Kanpur News: लॉकर कंपनी के कर्मचारी ने काटा था बैंक की तिजोरी, 2.3 किलो सोने और 4.7 किलो चांदी के जेवर बरामद
बैंक ऑफ बड़ौदा की किदवई नगर शाखा में लाकर काटकर जेवर चोरी करने के मामले का नौबस्ता पुलिस ने एक हफ्ते के अंदर पर्दाफाश कर दिया है। इस वारदात में अभी केवल एक आरोपी सामने आया है जो कि लाकर कंपनी का ही कर्मचारी है।
कानपुर, जागरण संवाददाता: बैंक ऑफ बड़ौदा की किदवई नगर शाखा में लाकर काटकर जेवर चोरी करने के मामले का नौबस्ता पुलिस ने एक हफ्ते के अंदर पर्दाफाश कर दिया है। इस वारदात में अभी केवल एक आरोपी सामने आया है, जो कि लाकर कंपनी का ही कर्मचारी है। पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर उसके पास से 2.384 किलोग्राम सोने और 4.757 किलोग्राम चांदी के जेवर बरामद किए हैं।
चोरी हुए जेवरों के अलावा भी आरोपी के पास से भारी मात्रा में सोने व चांदी के जेवरात बरामद होने से आशंका है कि उसने किसी और बैंक का लॉकर काटकर जेवर चोरी किए हैं। वहीं दूसरी ओर पुलिस को शक है कि बैंक कर्मचारियों की भी मिलीभगत हो सकती है, जिसकी जांच की जा रही है।
बसंत विहार निवासी सूर्य कुमार अवस्थी की पत्नी रमा अवस्थी का बैंक ऑफ बड़ौदा की शाखा किदवई नगर में लाकर है। आरबीआई से मिले एक एसएमएस के बाद 24 मार्च को जब वह लाकर इंचार्ज के साथ लाकर रूम गईं तो पता चला कि लॉकर का दरवाजा तो पहले से ही खुला है।
अंदर लाकर के स्क्रू व लोहे के छोटे छोटे टुकड़े रखे मिले तथा ढक्कन में लाक कटा हुआ था। लाकर के अंदर रखे करीब डेढ़ करोड़ रुपये के जेवरात गायब थे। रमा अवस्थी ने इससे पहले चार फरवरी 2020 को अंतिम बार लॉकर खोला था।
गुरुवार को पुलिस लाइन में आयोजित पत्रकार वार्ता में पुलिस आयुक्त बीपी जोगदण्ड ने बताया कि पुलिस ने इस मामले में जांच के आधार पर रायपुरवा के अनवरगंज निवासी रोहित शुक्ला को गिरफ्तार कर पूछताछ की तो उसने सच उगल दिया। असल में पुलिस ने जब जांच शुरू की तो पिछले 18 महीनों की सीसीटीवी फुटेज मिली। फुटेज की जांच में पुलिस को लाकर ठीक करने वाले कर्मचारी रोहित शुक्ला की गतिविधियां संदिग्ध लगीं, क्योंकि लाकर रूम में लाकर तोड़ने की कार्यवाही के दौरान वह अकेले ही दिखाई पड़ा, जबकि नियमानुसार एक समिति की उपस्थिति जरूरी होती है। सामने आया कि रोहित लाकर रिपेयर करने वाली कंपनी में काम करता है। कुछ महीने पहले वह लाकर रिपेयरिंग के लिए आया था। उसने वर्ष 2021 में भी एक लाकर तोड़कर उससे जेवरात पार किए थे। इसके बाद पुलिस ने रोहित के घर से ही चोरी गए जेवरात बरामद कर लिए।
बरामद जेवर कह रहे हैं दूसरी कहानी
भले ही अभी रोहित शुक्ला ने केवल बैंक ऑफ बड़ौदा की किदवईनगर शाखा के ही दो लाकरों से जेवरात चोरी करने की बात स्वीकार की है लेकिन उसके घर से बरामद भारी मात्रा में जेवरात बता रहे हैं कि उसने कहीं और भी हाथ साफ किया है।
पुलिस ने रमा अवस्थी के चोरी गए डेढ़ करोड़ के जेवरातों में से 967 ग्राम सोने के जेवर और 3.69 किग्रा चांदी के जेवरात बरामद किए हैं। वहीं, वर्ष 2021 में जिन अजय गुप्ता के 380 ग्राम सोने के जेवरात चोरी हुए थे, उनके 131 ग्राम जेवरात मिले हैं।
