बदलते मौसम से जुकाम व बुखार के मरीज बढ़े
जासं, कौशांबी : मौसम में लगातार उतार व चढ़ाव जारी है। कभी सर्दी तो कभी गर्मी जिसके चलते मरीजों की संख्या हर दिन बढ़ रही है। पेन किलर व जुखाम संबंधी अन्य दवाओं को बिना डॉक्टर के सलाह के लेना घातक होगा। मौसमी बीमारी से बचने के लिए अपने किचेन में जागरूक रहने की जरूरत है। आधे अक्टूबर के बाद बदलते मौसम ने मरीजों की संख्या में काफी इजाफा कर दिया है। ओपीडी में हर दिन 70 फीसद मरीज सिर्फ इसी तरह के आ रहे हैं।
जासं, कौशांबी : मौसम में लगातार उतार व चढ़ाव जारी है। कभी सर्दी तो कभी गर्मी जिसके चलते मरीजों की संख्या हर दिन बढ़ रही है। पेन किलर व जुकाम संबंधी अन्य दवाओं को बिना डॉक्टर के सलाह के लेना घातक होगा। मौसमी बीमारी से बचने के लिए अपने किचेन में जागरूक रहने की जरूरत है। आधे अक्टूबर के बाद बदलते मौसम ने मरीजों की संख्या में काफी इजाफा कर दिया है। ओपीडी में हर दिन 70 फीसद मरीज सिर्फ इसी तरह के आ रहे हैं।
कमरे के बाहर निकलते ही चिलचिलाती धूप लोगों के शरीर को गर्म कर रही है तो कमरे में वापस आते ही पंखे की हवा से शरीर ठंडा हो रहा है। सुबह के समय और आधी रात के बाद ठिठुरती ठंड लोगों को पंखा बंद करने के साथ चादर ओढ़ने पर मजबूर कर रही है। मौसम के बदलाव ने आम जनजीवन को प्रभावित कर दिया है। जिला अस्पताल में दो से तीन सौ मरीजों को हर दिन ओपीडी में स्वास्थ्य परीक्षण कर दवाएं वितरित की जाती हैं। डॉ. एसके ¨सह का कहना है कि बदलते मौसम के बीच लोगों को अपने खानपान व रहन-सहन का विशेष ध्यान रखना चाहिए। ऐसे मौसम में अच्छे-भले इंसान को कब सर्दी व जुकाम बीमारी अपने चपेट में ले लेगी, इसका कोई अंदाजा नहीं लगाया जा सकता। वहीं जुकाम व बदन दर्द से पीड़ित मंझनपुर निवासी फैज अहमद का कहना है कि वह चार दिनों से इस इस बीमारी के पीड़ित हैं। डेंगू व मलेरिया के आशंका में उन्होंने अपने खून की जांच भी कराई लेकिन सबकुछ ठीक रहा। बाद में डॉक्टर ने बताया कि बदलते मौसम के चलते उन्हें बदन दर्द व जुकाम है। सिराथू के लल्लू, ओसा से आए हरिश्चंद्र का भी यही कहना था। बीमारियों से बचाव के लिए करें उपाय
- सुबह-शाम लौंग और तुलसी का प्रयोग करें, ठंडे भोजन के बजाए गर्म आहार ही प्रयोग में लाएं, कुनकुने पानी का प्रयोग करें, एक साथ ज्यादा पानी पीने के बजाए थोड़ी-थोड़ी देर में पिएं, ठंडे फलों का प्रयोग न करें, जुकाम के चलते सिर दर्द हो तो कपड़े में लौंग की पोटली बना लें और सूंघते रहिए, जुकाम व बदन दर्द की स्थिति में रोज शाम को दूध में हल्दी डालकर सेवन करें, खांसी से राहत के लिए उबले पानी में नींबू व शहद मिलाकर पीएं। बदलते मौसम के चलते जुकाम, बदन दर्द व बुखार जैसी बीमारियों का प्रकोप काफी बढ़ा हुआ है। यदि ऐसे लक्षण मिलते हैं तो सबसे पहले खून की जांच जरूर कराएं, हो सकता है कि मलेरिया या टाइफाइड भी हो। यदि ऐसा नहीं है तो वायरल फीवर से बचाव के लिए दवा के साथ-साथ परहेज जरूरी है।
- डॉ. दीपक सेठ, सीएमएस जिला अस्पताल।