तालाब बेचने पर लोगों ने किया जमकर हंगामा
संसू, म्योहर : सालों से म्योहर के 13 बीघे के तालाब पर काबिज कुछ लोगों ने सरकारी रिकार्ड में जालसाजी करते हुए भूमिधरी करवा लिया। फिर बेच दिया जबकि सुप्रीम कोर्ट के निर्देशानुसार तालाब की खरीद फरोख्त नहीं हो सकती है। गुरुवार को ग्रामीणों ने तालाब पर कब्जे का विरोध कर पुलिस को सूचना दी। अधिकारियों ने कार्य रुकवाया।
संसू, म्योहर : सालों से म्योहर के 13 बीघे के तालाब पर काबिज कुछ लोगों ने सरकारी रिकार्ड में जालसाजी करते हुए भूमिधरी करवा लिया। फिर बेच दिया जबकि सुप्रीम कोर्ट के निर्देशानुसार तालाब की खरीद फरोख्त नहीं हो सकती है। गुरुवार को ग्रामीणों ने तालाब पर कब्जे का विरोध कर पुलिस को सूचना दी। अधिकारियों ने कार्य रुकवाया।
मंझनपुर तहसील के गांव म्योहर में 13 बीघे का तालाब है। 1952 में तालाब में ¨सघाडे़ की खेती के लिए गांव के ही भोला को पट्टा दिया था। उनकी मौत के बाद उनके पुत्र गुरु प्रसाद, रमेश, महेश तालाब पर काबिज रहे। भोला के तीनों बेटे गांव के ही संतोष पुत्र बासुदेव और लक्ष्मी नारायण के साथ मिलकर तालाब के पट्टे के दस्तावेज में हेराफेरी की। इस खेल में राजस्व विभाग के अधिकारी और वकील भी शामिल है। इन सभी ने इसी वर्ष 25 जुलाई को तालाब भूमि को रामधीरज तिवारी पुत्र वैजनाथ निवासी गणेश नगर म्योराबाद इलाहाबाद और लक्ष्मण कुमार तिवारी पुत्र छेदीलाल निवासी कमला नगर म्योराबाद इलाहाबाद को बेच दिया। यह भूमि दोनों के नाम दाखिल खारिज भी हो गई। गुरुवार को रामधीरज व लक्ष्मण जेसीबी लेकर कब्जा को पहुंचे। उन्होंने तालाब को समतल करना शुरू कर दिया। इस दौरान गांव के राम नरेश, मिलन, राजेश ¨सह, विजय, आशीष कोरी सहित कई लोग मौके पर पहुंचे और पूछताछ की। कहा कि यह तालाब की जमीन है। करारी पुलिस के साथ लेखपाल व कानूनगों मौके पर पहुंचे और जांच की। अधिकारियों ने बताया कि 1359 फसली में यहां पर 13 बीघे का तालाब है। अधिकारियों ने बताया कि तालाब की जमीन को भूमिधरी बनाने में खसरा नंबर बदलने से लेकर दाखिल खारिज कराने तक में खेल हुआ है। नष्ट कर दिए गए दर्जनों पेड़
तालाब के किनारे गांव के लोगों के दर्जनों की संख्या में पेड़ लगाए थे। भूमि पर कब्जे के लिए पहुंचे लोगों ने ग्रामीणों के पेड़ जेसीबी से खोद डाले। बसवाड़ी नष्ट कर दी। भूमिधरी में दर्ज करने की जांच शुरू
मंझनपुर के एसडीएम सतीशचंद्र ने बताया कि रिकार्ड में यह जगह तालाब में है। इसे भूमिधरी में कैसे दर्ज किया गया। इसकी जांच हो रही है। इस तालाब पर पहले जिन लोगों के नाम पट्टा था, वह भी खारिज होगा और उनके खिलाफ मुकदमा भी दर्ज किया जाएगा। वहीं खरीदने वाले और रिकार्ड में हेराफेरी कराने वाले अधिकारियों कर्मचारियों पर कार्रवाई की जाएगी।