छत्रपति शाहूजी महाराज विश्वविद्यालय में अब छात्र-छात्राएं नहीं ले सकेंगे बर्गर-पिज्जा का स्वाद
यूजीसी के निर्देश आने के बाद विश्वविद्यालय परिसर की कैंटीन में जंक फूड की बिक्री को प्रतिबंधित किया गया है। इससे छात्र-छात्राओं की सेहत बिगड़ रही है।
कानपुर (जागरण संवाददाता)। समोसा, बर्गर, पिज्जा व सैंडविच...। नाम सुनते ही मुंह में पानी आ जाए। मगर, अब विश्वविद्यालय परिसर में ये कहीं नजर भी नहीं आएंगे। वजह, विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) ने विवि परिसर की कैंटीन व हॉस्टल में जंक फूड को प्रतिबंधित कर दिया है।
शुरू हुआ यूजीसी के निर्देशों का पालन
छत्रपति शाहू जी महाराज विश्वविद्यालय (सीएसजेएमयू) ने शनिवार को पत्र मिलते ही सोमवार से यूजीसी के इस निर्देश का पालन भी शुरू करा दिया है। विवि के साथ संबद्ध महाविद्यालयों में छात्र-छात्राएं जंक फूड न खाएं, इस संबंध में कुलपति प्रो. नीलिमा गुप्ता ने निर्देश दे दिए हैं। उन्होंने बताया कि विवि परिसर में जंक फूड की बिक्री, उपयोग आदि पर रोक लगा दी गई है। यूजीसी के पत्र में जिक्र किया गया कि जंक फूड खाने से छात्र-छात्राओं की सेहत को नुकसान पहुंच रहा है। इसलिए अब सेहत के लिए अनुकूल भोजन मुहैया कराने की व्यवस्था करा दी जाएगी। सभी वार्डन, चीफ प्रॉक्टर व अन्य आला अफसरों को जानकारी दे दी गई है।
मधुमेह, मोटापा समेत कई अन्य बीमारियां घेर रहीं
यूजीसी की ओर से दी गई जानकारी के मुताबिक जंक फूड खाने से छात्र-छात्राओं को मधुमेह, मोटापा समेत कई अन्य गंभीर बीमारियां घेर रही हैं। साथ ही पाचन शक्ति कमजोर हो रही थी। इसलिए इसे बंद कराने का फैसला किया गया।
मेन्यू में शामिल होता दाल-चावल सब्जी रोटी
विवि के गल्र्स व ब्वॉयज हॉस्टल में आमतौर पर छात्र-छात्राओं को दाल-चावल, सब्जी रोटी, नाश्ते में पूड़ी-पराठा व स्पेशल मेन्यू के तहत पनीर दिया जाता है। हालांकि हर 15 दिन में मेन्यू बदलता है। कावेरी छात्रावास की वार्डन वारसी सिंह ने बताया कि मेन्यू छात्र-छात्राएं ही तय करते हैं।