केंद्रीय विद्यालय के आठवीं तक के छात्रों के लिए नया नियम, प्रोजेक्ट वर्क बढ़ाएगा अंक
नई शिक्षा नीति के तहत इस सत्र से केंद्रीय विद्यालय के तीसरी से आठवीं तक के छात्रों के लागू नियम के तहत मल्टी डिस्पलनरी प्रोजेक्ट पर काम करना होगा। अभी तक सब्जेक्ट एनरिचमेंट को देखकर शिक्षक अंक देते थे।
कानपुर, जेएनएन। केंद्रीय विद्यालयों में पढ़ने वाले तीसरी से आठवीं तक के छात्रों को अब प्रोजेक्ट वर्क पर काम करना होगा। नई शिक्षा नीति के क्रियान्वयन से यह नया नियम तीसरी से आठवीं तक के छात्रों पर लागू हो गया है। गौर करने वाली बात यह है, कि छात्र पूरे वर्ष भर जिस प्रोजेक्ट पर काम करेंगे उसके उन्हें वार्षिक परीक्षा में बाकायदा अंक दिए जाएंगे।
दरअसल अभी तक केवी में छात्रों को प्रोजेक्ट वर्क के बजाय सब्जेक्ट एनरिचमेंट (विषयानुसार) के आधार पर शिक्षक उनके ओवरआल प्रदर्शन पर अंक दे देते थे। यह कुल 20 अंकों की कवायद होती थी। इसके अलावा 40 अंकों की लिखित व 20 अंकों की मौखिक परीक्षा रहती थी। हालांकि, अब छात्रों को मल्टीडिस्पलनरी प्रोजेक्ट के तहत 20 अंकों में से प्राप्तांक दिए जाएंगे।
करके सीखने की क्षमता विकसित होगी: केवी रक्षा विहार में कला की शिक्षक रिचा चंद्रा ने बताया कि इस कवायद से छात्रों के अंदर करके सीखने की क्षमता विकसित होगी। जो उनकी पढ़ाई व भविष्य में बेहद मददगार साबित होगी। बोलीं, वर्ष भर छात्रों को एक ही प्रोजेक्ट पर काम करके दिखाना होगा। उन्होंने कहा, किरोना महामारी के चलते पिछले डेढ़ वर्षों में छात्र-छात्राएं प्रयोगशालाओं से दूर हो गए। हालांकि, अब प्रोजेक्ट वर्क के चलते वह प्रयोगशालाओं में जाएंगे और वहां अपनी प्रतिभा को प्रदर्शित कर सकेंगे।
-केवी के छात्र अपनी पढ़ाई के दौरान बेहतर प्रदर्शन कर सकें, इसके लिए उन्हें इस सत्र से प्रोजेक्ट वर्क करके भी दिखाना होगा। यह व्यवस्था इसी सत्र से लागू की गई है। -आरएन वडालकर, प्रधानाचार्य, केवी आइआइटी