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अब और आसान होगी एक्सप्रेस ट्रेनों की राह, डेडीकेटेड फ्रेट कॉरिडोर पर कल से दौड़ेंगी मालगाड़ियां

नई दिल्ली-हावड़ा रेल रूट पर भाऊपुर से भदान तक बनाए गए ट्रैक की फिनिसिंग का काम हो पूरा हो चुका है। रेलवे ने खुर्जा से भाऊपुर के बीच कॉरिडोर के ट्रैक पर मालगाड़ियों का संचालन शिफ्ट करने की पूरी तैयारी कर ली है।

By Abhishek AgnihotriEdited By: Updated: Tue, 01 Dec 2020 10:11 AM (IST)
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नए ट्रैक पर होगा मालगाड़ियों का सफर।

कानपुर, जेएनएन। भाऊपुर से खुर्जा तक बुधवार से मालगाड़ियां अब पूरी रफ्तार से अपने नए ट्रैक पर दौड़ने लगेंगी। डेडीकेटेड फ्रेट कॉरिडोर का रेल ट्रैक मालगाड़ियों के लिए शुरू कर दिया जाएगा। कॉरिडोर से मालगाड़ियों को जहां अपना ट्रैक मिलेगा, वहीं पहले से चल रहे ट्रैक पर लोड कम होने से यात्री ट्रेनों की राह आसान होगी।

डेडीकेटेड फ्रेट कॉरिडोर के तहत भाऊपुर से खुर्जा तक करीब 400 किमी लंबे ट्रैक पर तीन स्तर पर काम शुरू किया गया था। पहला भाऊपुर से भदान तक, दूसरा भदान से आगरा व तीसरा आगरा से खुर्जा तक। बीते दिनों भाऊपुर से भदान तक ट्रैक की फिनिशिंग का काम चल रहा था जो अब पूरा हो चुका है। अब खुर्जा से भाऊपुर के बीच चल रहीं मालगाड़ियां डेडीकेटेड फ्रेट कॉरिडोर के ट्रैक पर स्थानांतरित कर दी जाएंगी। इसका सबसे बड़ा फायदा यह होगा कि 400 किमी के इस रूट पर यात्री ट्रेनों को आसानी से गुजारा जा सकेगा, कॉरिडोर के ट्रैक पर मालगाड़ी 100 किमी प्रति घंटा की रफ्तार से चलायी जा सकेगी।

यात्री ट्रेनों की वजह से अभी मालगाड़ियों को इतनी दूरी तय करने में कई बार पूरा दिन लग जाता है। दरअसल, यात्री ट्रेनों को पास देने के लिए मालगाड़ी को लूप लाइन में खड़ा होना पड़ता है। डेडीकेटेड फ्रेट कॉरिडोर के अधिकारियों के मुताबिक इस नए ट्रैक पर 1400 से ज्यादा बार मालगाड़ी परीक्षक के तौर पर चलायी जा चुकी है। सब कुछ ठीक रहा तो बुधवार से इस ट्रैक को खोल दिया जाएगा।

अभी डीजल इंजन से चलेगी मालगाड़ियां

कॉरिडोर के रूट पर पहले डीजल इंजन से मालगाड़ियां चलेंगी, क्योंकि विद्युतीकरण का काम पूरा नहीं हुआ है। अधिकारियों के मुताबिक जल्द ही इस पर काम हो जाएगा, जिसके बाद इलेक्ट्रिक लोकोमोटिव इंजन से मालगाड़ी चलाई जाएगी।

यह मिलेगी राहत

पहले से मौजूद ट्रैक पर सामान्य दिनों में करीब 170 से 200 मालगाड़ियां जबकि 375 यात्री ट्रेनें दौड़ रही थीं। कोरोना काल में मालगाड़ियों की संख्या उतनी ही है, लेकिन यात्री ट्रेनों की संख्या अब 120 है। मालगाड़ियां स्थानांतरित होने से ट्रैक यात्री ट्रेनों के लिए रह जाएगा।