Move to Jagran APP

Good News in kanpur : 2023 के अंत तक IIT से नौबस्ता तक चल सकती है Metro

Jagran special मेट्रो ने वहां तक के टेंडर फ्लोट कर दिए हैं। नयागंज स्टेशन तक अंडरग्राउंड का काम शुरू हो गया। अब इसके आगे नयागंज से सेंट्रल स्टेशन झकरकटी बस स्टेशन से ट्रांसपोर्ट नगर स्टेशन के बीच के अंडरग्राउंड कार्य का टेंडर हो गया है

By Akash DwivediEdited By: Published: Sat, 11 Sep 2021 10:12 AM (IST)Updated: Sat, 11 Sep 2021 05:55 PM (IST)
Good News in kanpur : 2023 के अंत तक IIT से नौबस्ता तक चल सकती है Metro
जनवरी में पहला कारीडोर चलाने के बाद 2023 के अंत तक दूसरा कारीडोर भी चल जाएगा

कानपुर, जेएनएन। शहर के लोगों को 2023 के अंत तक आइआइटी से नौबस्ता तक मेट्रो की यात्रा करने की सुविधा मिल सकती है। मेट्रो का प्राथमिक कारीडोर का काम अंतिम दौर में है, वहीं अंडरग्राउंड वन का कार्य शुरू हो चुका है। इसके साथ ही नयागंज से आगे अंडरग्राउंड दो व बारादेवी से नौबस्ता तक के एलीवेटेड ट्रैक के टेंडरों को भी फ्लोट कर दिया गया है। लखनऊ में प्राथमिक कारीडोर के बाद बाकी का 14 किलोमीटर मेट्रो ने डेढ़ वर्ष में बनाकर चालू कर दिया था। कानपुर में भी यही स्थिति है। आइआइटी से मोतीझील तक का प्राथमिक कारीडोर बनने के बाद 14 किलोमीटर का हिस्सा ही बाकी रह जाएगा। मेट्रो अधिकारी आशान्वित हैं कि जनवरी में पहला कारीडोर चलाने के बाद 2023 के अंत तक दूसरा कारीडोर भी चल जाएगा।

loksabha election banner

मेट्रो का पहला कारीडोर नौबस्ता तक है और मेट्रो ने वहां तक के टेंडर फ्लोट कर दिए हैं। नयागंज स्टेशन तक अंडरग्राउंड का काम शुरू हो गया। अब इसके आगे नयागंज से सेंट्रल स्टेशन, झकरकटी बस स्टेशन से ट्रांसपोर्ट नगर स्टेशन के बीच के अंडरग्राउंड कार्य का टेंडर हो गया है। इसका टेंडर जमा करने की अंतिम तारीख 22 सितंबर है। इसके बाद बारादेवी, किदवई नगर, वसंत विहार, बौद्ध नगर, नौबस्ता स्टेशन का टेंडर जमा करने की अंतिम तारीख एक नवंबर है। अधिकारियों के मुताबिक जनवरी में दोनों टेंडर ओपन हो जाएंगे।

मेट्रो अधिकारियों के मुताबिक अभी पूरा फोकस प्राथमिक कारीडोर को शुरू करने पर है। जनवरी में इसके शुरू होते ही आगे के तीनों चरण यानी चुन्नीगंज से नौबस्ता स्टेशन तक एक साथ काम शुरू हो जाएगा। कानपुर और लखनऊ की मेट्रो में काफी समानता इस बात की भी है कि लखनऊ में पहला कारीडोर 23 किलोमीटर का है और प्राथमिक कारीडोर वहां भी नौ किलोमीटर का था, बिल्कुल ऐसा ही कानपुर में है। वहां पहला कारीडोर पांच सितंबर 2017 को शुरू हुआ था और बाद में पहला पूरा कारीडोर आठ मार्च 2019 को शुरू हो गया था। इस तरह जनवरी 2021 में प्राथमिक कारीडोर में ट्रेन शुरू होने के बाद 2023 के अंत तक मेट्रो चलने की उम्मीद है।

यह है कार्यों की लागत

  • 2,000 करोड़ रुपये आइआइटी से मोतीझील।
  • 1,400 करोड़ रुपये मोतीझील के बाद से नयागंज तक के अंडरग्राउंड की लागत।
  • 1,250 करोड़ रुपये नयागंज स्टेशन के आगे से ट्रांसपोर्ट नगर तक की लागत।
  • 526 करोड़ रुपये लागत बारादेवी से नौबस्ता स्टेशन तक।

Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.