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National Mathematics Day Special: IIT Kanpur से निकला गणित का नया ज्ञान, रोटी-कपड़ा और मकान

Mathematics Tricks आइआइटी के पुरातन छात्रों की मदद से स्कूल में छात्रों को खेल खेल में गणित सिखाने की तकनीक विकसित की गई है। इससे कानपुर कानपुर देहात औरैया आंबेडकरनगर समेत कई प्रांतों के सरकारी स्कूलों में बच्चों को रोचक ढंग से पढ़ाया जा रहा है।

By Abhishek AgnihotriEdited By: Published: Tue, 22 Dec 2020 08:48 AM (IST)Updated: Tue, 22 Dec 2020 12:46 PM (IST)
National Mathematics Day Special: IIT Kanpur से निकला गणित का नया ज्ञान, रोटी-कपड़ा और मकान
आइआइटी कानपुर की फैक्ल्टी ने विकसित की गणित सिखाने की तकनीक।

कानपुर, [शशांक शेखर भारद्वाज]। फिल्म, नाटक और धारावाहिक के संवाद भले ही याद नहीं रहें, लेकिन उनके सीन बखूबी दिमाग में याद रहते हैं। आइआइटी के पुरातन छात्रों व फैकल्टी ने इसी आधार पर स्कूली बच्चों को पढ़ाने की तकनीक तैयार कर दी है जो कई स्कूलों में सफल नतीजे भी दे रही। बच्चे गणित से डरने की जगह उसमें पारंगत हो रहे हैं।

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रोटी केवल पेट की नहीं, गणितीय ज्ञान की भी भूख मिटा सकती है। वृत, अर्ध वृत, व्यास, त्रिज्या, क्षेत्रफल..., इनका सबका गणित रोटी में छिपा है। इसी तरह कपड़ा मीटर, सेंटीमीटर, इंच तो मकान एक्स, वाई और जेड एक्सिस बखूबी समझा सकता हैं। वजह यह कि सुनने की अपेक्षा देखकर कुछ भी समझना आसान रहता है। इसी आधार पर आइआइटी के पुरातन छात्रों की तकनीक से स्कूलों में बच्चों को रोटी-पराठा, कपड़ा या मकान ही नहीं, खेत, झूला, चकला-बेलन, घर से स्कूल की दूरी, साइकिल की तीली के सहारे भी खेल-खेल में गणित सिखाई जा रही है।

पढ़े भारत-बढ़े भारत और राष्ट्रीय अविष्कार अभियान के अंतर्गत पढ़ाई का यह क्रम कानपुर, कानपुर देहात, आंबेडकरनगर,औरैया के सरकारी स्कूलों में जारी है। छात्रों के तीन अलग-अलग ग्रुप बनाए गए हैं। पहला कक्षा एक से पांच, दूसरा कक्षा पांच से आठ, तीसरा कक्षा नौ से 12 है। सबसे अधिक फोकस कक्षा पांच से आठ तक के छात्रों पर है। बड़े छात्रों को गणितीय मॉडङ्क्षलग के टिप्स दिए जा रहे हैं ताकि बड़ी से बड़ी गणना कर सकें। छोटे बच्चों के लिए कई तरह के मॉडल बनाए गए हैं, जिसमें त्रिकोणमिति, पाइथागोरस प्रमेय, बीजगणित आदि के सूत्र शामिल हैं।

कौन सी वस्तु से किस बात की जानकारी

रोटी-वृत, अर्ध वृत, व्यास, त्रिज्या, क्षेत्रफल आदि की जानकारी

कपड़े - मीटर, सेंटीमीटर, इंच आदि के बारे में

मकान - कोऑर्डिनेट सिस्टम एक्स, वाई, जेड एक्सिस की जानकारी

तिकोना बर्तन - पाइथागोरस प्रमेय समझाई जा रही

विज्ञापन- समाचार पत्रों में आने वाले विज्ञापन को नाप कर रेट निर्धारण करना

साइकिल की तीली - त्रिकोणमिति के बारे में समझाया जा रहा

ब्रेड - फ्रैक्शन की जानकारी, जिसमें न्यूमरेटर, डिनोमिनेटर होते हैं

शहर के 25 सरकारी स्कूलों में पढ़ाई

राष्ट्रीय आविष्कार अभियान के नेशनल प्रोग्राम एडवाइजर अवनीश त्रिपाठी के मुताबिक ये पढ़ाई कानपुर, कानपुर देहात, आंबेडकरनगर, औरैया, दिल्ली, ओडिशा, उत्तराखंड, असोम आदि के स्कूलों में शुरू हो गई है। कानपुर में 25 और दिल्ली के 131 स्कूलों में प्रशिक्षण जारी है। इसमें आइआइटी के फैकल्टी, पुरातन छात्र, एनसीआरटी के विशेषज्ञ मिलकर काम कर रहे हैं। शिक्षकों को पहले प्रशिक्षण दिया जाता है। आइआइटी कानपुर के प्रो. अमर करकरे, पूर्व प्रो. एचसी वर्मा, आइआइटी गुवाहाटी के प्रो. हर्ष चतुर्वेदी जुड़े हैं। पुरातन छात्रों की संस्था यूनीसेड भी सहयोग कर रही है।

इस तरह हुई दिवस की शुरुआत

राष्ट्रीय गणित दिवस की शुरुआत महान भारतीय गणितज्ञ श्रीनिवास रामानुजन के जन्मदिवस पर देश में 22 दिसंबर को राष्ट्रीय गणित दिवस मनाया जाता है। देश के 14वें और तात्कालिक प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने 26 फरवरी 2012 को मद्रास विश्वविद्यालय में भारतीय गणितज्ञ श्रीनिवास रामानुजन (22 दिसंबर 1887- 26 अप्रैल 1920) के जन्म की 125 वीं वर्षगांठ केे उद्घाटन समारोह राष्ट्रीय गणित दिवस मनाए जाने की घोषणा की थी।


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