Move to Jagran APP

वीआइपी रोड पर 10 दिन में डाल दें पाइप

जागरण संवाददाता, कानपुर : मंडलायुक्त सुभाष चंद्र शर्मा ने गुरुवार को नमामि गंगे प्रोजेक्ट से संबंधित

By JagranEdited By: Published: Fri, 23 Mar 2018 01:27 AM (IST)Updated: Fri, 23 Mar 2018 01:27 AM (IST)
वीआइपी रोड पर 10 दिन में डाल दें पाइप
वीआइपी रोड पर 10 दिन में डाल दें पाइप

जागरण संवाददाता, कानपुर : मंडलायुक्त सुभाष चंद्र शर्मा ने गुरुवार को नमामि गंगे प्रोजेक्ट से संबंधित कार्यो का औचक निरीक्षण किया। वीआइपी रोड पर पहुंचे मंडलायुक्त ने भैरोघाट चौराहा से परमट पेट्रोल पंप तक पाइप डालने के कार्य को देखा। उन्होंने जल निगम के महाप्रबंधक आरके अग्रवाल से कहा कि 10 दिन में काम पूरा हो जाना चाहिए। खोदाई करने के साथ ही पाइप डालते चलें। पाइप डालते ही सड़क को मोटरेबल करते चलें। पाइप को और गहराई में डालने का आदेश दिया ताकि दबाव के कारण न टूटे। कहा कि जो मानचित्र है उसके अनुरूप ही पाइप डाले जाएं।

loksabha election banner

जल निगम महाप्रबंधक ने बताया, नमामि गंगे योजना के तहत सीसामऊ नाला टैप करने का कार्य चल रहा है। तय समय में काम पूरा हो जाएगा। मंडलायुक्त ने कहा कि खोदाई के बाद मलबा किनारे डालें क्योंकि सड़क की तरफ डालने से जाम लगेगा। बोले, कार्यो की गुणवत्ता पर विशेष ध्यान दिया जाए। जल निगम के अधीक्षण अभियंता आर पाल, परियोजना प्रबंधक घनश्याम द्विवेदी, संयुक्त विकास आयुक्त नरेंद्र सिंह यादव रहे।

जाम नहीं लगना चाहिए

मंडलायुक्त ने जल निगम महाप्रबंधक से कहा कि खोदाई से जाम न लगे इसका विशेष ध्यान रखें। जहां भी खोदाई करनी है यातायात विभाग को जानकारी दें ताकि जाम से बचाव के उपाय किए पा सकें।

बोर्ड न होने पर लगाई फटकार

मंडलायुक्त गंगा बैराज पहुंचे और और नमामि गंगे योजना से हो रहे घाट के सुंदरीकरण को देखा। मौके पर कार्य से संबंधित साइन बोर्ड न लगाए जाने पर ठेकेदार को फटकार लगाई। कहा कि काम कब शुरू हुआ और कब खत्म होगा, इसकी लागत कितनी है इसका विवरण बोर्ड पर अंकित किया जाए। अधिकारियों ने बताया कि कार्य 9 करोड़ से हो रहा है। अक्टूबर 2018 तक पूरा होना है। मंडलायुक्त ने कहा कि बाढ़ को ध्यान में रख तेजी से कार्य करें। बरसात से पहले कार्य पूरा किया जाए। उन्हें बताया गया कि 11 घाटों का सुंदरीकरण होना है। इनमें से छह का कार्य पूर्ण हो गया है।

पेयजल कार्यो में समन्वय जरूरी

मंडलायुक्त ने कहा, पेयजल आपूर्ति से संबंधित कार्यो को समन्वय बनाकर किया जाए। जब सभी विभाग मिलकर करेंगे तो समय से होगा। जलापूर्ति की माग को देखते हुए कम से कम 550 एमएलडी पानी की आवश्यकता होगी। उन्होंने गंगा बैराज के वाटर ट्रीटमेंट प्लाटों का भी निरीक्षण किया। दो-दो सौ एमएलडी क्षमता वाले प्लांटों की जाकारी ली। जल निगम महाप्रबंधक ने बताया कि 400 एमएलडी जलापूर्ति की क्षमता वाले इन प्लाटों से शहर की जलापूर्ति की जा सकती है। फिलहाल 150 एमएलडी जलापूर्ति हो रही है। मंडलायुक्त ने कहा कि जल्द से जल्द टेस्टिंग की प्रक्रिया पूरी कर लें। गर्मी में पेयजल संकट नहीं होना चाहिए।

गायब अभियंताओं से जवाब तलब

गंगा बैराज के कंट्रोल रूम कोई न मिलने पर मंडलायुक्त ने जेडीसी नरेंद्र सिंह से कहा कि वह कंट्रोल रूम में तैनात अभियंताओं और कर्मचारियों से जवाब तलब करें।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.