कानपुर: जीएसटी में फिर मिली मैनुअल रिफंड की सुविधा, पिछले वर्ष खत्म कर दी गई थी व्यवस्था
मूल्य संवर्धित कर (वैट) के कार्यकाल के दौरान मैनुअल रिफंड आवेदन किए जाते थे। जीएसटी में भी शुरुआती वर्षों में मैनुअल रिफंड ही फाइल किए जाते रहे लेकिन रिफंड के लिए बहुत सारे कागजात लेकर कार्यालय में पहुंचना होता था इसे देखते हुए इसे आनलाइन कर दिया गया।
कानपुर, जेएनएन। जीएसटीएन पोर्टल ने एक बार फिर मैनुअल रिफंड की सुविधा दी है। हालांकि यह सुविधा सिर्फ भारतीय सैन्यबलों की कैंटीन को रिफंड देने के लिए शुरू की गई है। बाकी सभी कारोबारियों को पहले की तरफ रिफंड के लिए आनलाइन आवेदन ही करने होंगे।
मूल्य संवर्धित कर (वैट) के कार्यकाल के दौरान मैनुअल रिफंड आवेदन किए जाते थे। जीएसटी में भी शुरुआती वर्षों में मैनुअल रिफंड ही फाइल किए जाते रहे लेकिन रिफंड के लिए बहुत सारे कागजात लेकर कार्यालय में पहुंचना होता था, इसे देखते हुए इसे आनलाइन कर दिया गया। हालांकि शुरुआती दौर में आनलाइन रिफंड फाइल करने के बाद भी कारोबारियों को अपने बिल, वाउचर लेकर कार्यालय पहुंचना होता था। एक जुलाई 2017 को वस्तु एवं सेवाकर (जीएसटी) लागू होने के बाद 23 फरवरी 2018 को मैनुअल रिफंड के लिए आदेश जारी किया गया था। इसमें 30 जून 2018 तक के लिए इसे मान्य किया गया था। यह समय खत्म होने के बाद एक बार फिर चार नवंबर 2020 को आदेश जारी किया गया और 31 दिसंबर 2020 तक के लिए मैनुअल रिफंड का आदेश किया गया। इसके बाद इसे पूरी तरह खत्म कर दिया गया। अब राज्य कर अनुभाग ने भारतीय सैन्यबलों की कैंटीन को 50 फीसद राज्य वस्तु एवं सेवा कर (एसजीएसटी) और 50 फीसद केंद्रीय वस्तु एवं सेवा कर (सीजीएसटी) देने के लिए 31 दिसंबर 2021 तक के लिए यह सुविधा बढ़ा दी है। संयुक्त सचिव ओम प्रकाश तिवारी ने इस संबंध में साफ किया है कि इसके अलावा बाकी सभी रिफंड जीएसटीएन पोर्टल पर आनलाइन व्यवस्था के तहत ही फाइल करने होंगे।