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रेलवे यातायात में बाधक बन रहे छुट्टा मवेशी

जागरण टीम, कौशांबी : जिले में छुट्टा घूम रहे मवेशी रेलवे यातायात को प्रभावित कर रहे हैं। दो माह के भीतर आधा दर्जन से अधिक बार एक्सप्रेस ट्रेन प्रभावित हो चुकी हैं। इन मवेशियों को सुरक्षित रखने की कोई समुचित व्यवस्था जिला प्रशासन की ओर से भी नहीं की जा रही है। ऐसी परिस्थिति में बेजुबान ट्रेन की चपेट में आकर अपनी जान तो गंवा ही रहे हैं। वहीं कभी भी बड़ा हादसा होने की संभावना बनी रहती है। लेट-लतीफी के चलते ट्रेनों का यातायात भी प्रभावित हो रहा है।

By JagranEdited By: Published: Fri, 05 Oct 2018 08:02 PM (IST)Updated: Fri, 05 Oct 2018 08:02 PM (IST)
रेलवे यातायात में बाधक बन रहे छुट्टा मवेशी

जागरण टीम, कौशांबी : जिले में छुट्टा घूम रहे मवेशी रेलवे यातायात को प्रभावित कर रहे हैं। दो माह के भीतर आधा दर्जन से अधिक बार एक्सप्रेस ट्रेन प्रभावित हो चुकी हैं। इन मवेशियों को सुरक्षित रखने की कोई समुचित व्यवस्था जिला प्रशासन की ओर से भी नहीं की जा रही है। ऐसी परिस्थिति में बेजुबान ट्रेन की चपेट में आकर अपनी जान तो गंवा ही रहे हैं। वहीं कभी भी बड़ा हादसा होने की संभावना बनी रहती है। लेट-लतीफी के चलते ट्रेनों का यातायात भी प्रभावित हो रहा है।

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भाजपा सरकार ने गौवंश की तस्करी पर पूरी तरह से रोक लगा रखी है। जहां भी गोवंश की धर-पकड़ की जा रही है, वहां की पुलिस इन मवेशियों को छुट्टा छोड़ दे रहे हैं। शारीरिक रूप से कमजोर मवेशियों को कोई किसान सुपुर्दगी में भी नहीं लेता। नतीजतन गांव में छुट्टा घूम रहे गोवंश लोगों की फसलें चट कर रहे हैं। फसलों को बचाने के लिए किसान इन्हें हांकते हुए गांव के बाहर दूसरे गांव तक छोड़ आते हैं। जिले में सैकड़ों छुट्टा मवेशी किसानों की फसलें बर्बाद कर रहे हैं। इन बेजुबानों के लिए सरकार की ओर से जनपद में कोई समुचित व्यवस्था नहीं की गई है, जिससे उन्हें सुरक्षित किया जा सके। छुट्टा घूम रहे मवेशी कभी सड़क हादसे का शिकार होते हैं तो कभी ट्रेन हादसे का। बीते दो माह के भीतर आधा दर्जन से अधिक हादसे हुए। कई सांड़ की जान भी जा चुकी है। मवेशियों के चलते ट्रेनें हुई प्रभावित

04 अगस्त : चरवा के अमनी लोकीपुर गांव के समीप जोधपुर-हावड़ा एक्सप्रेस ट्रेन से सांड़ टकराया। इससे उसकी मौत हुई। पहिए में मृत सांड़ फंसने की वजह से 20 मिनट ट्रेन प्रभावित हुई।

12 अगस्त : इलाहाबाद से कानपुर की ओर अप लाइन पर जा रही मालगाड़ी से कटकर सांड़ की मौत हो गई। इससे भरवारी रेलवे स्टेशन के समीप करीब 10 मिनट तक ट्रेन को रोक कर मृत सांड़ को बाहर निकाला गया।

26 सितंबर : भरवारी रेलवे स्टेशन के समीप भोर करीब पांच बजे हमसफर एक्सप्रेस से सांड़ टकराकर काल के गाल में समा गया। इससे ट्रेन करीब एक घंटे बाद डाउन लाइन पर ठहरी रही।

01 अक्टूबर : नई दिल्ली से पुरी जा रही पुरुषोत्तम एक्सप्रेस से जीवनगंज गांव के समीप सांड़ टकरा गया। मृत शरीर को पहिए से बाहर निकाला गया। इस बीच ट्रेन डाउन लाइन पर सुबह करीब 20 मिनट तक ठहरी रही। इसके पीछे प्रयागराज एक्सप्रेस समेत कई ट्रेन प्रभावित हुईं।


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