बीमार बच्ची को दवा दिलाकर पुलिस ने पेश की मिसाल
खराब होने पर पुलिस ने दवा दिलवाई। वहीं दंपती को भोजन भी कराया। जिला सोनभद्र थाना ओरावल के गांव महोखर निवासी रविद्र कुमार रविवार को गुजरात के अहमदाबाद से गांव जा रहे थे। उनके साथ पत्?नी गुड़िया व छह माह की बच्ची शुभी भी थी। आगरा लखनऊ एक्सप्रेस-वे पर बच्ची को बुखार आ जाने से हालत बिगड़ गई। ट्रक चालक प्रवासी श्रमिक को सौरिख स्थित कट पर छोड़कर चला गया। दंपती बीमार बच्ची को
संवाद सूत्र, सौरिख: गुजरात से सोनभद्र जा रहे प्रवासी श्रमिक के परिवार को ट्रक चालक ने भंवर में छोड़कर जहां संवेदनहीनता का परिचय दिया तो वहीं पुलिस ने मानवीय चेहरा दिखाकर एक मिसाल कायम की। पुलिसकर्मियों ने बुखार से तप रही बच्ची को दवा दिलाई तो परिवार को भोजन देकर अपने मानवीय मूल्यों का परिचय दिया।
अभी तक प्रवासी श्रमिकों के साथ पुलिसिया उत्पीड़न की खबरें मिल रहीं थीं, लेकिन यहां इसके ठीक उलट पुलिस ने मानवता की मिसाल पेश की। रविवार को जिला सोनभद्र थाना ओरावल के गांव महोखर निवासी रविद्र कुमार गुजरात के अहमदाबाद से गांव जा रहे थे। उनके साथ पत्नी गुड़िया व छह माह की बच्ची शुभी भी थी। आगरा-लखनऊ एक्सप्रेस-वे पर बच्ची को बुखार आ जाने से हालत बिगड़ गई। ट्रक चालक उन्हें कट पर छोड़कर चला गया। एक्सप्रेस-वे पर ड्यूटी कर रहे उपनिरीक्षक सूरज सिंह यादव एवं कांस्टेबल विमल किशोर ने मेडिकल स्टोर पर जाकर बच्ची के लिए अपने रुपयों से दवा खरीदी। श्रमिक के लिए भोजन का प्रबंध किया। दवा से बच्ची को आराम मिला तो रोडवेज बस पर बिठाकर उस परिवार को सोनभद्र भेज दिया। पैसे खत्म हो चले घर की ओर
श्रमिक रविद्र ने बताया कि सात वर्ष से वह गुजरात में रहकर बोरी बनाने वाली फैक्ट्री में कार्य करते थे। बीच-बीच में घर आते थे। लॉकडाउन के कारण जमा-पूंजी खत्म हो गई। ऐसे में परिवार सहित घर जाने का निर्णय लिया। गुरुवार शाम को अहमदाबाद से निकले। सड़क से गुजर रहे वाहनों का सहारा लेकर रविवार सुबह आगरा पहुंचे। एक्सप्रेस-वे पर ट्रक चालक से विनती की। उसने ट्रक में बिठा लिया। रास्ते में बच्ची की हालत खराब होने पर छोड़कर चला गया।