गाली-गलौज से आजिज नौकरों ने की थी चांद की हत्या
जागरण संवाददाता, जौनपुर: आसिफ उर्फ चांद कुरैशी की हत्या किसी और ने नहीं उसके भाई क
जागरण संवाददाता, जौनपुर: आसिफ उर्फ चांद कुरैशी की हत्या किसी और ने नहीं उसके भाई की गोश्त की दुकान पर काम करने वाले तीन कर्मचारियों ने ही की थी। हत्या की वजह थी बात-बात पर कर्मचारियों से गाली-गलौज करना। उसकी इसी बदसलूकी से आजिज आकर तीनों ने पूर्व नियोजित ढंग से उसे ठिकाने लगा दिया। तीनों को गिरफ्तार कर पुलिस ने मामले का पर्दाफाश कर लिया है। घटना के एक दिन पहले ही वे उसे सछ्वावना पुल से गोमती नदी में फेंकने की मंशा से साथ लेकर गए थे लेकिन किसी परिचित के मिल जाने से योजना नाकाम हो गई थी।
पहले आसिफ उर्फ चांद कुरैशी की मौत को हादसा बताने वाली पुलिस पोस्टमार्टम रिपोर्ट में सिर पर चोट पहुंचा कर हत्या किए जाने की पुष्टि होने पर बैकफुट पर आ गई। हत्या का मुकदमा दर्ज कर विवेचना शुरु कर दी। मिले सुरागों के आधार पर कोतवाल शशि भूषण राय और उनके सहयोगी कांस्टेबलों अनंत ¨सह एवं मनीष ¨सह ने मंगलवार को सवेरे करीब आठ बजे जोगियापुर पुल के पास से तीनों आरोपियों खुदाबख्श निवासी हिसामपुर थाना जफराबाद, कलीम एवं रिजवान निवासी रिजवी खां, शहर कोतवाली को गिरफ्तार कर लिया। तीनों रुहट्टा निवासी आसिफ उर्फ चांद के भाई हाजी सलाउद्दीन की खोवा मंडी स्थित बकरा और मुर्गा की गोश्त की दुकान पर कर्मचारी थे। सख्ती से पूछताछ करने पर तीनों ने अपना गुनाह कुबूल कर लिया। बताया कि दुकान की देखभाल करने के दौरान चांद कुरैशी बात-बात पर उन्हें गालियां देता था। इसी से आजिज आकर तीनों ने उसकी हत्या की योजना बना डाली। घटना के एक दिन पहले 10 जनवरी को उसे सछ्वावना पुल से गोमती नदी में फंक देने की मंशा से दुकान से साथ लेकर निकले लेकिन रास्ते में किसी परिचित के देख लेने पर इरादा बदल दिया। अगले दिन 11 जनवरी को रात 8.30 बजे दुकान बंद हो जाने के बाद योजना के मुताबिक खुदाबख्श चांद कुरैशी को अपनी साइकिल पर बैठा कर सिलेखाना स्थित शराब की दुकान पर लिवा गया। शराब और पानी का पाउच खरीदा। वहां से केरारवीर मंदिर के रास्ते सछ्वावना पुल के नीचे ले गया जहां कलीम पहले से बैठा था। दोनों ने चांद कुरैशी को शराब पिलाई। ठंड से बचने के लिए कूड़ा इकट्ठा कर अलाव जलाया। शराब के नशे में धुत होने के बाद पत्थर से सिर पर कई प्रहार कर चांद कुरैशी की हत्या कर दी। इसके बाद नदी के किनारे-किनारे होते हुए हनुमान घाट आए और अपने-अपने घर चले गए। रिजवान मौके पर तो नहीं था लेकिन हत्या की साजिश में वह भी शामिल था। पुलिस ने आरोपियों का चालान कर दिया है।