नगर में बाजार खुला, चंद दुकाने रहीं बंद
जागरण संवाददाता, कन्नौज : एससी-एसटी एक्ट संशोधन को लेकर नगर में भारत बंद का कोई असर नह
जागरण संवाददाता, कन्नौज : एससी-एसटी एक्ट संशोधन को लेकर नगर में भारत बंद का कोई असर नहीं पड़ा। लाखन तिराहा, सब्जी मंडी, मुख्य बाजार, पीतल मंडी, मकरंद नगर, ग्वाल मैदान, गोल कुआं व सरायमीरा जीटी रोड पर सभी दुकानें खुली रहीं। इससे कारोबार पर भी किसी तरह का असर नहीं पड़ा। व्यापारियों ने भारत बंद में शामिल न होकर उल्टा दुकानें खोल विरोध किया। चंद दुकानदारों ने विरोध में जरूर दुकानें बंद रखीं। भारत बंद के आह्वान पर सरायमीरा जीटी रोड पर सुबह कुछ दुकाने जरूर बंद रहीं। लेकिन बाजार खुला देख सभी दुकानदारों ने दोपहर बाद दुकानें खोल लीं। पीएसएम कालेज में अध्यापक व स्टाफ विद्यालय आए। शिक्षण कार्य न होने से सन्नाटा पसरा रहा। सुरक्षा के लिहाज से पुलिस बल तैनात रहा। एसडीएम सदर डा. महेंद्र कुमार ¨सह, सीओ सिटी श्रीकांत प्रजापति व कोतवाली प्रभारी एके ¨सह ने भ्रमण कर नजर बनाए रहे।
क्षत्रिय महासभा ने किया विरोध
अखिल भारतीय महासभा ने कलेक्ट्रेट में प्रदर्शन कर एससी-एसटी एक्ट का विरोध किया। प्रदेश उपाध्यक्ष योगेंद्र ¨सह भदौरिया पदाधिकारियों के साथ डीएम रवींद्र कुमार से मिले। बताया कि एक्ट में मुकदमा लिखने पर ही जांच कर गिरफ्तारी होनी चाहिए। सुप्रीम कोर्ट को इसमें संसोधन करना होगा। वरना आंदोलन के लिए बाध्य होंगे।ब्रजेंद्र ¨सह तोमर, कुक्कू चौहान, अर¨वद भदौरिया व यशवीर रहे। ब्राह्मण समाज दल ने की नारेबाजी
तिर्वा की ग्राम सभा औसेर के मौजा रपरा में ब्राह्मण समाज दल ने एससी-एसटी एक्ट का विरोध किया। शिव मंदिर के पास बैठक कर नारेबाजी की। निरंकार त्रिपाठी, पप्पू, राजन, प्रमोद, अतुल ने आंदोलन की चेतावनी दी। बताया कि तोड़फोड़ कर प्रदर्शन करेंगे। जरूरत पड़ने पर अनसन भी करेंगे। समाज हित में नहीं फैसला
एससी-एसटी एक्ट के विरोध सवर्ण व ओबीसी समाज उतरे। डीएम रवींद्र कुमार को पीएम को संबोधित ज्ञापन सौंपा। ग्रीश वर्मा, श्यामू पाल, संजय कटियार, वरुण, नीरज, अनुज ने बताया कि इससे सवर्ण व ओबीसी समाज आहत है। इस एक्ट के 80 फीसद मामले झूठे पाए जाते हैं। निर्दोष लोग जेल चले जाते हैं। बिना जांच दंड का प्रावधान है। इसका दुरुपयोग होता है।
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व्यापार मंडल ने भारत बंद का कोई लेना-देना नहीं है। कारोबारियों ने रोज की तरह दुकानें खोली। कुछ लोगों ने जरूर दुकानें बंद रखीं।
-रामजी अग्रवाल, जिलाध्यक्ष, उप्र उद्योग व्यापार मंडल
भारत बंद से कारोबारियों का कोई मतलब नहीं है। यह राजनीति पार्टियों की तरफ से बंदी थी। बाजार व दुकानें खुली रहीं।
-अनिल गुप्ता, जिलाध्यक्ष, अखिल भारतीय उद्योग व्यापार मंडल।