कानपुर के बाद अब फर्रुखाबाद में डॉक्टरों और स्वास्थ्य कर्मियों ने बंद की इमरजेंसी सेवाएं, हंगामा
सीओ द्वारा चिकित्सक से अभद्रता करने से नाराज लोहिया अस्पताल में डॉक्टरों ने काम बंद कर दिया।
फर्रुखाबाद, जेएनएन। लॉक डाउन में डाॅक्टरों और स्वास्थ्य कर्मियों को आवागमन में विशेष छूट के बावजूद पुलिस अंजान बनी है। उन्नाव गंगा घाट में वार्ड ब्वाय को रोककर पीटे जाने से कानपुर में हैलट में स्वास्थ्य कर्मियों के हंगामे के बाद अब फर्रुखाबाद लोहिया अस्पताल में डॉक्टरों और स्वास्थ्य कर्मियों ने सेवाएं बंद करके हंगामा शुरू कर दिया है। बवाल की सूचना पर पहुंचे अफसर समझाने में जुटे हैं लेकिन स्वास्थ्य कर्मी मानने को तैयार नहीं रहे। बाद में अस्पताल पहुंचकर सीओ ने जब माफी मांगी तब डॉक्टर और स्वास्थ्य कर्मियों ने काम शुरू किया है।
कोरोना वायरस से बचाव के लिए पूरे प्रदेश में लॉक डाउन घोषित है और बाहर निकलने वालों पर पुलिस को कार्रवाई के लिए निर्देशित किया गया है। हालांकि मीडिया कर्मियों, डॉक्टर और स्वास्थय कर्मियों समेत कुछ लोगों को छूट दी गई है। इसके बावजूद चिकित्सकों और स्वास्थ्य कर्मियों को बेवजह परेशान किया जा रहा है। लोहिया अस्पताल के संविदा सर्जन डा. इमरान अली के मुतािबक ड्यूटी करके कार से घर जाते समय लालगेट पर चेकिंग के दौरान सीओ सिटी ने रोक लिया और पास मांगा।
अस्पताल का परिचय पत्र दिखाने के बावजूद सीओ सिटी ने अभद्रता कर कार का चालान करने की धमकी दी। इसकी जानकाारी के बाद अस्पताल में चिकित्सकों और स्वास्थ्य कर्मियों ने हड़ताल कर इमरजेंसी सेवाएं बंद कर दी। चिकित्सकों के हंगामे के कारण मरीज बगैर इलाज के लौट गए। इस दौरान एक तीमारदार पिट भी गया। बवाल की सूचना पर पहुंचे अफसर स्वास्थ्य कर्मियों को समझाने का प्रयास करते रहे। लोहिया अस्पताल में पहुंचे सीओ सिटी मन्नीलाल गौड़ ने चिकित्सकों से अपनी गलती की माफी मांग ली। जिस पर चिकित्सक हड़ताल से वापस लौट आए।