कांग्रेस ग्रामीण जिलाध्यक्ष Twitter पर लिखकर फंसी, कहा-जमानत नहीं कराऊंगी जेल चली जाऊंगी...
कानपुर देहात पुलिस ने कांग्रेस जिलाध्यक्ष ऊषा रानी पर झूठी अफवाह फैलाने का मुकदमा दर्ज किया है।
कानपुर, जेएनएन। मंगटा गांव में दलितों के साथ हुई मारपीट का मामला राजनीतिक रंग ले चुका है। उर्सला अस्पताल में भर्ती घायलों का हालचाल लेने के लिए रोजाना सपा, कांग्रेस और भीम आर्मी के प्रमुख नेताओं का सिलसिला जारी रहा तो कम्युनिस्ट पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष भी गांव जा चुके हैं। राष्ट्रीय दलित महिला संगठन की टीम ने भी गांव पहुंचकर संज्ञान ले चुकी है। इन सभी के बाद अब कांग्रेस की ग्रामीण जिलाध्यक्ष ऊषारानी ट्वीटर पर टिप्पणी करने के बाद फंस गई हैं। अकबरपुर कोतवाली पुलिस ने उनपर झूठी अफवाह फैलाने का मुकदमा दर्ज किया है।
क्या हुआ था मंगटा गांव में
मंगटा गांव में गत 13 फरवरी को दो समुदायों के बीच संघर्ष हो गया था। इसमें पुलिस की ओर से कार्रवाई करते हुए संदिग्ध लोगों को गिरफ्तार किया गया था। गांव में तीन प्लाटून पीएसी, क्यूआरटी, 9 एसएचओ सहित भारी फोर्स तैनात किया गया था, जबकि डीएम व एसपी ने भी शांति व्यवस्था बनाए रखने को लेकर ग्रामीणों को समझाया था। हालांकि कुछ लोगों ने अफवाह फैलाकर माहौल बिगाडऩे का काम किया था। अफसरों ने मामले को शांत करा दिया था।
विभिन्न पार्टियों ने दिया राजनीतिक रंग
दलितों पर हमले की बात कहते हुए विभिन्न दलों ने निंदा करते हुए राजनीतिक रंग दे दिया है। कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष अजय कुमार लल्लू, भीम आर्मी के प्रमुख चंद्रशेखर और सपा नेताओं ने उर्सला अस्पताल में भर्ती घायलों से मुलाकात करके न्याय दिलाने का भरोसा दिया था। भीम आर्मी के प्रमुख ने आंदोलन का एलान किया था। वहीं कम्युनिस्ट पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष मोती लाल भारती के नेतृत्व में प्रतिनिधि मंडल ने गांव पहुंचकर शांति व्यवस्था बनाये रखने की अपील की थी। बीते सोमवार को राष्ट्रीय दलित महिला संगठन की टीम ने गांव पहुंचकर पीडि़त पक्ष से मामले की जानकारी ली थी और शांति व्यवस्था बनाए रखने की अपील की थी।
ट्वीट करने पर कांगे्रस जिलाध्यक्ष पर मुकदमा
अकबरपुर कोतवाली में ट्वीट करने पर कांग्रेस नगर ग्रामीण जिलाध्यक्ष ऊषारानी कोरी पर मुकदमा दर्ज किया गया है। इसपर उनका कहना है कि वह किसी सूरत में दबने वाली नहीं हैं। वह जेल जाने को तैयार हैं, लेकिन जमानत नहीं कराएंगी। मंगटा गांव की घटना को लेकर उनके ट्वीट पर पुलिस के मीडिया सेल प्रभारी निरीक्षक मनोज कुमार सिंह ने तहरीर दी है। उन्होंने तहरीर में कहा कि यूजर ने बिना किसी जांच परख के झूठी अफवाह फैलाने व दो समुदायों में तनाव फैलाने की साजिश की गई है। तहरीर पर पुलिस ने नगर ग्रामीण जिलाध्यक्ष पर आइटी एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज किया है।