कटौती बेलगाम, उमस से परेशान हो रहे लोग
अधिशासी अभियंता विद्युत सुनील चंद श्रीवास्तव नगर की आपूर्ति को बेहतर बनाने के लिए विभाग तत्पर है आपूर्ति व्यवस्था में भी सुधार है। वर्ष 2022 तक नगर के सभी जर्जर तार बदल दिए जाएंगे। प्रस्ताव शासन स्तर पर लंबित है। नगर में 20-22 घंटे व ग्रामीण क्षेत्रों में 18 घंटे आपूर्ति का अनुपालन किया जा रहा है।
कुशीनगर: बारिश के मौसम में उमस भरी गर्मी के बीच विद्युत कटौती लोगों को तकलीफ दे रही है। कई घंटे तक बिजली का गायब रहना हर किसी को खल रहा है। लोकल फाल्ट की समस्या बनी रहती है। शहर को 20 से 22 घंटे तो ग्रामीण क्षेत्रों में 16 से 18 घंटे विद्युत आपूर्ति का शेड्यूल कागजी साबित हो रहा है। पांच दशक पूर्व लगाए गए पोल व तार जर्जर हो गए हैं। समाधान के प्रति न विभाग गंभीर है, न ही जनप्रतिनिधि। इस उपेक्षा से आमजन आहत हैं।
पडरौना विद्युत उपकेंद्र से जुड़े क्षेत्र में जर्जर तार, जले ट्रांसफार्मर, जर्जर व टूटे खंभे बदलने, फीडर की तकनीकी खराबी को ठीक कराने आदि के लिए सलाना बजट एक करोड़ रुपये का है। इस धन को विभाग कहां खर्च करता है, इसे पूछने वाला कोई नहीं है।
नगर निवासी अरुण तुलस्यान कहते हैं गर्मी में विद्युत कटौती पीछा नहीं छोड़ रही है। कई बार रात में छत पर टहलना पड़ता है। विभाग को ठोस कदम उठाना चाहिए। सुभाष सिंह कहते हैं कि बेहिसाब कटौती से कामकाज पूरी तरह प्रभावित हो रहा है। कटौती से विवश कारीगरों को घंटों बैठना पड़ता है।
अधिशासी अभियंता विद्युत सुनील चंद श्रीवास्तव नगर की आपूर्ति को बेहतर बनाने के लिए विभाग तत्पर है, आपूर्ति व्यवस्था में भी सुधार है। वर्ष 2022 तक नगर के सभी जर्जर तार बदल दिए जाएंगे। प्रस्ताव शासन स्तर पर लंबित है। नगर में 20-22 घंटे व ग्रामीण क्षेत्रों में 18 घंटे आपूर्ति का अनुपालन किया जा रहा है।