा है। उन्होंने बताया कि जीएसटी चोरी में इटावा के ट्रांसपोर्टर सत्येंद्र सिंह, मेम्बर सिंह, कानपुर देहात का गौरव गुप्ता, नीरज कुमार, नोएडा का स्वर्ण रोड लाइन्स, ग्वालियर, लखीमपुर समेत कई अन्य जनपदों के ट्रांसपोर्टर भी शामिल हैं। उनके बारे में भी जांच की जा रही है। इंस्पेक्टर ने बताया कि मामले की जांच की जा रही है। जो भी तथ्य पुलिस की पड़ताल में सामने आएंगे उसके आधार पर कार्रवाई की जाएगी।


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