ट्रेन बंद होने से बाजार में सन्नाटा, बेरोजगारी की कगार पर दुकानदार
ने में लगे हैं। साथ ही बाहर से लोगों के न आने से यहां की बाजार पर भी असर पड़ा है। दुकानदार ग्राहकों की प्रतीक्षा करते हाथ पर हाथ धरे बैठे हैं।
लखीमपुर: मैलानी- बहराइच के बीच यात्री ट्रेनें बंद होने से भीरा रेलवे स्टेशन व उसके पास सन्नाटा पसर गया है। पटरी दुकानदार, हाथ ठेले वाले, रोज कमाकर खाने वाले बेरोजगारी की कगार पर पहुंच गए हैं। जिससे परिवार के भरण पोषण की गंभीर समस्या पैदा हो गई है। 16 फरवरी से रेलवे प्रशासन द्वारा इस रूट की ट्रेनों का संचालन बंद कर दिया है। जिसके कारण लोगों को पलिया, तिकुनिया, नानपारा व बहराइच की ओर अब सड़क मार्ग से जाना पड़ रहा है। इससे जहां ट्रेन से पलिया 10, बेलरायां 20 व तिकुनिया 25 रुपये में तथा बहराइच 40 रुपये में पहुंच जाते थे वहीं अब सड़क मार्ग से पलिया 20, तिकुनिया 90 से 100 व बहराइच 150 रुपयों में जहां पहुंच पा रहे हैं। अधिकतर मध्यम श्रेणी के लोगों की जेब पर भार पड़ने से इस महंगाई में उनकी हालत खस्ता हो रही है और रेलवे और सरकार को लोग कोसने में लगे हैं। साथ ही बाहर से लोगों के न आने से यहां की बाजार पर भी असर पड़ा है। दुकानदार ग्राहकों की प्रतीक्षा करते हाथ पर हाथ धरे बैठे हैं। लाखों करोड़ों रुपयों से भरी दुकानें उन्हें मुंह चिढ़ा रही हैं। इस मामले में व्यापारी विजेंद्र जैन, राजेंद्र अग्रवाल, राजीव वर्मा, व्यापार मंडल पदाधिकारी सुभाष गोयल, शहनाज हुसैन, अमानत हुसैन, जाकिर अली, जावेद मियां का कहना है कि रेलवे प्रशासन तथा क्षेत्र के जनप्रतिनिधियों को जनता की समस्याओं और अवरुद्ध हो रहे विकास को देखते हुए जनहित में इस रूट की बंद ट्रेनों को चलाने के लिए सरकार पर दबाव बनाना चाहिए। जिससे लोगों को ट्रेन सुविधा का लाभ मिल सके।