इसके अलावा पुलिस को 1286 ग्राम सोने और 1063 ग्राम चांदी के जेवरात भी मिले हैं, जिसके बारे में रोहित कोई जानकारी नहीं दे सका। पुलिस का मानना है कि उसने अन्य बैंकों या बीओबी की इसी शाखा में कोई अन्य लॉकर भी काटे हैं।
बैंक कर्मचारी भी संदेह के घेरे में
संयुक्त पुलिस आयुक्त आनंद प्रकाश तिवारी ने बताया कि जो सीसीटीवी फुटेज सामने आया है, उसमें रोहित अकेले ही लाकर रूम के बाहर टहलते दिखाई दिया है। उसने अकेले ही निष्प्रयोज्य लाकर तोड़े हैं। इससे साफ है कि बैंक अधिकारियों ने आरबीआई द्वारा बनाए गए नियमों का पालन नहीं किया। उन्होंने ऐसा जानबूझकर किया या कार्य के प्रति लापरवाही थी, इसकी जांच पुलिस कर रही है। उन्होंने बताया कि पुलिस की ओर से इस मामले में भारतीय रिजर्व बैंक और बैंक ऑफ बड़ौदा के उच्चाधिकारियों को भी एक रिपोर्ट भेजी जाएगी।
सेंट्रल बैंक लाकर प्रकरण में भी थे गोदरेज के कर्मचारी
रोहित शुक्ला गोदरेज कंपनी का कर्मचारी है। गोदरेज कंपनी से जुड़ी पैन कॉमर्शियल ही बैंक लाकर से जुड़ी समस्याओं का निराकरण करती है। बड़ी बात यह है कि पिछले साल जब सेंट्रल बैंक इंडिया के लॉकर काटकर जेवरात चोरी होने का मामला सामने आया था, उसमें भी इसी कंपनी के कर्मचारी शामिल थे। रोहित ने पूछताछ में बताया कि वह बैंक ऑफ बड़ौदा के साथ-साथ अन्य बैंकों में भी लगे लाॅकरों को ठीक करने का काम करता था।
लाखों का सोना बिका, सर्राफ चिह्नित
पीड़ित रमा अवस्थी के स्वजन ने बताया कि उनके हीरे के जेवरात और सोने के बड़े हार गायब हैं, जो उन्हें नहीं मिले। जब डीसीपी दक्षिण सलमान ताज पाटिल से बात की गई तो उन्होंने बताया कि रोहित ने चोरी किया गया अधिकांश माल घर पर ही रखा था। लगभग ढाई किलो सोना और पांच किलो चांदी के जेवरात मिले हैं। ये भी जानकारी मिली है कि उसने कुछ माल स्वर्णकारों को बेचा है। कुछ सर्राफ चिह्नित हुए हैं, जिन्हें जल्द ही गिरफ्तार किया जाएगा।
पत्रकार वार्ता में लगे पुलिस जिंदाबाद के नारे
पत्रकार वार्ता में रमा अवस्थी व अजय गुप्ता के परिवार के लोग भी मौजूद थे। उन्होंने इस पर्दाफाश का स्वागत करते हुए पुलिस टीम को सम्मानित करने की घोषणा की। इस बीच परिवार ने पुलिस जिंदाबाद के नारे भी लगाए।
ये पुलिसकर्मी रहे पर्दाफाश में शामिल
डीसीपी दक्षिण सलमान ताज पाटिल, एडीसीपी दक्षिण अंकिता शर्मा, एसीपी नौबस्ता अभिषेक पांडेय, प्रभारी निरीक्षक नौबस्ता संजय पांडेय, निरीक्षक रामआसरे त्रिपाठी, एसएसआइ जमाल अहमद, उप निरीक्षक पवन कुमार मिश्रा, उप निरीक्षक जयवीर सिंह, उप निरीक्षक नितिन कुमार, हरगोविन्द सिंह, सत्येन्द्र सिंह, सौरभ पांडेय, मनोज कुमार।
टीम को मिला पुरस्कार
पुलिस आयुक्त ने बताया कि उन्होंने पर्दाफाश में शामिल पुलिस टीम को एक लाख रुपये का इनाम दिया है। इसके अलावा डीजीपी के प्रशंसा पत्र के लिए टीम में शामिल राजपत्रित अधिकारियों के नाम शासन को भेजे जाएंगे।