23 दंपती साथ रहने को हुए राजी
दीवानी न्यायालय में शनिवार को राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन हुआ। आपसी सुलह-समझौते के आधार पर 1881 मुकदमे निस्तारित किए गए। इस दौरान दो लाख छह हजार 770 रुपये अर्थदंड वसूल किए गए जिसे राजकोष में जमा कराया गया।
कुशीनगर : दीवानी न्यायालय में शनिवार को राष्ट्रीय लोक अदालत का आयोजन हुआ। आपसी सुलह-समझौते के आधार पर 1881 मुकदमे निस्तारित किए गए। इस दौरान दो लाख छह हजार 770 रुपये अर्थदंड वसूल किए गए, जिसे राजकोष में जमा कराया गया।
जनपद न्यायाधीश राजेंद्र कुमार तृतीय व जिलाधिकारी डॉ.अनिल कुमार सिंह ने दीप प्रज्वलित कर राष्ट्रीय लोक अदालत का शुभारंभ किया। पारिवारिक न्यायालय द्वारा 29 वैवाहिक मामले निस्तारित किए गए। जिसमें 23 दंपती साथ-साथ रहने को राजी हुए। मोटर दुर्घटना से जुड़े 34 वाद निस्तारित कर एक करोड़ 64 लाख नौ हजार रुपये की क्षतिपूर्ति दिलाई गई। बैंक ऋण से जुड़े 297, उत्तराधिकार व दीवानी से जुड़े 44 वाद, राजस्व के 228 वाद तथा फौजदारी के 1247 वाद समेत कुल 1881 मामले निस्तारित हुए। बैंक से जुड़े मामलों में तीन करोड़ 10 लाख 45 हजार 553 रुपये का सेटलमेंट कराया गया।
प्रथम अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश लक्ष्मीकांत शुक्ल, विशेष न्यायाधीश एससी-एसटी अविनाश चंद्र त्रिपाठी, द्वितीय अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश ज्योति कुमार त्रिपाठी, अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश कोर्ट तीन विनय कुमार, अपर जिला जज कोर्ट संख्या चार अभिमन्यु सिंह, अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश एफटीसी प्रथम विवेकानंद त्रिपाठी, सीजेएम अमन कुमार श्रीवास्तव, सिविल जज सीनियर डिवीजन शैलेश पांडेय, लिपिक मुकेश श्रीवास्तव, बार एसोसिएशन अध्यक्ष महंत गोपाल दास के अलावे अधिवक्ता व वादकारी उपस्थित रहे।